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अररिया: जल-जीवन हरियाली पर एक दिवसीय प्रशिक्षण कार्यशाला का आयोजन, मुफ्त में बांटे गए फलदार पौधे

यह कार्यक्रम कृषि विभाग की तरफ से आयोजित हुआ. इस दौरान अतिथियों को कृषि पदाधिकारी ने फलदार पेड़ उपहार स्वरूप दिए. ताकि पौधे लगाकर पर्यावरण को सुरक्षित किया जा सके.

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Published : Sep 16, 2019, 4:17 PM IST

अररिया में जल जीवन पर कार्यशाला का हुआ आयोजन

अररिया: जिले के टाउन हॉल में जल जीवन हरियाली मुद्दे पर जिला स्तरीय एक दिवसीय प्रशिक्षण कार्यशाला का आयोजन किया गया. इसमें देश में बढ़ते जल संकट पर चर्चा हुई. इसके साथ ही जल संग्रह करने को लेकर कई आवश्यक पहल भी किए गए. आज पूरे विश्व में जल संकट गहराता जा रहा है और यह एक बड़ी समस्या बनकर उभरती जा रही है.

कृषि कार्य से जुड़े कर्मी को प्रशिक्षित किया गया
जानकारों के अनुसार चेन्नई और दिल्ली में जलस्तर काफी घटता जा रहा है. अगर स्थिति यही रही तो आने वाली पीढ़ी को जल के बड़े संकट से जूझना पड़ेगा. इसी को लेकर अररिया टाउन हॉल में जल जीवन हरियाली को लेकर जिला स्तरीय एक दिवसीय प्रशिक्षण सह कार्यशाला का आयोजन किया गया. जिसमें जिले के कृषि सलाहकार, कृषि समन्वयक और कृषि कार्य से जुड़े कर्मी को शामिल किया गया और उन्हें प्रशिक्षित किया गया. इस मौके पर जानकारों ने बताया कि जल संकट दूर करने के लिए हमें वर्षा के जल को संग्रहित करना होगा. साथ ही जो पृथ्वी के अंदर का जलस्तर घट रहा है, उसको बढ़ाने के लिए रिचार्ज भी करना होगा.

जिला पदाधिकारी वैद्यनाथ यादव का बयान

अतिथियों को उपहार में दिए गए फलदार पेड़
यह कार्यक्रम कृषि विभाग ने आयोजित किया. इस दौरान अतिथियों को कृषि पदाधिकारी ने फलदार पेड़ उपहार स्वरूप दिए. ताकि पौधे लगाकर पर्यावरण को सुरक्षित किया जा सके. इस मौके पर यह भी बताया गया कि खेत में जल संरक्षण से खेती बेहतर होगी और इससे लोगों को काफी फायदा होगा. इसलिए जल को बर्बाद ना होने दें. उन्हें वापस कुआं बनाकर जमीन के अंदर जाने का रास्ता दें. ताकि जल दोबारा रिचार्ज होकर हमें मिल सके.

workshop on water conservation in araria
कार्यशाला में शामिल कर्मी

जल संग्रह करने की विधि बताई गई
जिला पदाधिकारी वैद्यनाथ यादव ने बताया कि इस तरह के कार्यक्रम से लोगों को काफी लाभ पहुंचेगा. उन्होंने कहा कि कार्यशाला में लोगों को खेती में जैविक खाद का इस्तेमाल और जल संग्रह करने की विधि बताई गई है. जो काफी लाभदायक साबित होगी. इसके साथ ही जो पेड़ उपहार स्वरूप दिए गए हैं, उसको लगाकर निश्चित रूप से पर्यावरण को सुरक्षित किया जा सकेगा. इस मौके पर लोगों को यह भी बताया गया कि पीने के पानी को भी बर्बाद ना करें. क्योंकि एक-एक बूंद हमारे लिए और जीवन के लिए कीमती है. इस मौके पर कार्यक्रम में कृषि वैज्ञानिक, कृषि पदाधिकारी, सिंचाई विभाग के पदाधिकारी मौजूद रहे.

अररिया: जिले के टाउन हॉल में जल जीवन हरियाली मुद्दे पर जिला स्तरीय एक दिवसीय प्रशिक्षण कार्यशाला का आयोजन किया गया. इसमें देश में बढ़ते जल संकट पर चर्चा हुई. इसके साथ ही जल संग्रह करने को लेकर कई आवश्यक पहल भी किए गए. आज पूरे विश्व में जल संकट गहराता जा रहा है और यह एक बड़ी समस्या बनकर उभरती जा रही है.

कृषि कार्य से जुड़े कर्मी को प्रशिक्षित किया गया
जानकारों के अनुसार चेन्नई और दिल्ली में जलस्तर काफी घटता जा रहा है. अगर स्थिति यही रही तो आने वाली पीढ़ी को जल के बड़े संकट से जूझना पड़ेगा. इसी को लेकर अररिया टाउन हॉल में जल जीवन हरियाली को लेकर जिला स्तरीय एक दिवसीय प्रशिक्षण सह कार्यशाला का आयोजन किया गया. जिसमें जिले के कृषि सलाहकार, कृषि समन्वयक और कृषि कार्य से जुड़े कर्मी को शामिल किया गया और उन्हें प्रशिक्षित किया गया. इस मौके पर जानकारों ने बताया कि जल संकट दूर करने के लिए हमें वर्षा के जल को संग्रहित करना होगा. साथ ही जो पृथ्वी के अंदर का जलस्तर घट रहा है, उसको बढ़ाने के लिए रिचार्ज भी करना होगा.

