बेगूसरायः बिहार के बेगूसराय में 13 सितंबर को एनएच 31 और एनएच 28 पर हुए गोलीकांड मामले में पुलिस ने चार लोगों को गिरफ्तार किया है. हालांकि, खुलासे के बाद भी कुछ अनसुलझे सवाल (Begusarai Police Looking for Nitish And Prince) रह गए हैं. पुलिस के अनुसार गिरफ्तार चार युवकों में से पुलिस ने दो को गोली चलाने वाला और 2 को मास्टरमाइंड बताया है. हालांकि पुलिस द्वारा जारी वीडियो फुटेज में चार युवक दो बाइक पर सवार होकर गोली चलाते नजर आए हैं, पुलिस के विशेष सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार इनमें से दो युवकों की गिरफ्तारी की गई है और दो युवक नीतीश और प्रिंस की तलाश जारी है. बेगूसराय एसपी योगेंद्र कुमार (SP Yogendra Kumar) के अनुसार भी इस घटना का मास्टरमाइंड चुनचुन कुमार उर्फ सत्यजीत केशव कुमार उर्फ नागा है. जबकि दो युवक सुमित कुमार और युवराज सिंह गोली चलाने वालों में से हैं.
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पुलिस को नीतीश और प्रिंस की तलाश: बेगूसराय गोलीकांड मामले में पुलिस को अभी भी दो शूटर की तालाश है, जिसे लेकर लगातार छापेमारी अभियान चलाया जा रहा है. हालांकि पुलिस के अनुसार प्रथम दृष्टया में दहशत फैलाने को लेकर गोलीबारी की घटना को अंजाम दिए जाने की बात कही जा रही है, लेकिन इस घटना के पीछे सही मायने में मकसद क्या था, इसका जवाब पुलिस जानने की कोशिश कर रही है. अब तक पुलिस को घटना के पीछे का मुख्य मकसद समझ में नहीं आया है. पुलिस द्वारा गिरफ्तार किए गए चार युवकों मेंं चुनचुन कुमार, केशव कुमार, सुमित और युवराज शामिल है. पुलिस का दावा है कि इनकी गिरफ्तारी के साथ-साथ इस घटना में प्रयुक्त एक बाइक जो वीडियो फुटेज में दिख रहा है, उसकी तलाश जारी है. इस मामले में टीशर्ट, दो पिस्तौल, पांच गोली, 4 मोबाइल और दो अन्य बाइक बरामद किया गया है.
शूटर प्रिंस और नीतीश की तालाश जारीः वहीं, पुलिस मुख्यालय पटना और बेगूसराय एसपी के बयान में विरोधाभास सामने आ रहा हैं. एक तरफ बेगूसराय एसपी योगेंद्र कुमार के अनुसार एक बाइक पर बैठा पीली टीशर्ट पहने युवराज और बाइक चलाने वाला सुमित की गिरफ्तारी हुई है जबकि दूसरे बाइक पर सवार दोनों अभियुक्त नीरज और प्रिंस अभी भी फरार हैं तो वही पुलिस मुख्यालय की माने तो इनमें से किस ने गोली चलाई है इसका खुलासा नहीं किया जा सकता है, क्योंकि यह अनुसंधान का विषय है. उनके अनुसार पुलिस को पता है लेकिन हर बात मीडिया के सामने नहीं बताया सकता है. हालांकि फरार चल रहे अभियुक्त का नाम भी पुलिस मुख्यालय और ना ही बेगूसराय पुलिस बताने को तैयार है. लेकिन सूत्रों से मिल रही जानकारी के अनुसार दो और शूटर प्रिंस और नीतीश नाम के युवक की तलाश की जा रही है.
साक्ष्य जुटाना है पुलिस की बड़ी चुनौतीः बेगूसराय घटनाक्रम में सबसे बड़ी चुनौती बिहार पुलिस के लिए साक्ष्य उठाना है ताकि अपराधियों को जब न्यायालय में प्रस्तुत किया जाएगा, तब उनके खिलाफ पुख्ता सबूत होना चाहिए. जिसको लेकर FSL की टीम सबूत जुटाने में जुटी है. हालांकि सबूत के तौर पर दो खोखे मोबाइल टावर से जुड़े एविडेंस के अलावे इस घटनाक्रम में उपयोग हुए बाइक टी-शर्ट और अपराधियों के पास से देसी पिस्टल के माध्यम से साक्ष्य जुटाया जा रहा है. गोली किसने चलाई है फिलहाल स्पष्ट नहीं हो पा रहा है.
