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मजार अतिक्रमण मामले में पटना हाईकोर्ट में हुई सुनवाई, बिहार सरकार समेत कई लोगों को नोटिस - etv bharat bihar

पटना हाईकोर्ट ने फुलवारी शरीफ स्थित मजार अतिक्रमण मामले में सुनवाई की. कोर्ट ने बिहार सरकार और पटना के जिलाधिकारी समेत कई लोगों को नोटिस भेजा है.

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Published : Nov 1, 2021, 9:55 PM IST

पटना: फुलवारी शरीफ स्थित मजार को अतिक्रमण से बचाने के लिए दायर एक जनहित याचिका पर पटना हाईकोर्ट (Patna High Court) में सुनवाई हुई. राज्य सरकार, पटना के डीएम, एसएसपी, पटना सदर के एसडीओ, फुलवारी शरीफ के डीएसपी, एसएचओ और सुन्नी वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष को चीफ जस्टिस संजय करोल के डिवीजन बेंच ने सुनवाई करते हुए नोटिस जारी किया है.

ये भी पढ़ें- पटना हाईकोर्ट ने खारिज की वकील संतोष मिश्रा की जमानत याचिका, 10.5 लाख रुपये गबन का है मामला

ये जनहित याचिका मंसूर आलम ने दायर की है. इस मामले में कोर्ट ने सभी पक्षों को व्यक्तिगत तौर पर नोटिस देने का आदेश दिया है. याचिकाकर्ता के अधिवक्ता ने कोर्ट को बताया कि फुलवारी शरीफ में टमटम पड़ाव के पास 3.5 एकड़ में सुन्नी वक्फ का काफी समय से कब्रिस्तान है. इसे मिनहाज रहमातुल्लाह अल्लाएह मजार और बाबा मखदूम साहेब मजार के नाम से जाना जाता है. इसे हिन्दू और मुसलमानों के लिए मन्नत का एक केंद्र माना जाता है. लेकिन, कुछ जमीन माफियाओं द्वारा दिनोंदिन जमीन को कब्जा किये जाने की वजह से मजार का आधा क्षेत्र अतिक्रमण कर लिया गया है.

अब इस कब्रिस्तान की भूमि पर अवैध रूप से दुकान का निर्माण भी किया जाने लगा है. इसके बाद याचिकाकर्ता द्वारा जमीन माफियाओं के विरुद्ध कार्रवाई करने को लेकर राज्य के मुख्यमंत्री को एक आवेदन भी 25 सितंबर 2020 को दिया गया.

ये भी पढ़ें- पटना हाईकोर्ट के जज वीरेन्द्र कुमार का राजस्थान HC तबादला

साथ ही याचिकाकर्ता ने संयुक्त आवेदन पटना के वरीय पुलिस अधीक्षक, जिलाधिकारी, सुन्नी वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष, फुलवारी शरीफ के डीएसपी और एसएचओ को भी दिया. जिसकी प्रति राज्य के डीजीपी, फुलवारी शरीफ के सीओ और राज्य के गृह सचिव को भी भेजी गई. कोई कार्रवाई नहीं होते देख याचिकाकर्ता ने पटना सदर के एसडीएम के समक्ष सीआरपीसी धारा 144 के तहत कार्रवाई प्रारंभ करने को लेकर याचिका दायर की.

पटना: फुलवारी शरीफ स्थित मजार को अतिक्रमण से बचाने के लिए दायर एक जनहित याचिका पर पटना हाईकोर्ट (Patna High Court) में सुनवाई हुई. राज्य सरकार, पटना के डीएम, एसएसपी, पटना सदर के एसडीओ, फुलवारी शरीफ के डीएसपी, एसएचओ और सुन्नी वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष को चीफ जस्टिस संजय करोल के डिवीजन बेंच ने सुनवाई करते हुए नोटिस जारी किया है.

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ये जनहित याचिका मंसूर आलम ने दायर की है. इस मामले में कोर्ट ने सभी पक्षों को व्यक्तिगत तौर पर नोटिस देने का आदेश दिया है. याचिकाकर्ता के अधिवक्ता ने कोर्ट को बताया कि फुलवारी शरीफ में टमटम पड़ाव के पास 3.5 एकड़ में सुन्नी वक्फ का काफी समय से कब्रिस्तान है. इसे मिनहाज रहमातुल्लाह अल्लाएह मजार और बाबा मखदूम साहेब मजार के नाम से जाना जाता है. इसे हिन्दू और मुसलमानों के लिए मन्नत का एक केंद्र माना जाता है. लेकिन, कुछ जमीन माफियाओं द्वारा दिनोंदिन जमीन को कब्जा किये जाने की वजह से मजार का आधा क्षेत्र अतिक्रमण कर लिया गया है.

अब इस कब्रिस्तान की भूमि पर अवैध रूप से दुकान का निर्माण भी किया जाने लगा है. इसके बाद याचिकाकर्ता द्वारा जमीन माफियाओं के विरुद्ध कार्रवाई करने को लेकर राज्य के मुख्यमंत्री को एक आवेदन भी 25 सितंबर 2020 को दिया गया.

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साथ ही याचिकाकर्ता ने संयुक्त आवेदन पटना के वरीय पुलिस अधीक्षक, जिलाधिकारी, सुन्नी वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष, फुलवारी शरीफ के डीएसपी और एसएचओ को भी दिया. जिसकी प्रति राज्य के डीजीपी, फुलवारी शरीफ के सीओ और राज्य के गृह सचिव को भी भेजी गई. कोई कार्रवाई नहीं होते देख याचिकाकर्ता ने पटना सदर के एसडीएम के समक्ष सीआरपीसी धारा 144 के तहत कार्रवाई प्रारंभ करने को लेकर याचिका दायर की.

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