जिला पदाधिकारी वैद्यनाथ यादव का बयान

अतिथियों को उपहार में दिए गए फलदार पेड़
यह कार्यक्रम कृषि विभाग ने आयोजित किया. इस दौरान अतिथियों को कृषि पदाधिकारी ने फलदार पेड़ उपहार स्वरूप दिए. ताकि पौधे लगाकर पर्यावरण को सुरक्षित किया जा सके. इस मौके पर यह भी बताया गया कि खेत में जल संरक्षण से खेती बेहतर होगी और इससे लोगों को काफी फायदा होगा. इसलिए जल को बर्बाद ना होने दें. उन्हें वापस कुआं बनाकर जमीन के अंदर जाने का रास्ता दें. ताकि जल दोबारा रिचार्ज होकर हमें मिल सके.

workshop on water conservation in araria
कार्यशाला में शामिल कर्मी

जल संग्रह करने की विधि बताई गई
जिला पदाधिकारी वैद्यनाथ यादव ने बताया कि इस तरह के कार्यक्रम से लोगों को काफी लाभ पहुंचेगा. उन्होंने कहा कि कार्यशाला में लोगों को खेती में जैविक खाद का इस्तेमाल और जल संग्रह करने की विधि बताई गई है. जो काफी लाभदायक साबित होगी. इसके साथ ही जो पेड़ उपहार स्वरूप दिए गए हैं, उसको लगाकर निश्चित रूप से पर्यावरण को सुरक्षित किया जा सकेगा. इस मौके पर लोगों को यह भी बताया गया कि पीने के पानी को भी बर्बाद ना करें. क्योंकि एक-एक बूंद हमारे लिए और जीवन के लिए कीमती है. इस मौके पर कार्यक्रम में कृषि वैज्ञानिक, कृषि पदाधिकारी, सिंचाई विभाग के पदाधिकारी मौजूद रहे.

Intro:जीवन के लिए जल कितना महत्वपूर्ण है उसको लेकर अररिया टाउन हॉल में जल जीवन हरियाली जैसे अहम मुद्दे पर जिला स्तरीय एक दिवसीय प्रशिक्षण सह कर्मशाला का आयोजन किया गया जहां देश में बढ़ते जल संकट पर चर्चा हुई और जल संग्रह करने को लेकर कई आवश्यक पहल भी किए गए ।


Body:आज पूरे विश्व पर जल संकट गहराता जा रहा है और यह एक बड़ी समस्या बनकर उभरती जा रही है । जानकारों के अनुसार भारत के चेन्नई दिल्ली में जलस्तर काफी घटता जा रहा है । अगर स्थिति यह रही तो आने वाली पीढ़ी को जल के बड़े संकट से जूझना पड़ेगा इसी को लेकर अररिया टाउन हॉल में जल जीवन हरियाली को लेकर जिला स्तरीय एक दिवसीय प्रशिक्षण सह कर्मशाला का आयोजन किया गया जिसमें जिले के कृषि सलाहकार कृषि समन्वयक और कृषि कार्य से जुड़े जितने भी कर्मी है उनको शामिल किया गया और उन्हें प्रशिक्षित किया गया मौके पर वैज्ञानिकों ने बताया कि जल संकट दूर करने के लिए हमें वर्षा के जल को संग्रहित करना होगा साथ ही जो पृथ्वी के अंदर का जलस्तर घट रहा है उसको बढ़ाने के लिए रिचार्ज भी करना होगा कृषि विभाग के द्वारा आयोजित इस कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य भी था के पर्यावरण अगर सुरक्षित होगा तो जल संकट कम होता जाएगा इसी को लेकर अतिथियों के बीच कृषि पदाधिकारी के द्वारा फलदार पेड़ उपहार स्वरूप दिए गए ताकि पौधे लगाकर पर्यावरण को सुरक्षित किया जा सके इस मौके पर यह भी बताया गया कि खेत में जल संरक्षण से फसल बागवानी वानकी विकास कार्यक्रम काफी फायदेमंद साबित होगा इसलिए जल को बर्बाद ना होने दें उन्हें वापस कुआं बनाकर जमीन के अंदर जाने का रास्ता दें ताकि जल दोबारा रिचार्ज होकर हमें मिल सके इसी को लेकर इस कार्यक्रम का आयोजन हुआ जिला पदाधिकारी वैद्यनाथ यादव ने बताया कि इस तरह के कार्यक्रम से काफी लाभ पहुंचेगा और लोगों को खेती में जैविक खाद का इस्तेमाल और जल संग्रह करने की विधि यह सब बताई गई है जो काफी लाभदायक साबित होगा साथ ही जो पेड़ उपहार स्वरूप दिए गए हैं उसको लगाकर निश्चित रूप से पर्यावरण को सुरक्षित किया जा सकेगा इस मौके पर लोगों को यह भी बताया गया के पीने के पानी को भी बर्बाद ना करें क्योंकि एक एक बूंद हमारे लिए और जीवन के लिए कीमती है इस मौके पर कार्यक्रम में कृषि वैज्ञानिक कृषि पदाधिकारी सिंचाई विभाग के पदाधिकारी मौजूद थे ।
बाइट - बैद्यनाथ यादव, DM, अररिया ।


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