क्या है एडीजी जितेंद्र सिंह गंगवार का कहनाः एडीजी मुख्यालय जितेंद्र सिंह गंगवार ने ईटीवी भारत से टेलीफोन पर बातचीत के दौरान बताया कि अभी स्पष्ट नहीं है कि गोली किसने चलाई है, हालांकि उन्होंने कहा कि अनुसंधान का विषय है उनके अनुसार प्रथम दृष्टया में चारों अभियुक्त गोली चलाने और घटना की साजिश में शामिल पाए गए हैं. यही नहीं पुलिस के लिए सबसे बड़ी चुनौती है कि आखिर घटना को किस मकसद से अंजाम दिया गया है. बेगूसराय घटना को लेकर बिहार पुलिस मुख्यालय का माना है कि प्रथम दृष्टया में इस मामले में कोई राजनीतिक कनेक्शन सामने नहीं आया है, लेकिन पुलिस की सभी टीमें लगातार विभिन्न पहलुओं पर अनुसंधान कर रही हैं.
"इस वारदात से जुड़ी कई और कड़ियों को अभी जोड़ा जाना बाकी है. गोली किसने चलाई किसके कहने पर चलाई गई, बरामद हथियार से किसने गोली चलाई कुल कितने राउंड फायरिंग हुई यह अभी स्पष्ट नहीं है. बिहार पुलिस प्रशासन की रिपोर्ट का इंतजार कर रही है. यह मामला हत्या के प्रयास और साजिश के विभिन्न धाराओं में दर्ज किया गया है. पुलिस जल्द ही चार्जशीट दाखिल करेगी. जिन सवालों के अभी उत्तर नहीं दिए जा सके हैं, चार्जशीट में सभी की भूमिका संलिप्तता को स्पष्ट कर दिया जाएगा"- जितेंद्र सिंह गंगवार, एडीजी मुख्यालय
ट्रेन से नागा ने गर्लफ्रेंड को किया था मैसेजः आपको बता दें कि जांच में लगे टीम के हवाले से विशेष सूत्रों के अनुसार बेगूसराय शूट आउट कांड के पीछे की एक कहानी और भी है और वो ये है कि गर्ल फ्रेंड को लेकर टशन. जी हां सूत्रों के मुताबिक केशव उर्फ नागा ने अगर अपनी गर्लफ्रेंड को मैसेज नहीं भेजा होता तो वो अभी शायद पकड़ा भी नहीं जाता. उसने ट्रेन से अपनी गर्ल फ्रेंड को मैसेज भेजा मैं बाहर जा रहा हूं. गर्ल फ्रेंड ने जवाब दिया भागोगे तो पकड़े जाओगे. नागा ने जवाब दिया नागा को पकड़ना मुश्किल ही नहीं नामुमकिन है. दरअसल इस घटना में शामिल युवराज उर्फ़ सोनू और नागा दोनों दोस्त हैं. दोनों की गर्ल फ्रेंड भी है. जब योजना बनी तो तय हुआ की जो ज्यादा को मारेगा वो बेगूसराय का शेर होगा और फिर युवराज और नागा ने घटना को अंजाम दिया. आपको बता दें की नागा ने पुलिस को बताया कि वह बाईक पर नहीं था, सीसीटीवी भी यही कह रहा है. लेकिन पुलिस के सामने युवराज ने बताया था कि इसी शर्त के बाद नागा और वो फायरिंग करने निकले थे. जबकि इस घटना में अभी तक फरार नीतीश की कई तस्वीरें पुलिस के हाथ लगी हैं.
आरोपियों का एक मकसद ये भी थाः वहीं, बेगूसराय कांड मे एक बड़ा सवाल है ये भी है कि आखिर बीहट के अपराधी गिरोह ने बछवाड़ा से गोलिबारी की शुरुवात क्यों की? इस प्रश्न का जवाब ढूंढ़ने की कोशिश कि गई तो विशेष सूत्रों के अनुसार सामने आया की चुनचुन और नीतीश (जो अब तक फरार है ) अपने गिरोह का आतंक जमाना चाहते थे, शराब का धंधा बेरोक-टोक करना चाहते थे. उनकी इस योजना में सबसे बड़ा बाधक था तेघड़ा के बाथनाहा गांव का रहनेवाला रामलोचन राय उर्फ़ लुस्की. लुस्की का अपने इलाके में आतंक था. वह छोटे छोटे अपराध करते आज एक बड़ा शराब माफिया बन गया है. उसने कई बार अपनी दबंगई भी दिखाई थी. चुनचुन और नीतीश की योजना के मुताबिक गोलिबारी की पहली घटना बछवाड़ा के गोधना में हुई थी जो लुस्की का इलाका था.
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