पटना: हाल के दिनों में बिहार में कोरोना संक्रमण के मामलों में काफी कमी (Corona Infection Decreased in Bihar) आई है. ओमीक्रॉन के कारण प्रदेश में आया संक्रमण की तीसरी लहर अब तेजी से डाउनफॉल की ओर है. दूसरी ओर संक्रमण के मामले कम होते ही ओमीक्रॉन से संक्रमित हुए लोगों में पोस्ट कोविड इफेक्ट (Omicron post covid effect) नजर आने शुरू हो गए हैं. ओमीक्रॉन से ठीक होने के बाद पोस्ट कोविड समस्याओं को लेकर लोग अब अस्पतालों का रुख करने लगे हैं.
कोरोना के डेल्टा वैरिएंट (Delta Variants of Corona) के कारण आए संक्रमण के बाद भी पोस्ट कोविड इफेक्ट संक्रमण से ठीक हुए लोगों में देखने को मिले थे. लोगों में ब्लैक फंगस, माइग्रेन, ज्वाइंट पेन, सांस लेने में परेशानी जैसी कई प्रकार की समस्याएं सामने आ रही थीं. इसी प्रकार ओमीक्रॉन के कारण तीसरी लहर के बाद लोगों में समस्याएं सामने आने लगी हैं. इस बार समस्याएं पिछली लहर की तुलना में अलग हैं. डेल्टा के कारण जो पोस्ट कोविड समस्याएं लोगों में आ रही थीं, उससे अलग समस्याएं ओमीक्रॉन की वजह से इस बार सामने आ रही हैं. पटना के आईजीआईएमएस में इन दिनों काफी संख्या में मरीज पोस्ट कोविड समस्याओं को लेकर के पहुंचने लगे हैं.
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आईजीआईएमएस के मेडिकल सुपरिटेंडेंट डॉ. मनीष मंडल ने बताया कि ओमीक्रॉन के वजह से इस बार प्रदेश में हर घर में कोरोना के मरीज हैं. इस बार ओमीक्रॉन की वजह से संक्रमण का जो वेव 3 है, इसमें लोगों को सांस संबंधी अधिक समस्याएं नहीं हो रही हैं. लोग सर्दी खांसी से परेशान रह रहे हैं. मामूली बुखार की भी शिकायत आ रही है. यह 5 से 7 दिनों में ठीक भी हो जा रहा है. लेकिन उनके पास अस्पताल में इन दिनों ऐसे मरीज भी आ रहे हैं जिनका सर्दी खांसी कोरोना ठीक हो गया रह रहा है लेकिन उनमें हल्की खांसी जिसे खुश्की खांसी कहते हैं, बना रह रहा है.
ऐसे मरीजों को लंग्स की एक्सरसाइज की सलाह दी जा रही है. फिजियोथेरेपी के लिए निर्देशित किया जाता है. डॉक्टर मनीष मंडल ने बताया कि ओमीक्रॉन का साइड इफेक्ट सबसे अधिक लोगों के पेट संबंधी बीमारियों में देखने को मिल रहा है. काफी संख्या में अस्पताल में ऐसे लोग आ रहे हैं जो हाल ही में ओमीक्रॉन से ठीक हुए हैं लेकिन ठीक होने के बाद पेट में कब्ज की शिकायत, पेट में मरोड़ और हल्का दर्द रहने की शिकायत रह रही है. ऐसे लोगों का खाना पेट में सही से पच नहीं रहा और लोगों में गैस की भी शिकायत बढ़ गई है.
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डॉक्टर मनीष मंडल ने बताया कि ओमीक्रॉन का साइड इफेक्ट लोगों के बाल पर भी देखने को मिल रहा है. काफी संख्या में ऐसे लोग भी आ रहे हैं जो ओमीक्रॉन से ठीक होने के बाद तेजी से हेयर फॉल की समस्या से जूझ रहे हैं. लोगों के बाल बहुत तेजी से झड़ रहे हैं. उन्होंने कहा कि ओमीक्रॉन का असर लोगों पर उतना खतरनाक नहीं हो रहा है जितना डेल्टा वैरिएंट का संक्रमण की दूसरी लहर में देखने को मिला था. लेकिन जो डायबिटीज और ब्लड प्रेशर के मरीज हैं, जो हार्ट संबंधी समस्या से जूझ रहे हैं, ऐसे मरीजों की मुश्किलें ओमीक्रॉन बढ़ा दे रहा है.
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डॉक्टर मनीष मंडल ने कहा कि वह इन बीमारियों से जूझ रहे लोगों को सलाह देंगे कि संक्रमण से ठीक होने के बाद अपने स्वास्थ्य की निरंतर मॉनिटरिंग करते रहें. अपना ब्लड प्रेशर लेवल और शुगर लेवल कंट्रोल में रखें. यदि यह अनकंट्रोल्ड रहता है तो यह खतरनाक हो सकता है. ऐसे लोगों में ब्रेन स्ट्रोक के चांसेस बहुत अधिक बढ़ जाते हैं.
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