ETV Bharat / city

जंतर मंतर पर किसानों की संसद, कांग्रेस ने कहा- 8 महीने से संघर्ष कर रहे किसान, कब जागेगी सरकार?

जब तक संसद का मॉनसून सत्र चलेगा तब तक किसानों ने जंतर मंतर पर प्रदर्शन करने की घोषणा कर दी है. संसद लगाकर किसान अपनी आवाज को संसद तक पहुंचाएंगे. इसपर कांग्रेस ने कहा है कि आखिर मोदी सरकार का घमंड कब टूटेगा?

मोहम्मद जावेद
मोहम्मद जावेद
author img

By

Published : Jul 22, 2021, 9:19 PM IST

नई दिल्ली/पटनाः केन्द्र सरकार के द्वारा पारित तीन कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों का प्रदर्शन (Farmer's Protest) थमने का नाम नहीं ले रहा है. किसान आंदोलन (Farmer's Movement) का नया पड़ाव गुरूवार को दिल्ली के जंतर-मंतर (Jantar-Mantarपर शुरू हुआ. संसद का मॉनसून सत्र चलने तक किसान संगठन रोज यहां प्रदर्शन करेंगे. इसे लेकर विपक्षी पार्टियों ने भी किसानों को अपना समर्थन दिया है. कांग्रेस के राष्ट्रीय सचिव और सांसद मोहम्मद जावेद ने सवाल किया कि आखिर मोदी सरकार का घमंड कब टूटेगा?

इसे भी पढ़ें- Petrol-Diesel Price Hike: पेट्रोल-डीजल के बढ़ते दामों के खिलाफ कांग्रेस का हल्ला-बोल

"कृषि कानूनों के खिलाफ किसान संगठन पिछले 8 महीने से प्रदर्शन कर रहे हैं. आखिर कब मोदी सरकार का घमंड टूटेगा? कांग्रेस मजबूती के साथ इन मुद्दों पर किसानों के साथ खड़ी है. किसानों की आवाज को कांग्रेस पार्टी संसद में उठाएगी. कुछ पूंजीपतियों को फायदा पहुंचाने के लिए एवं अमीरों को और अमीर बनाने के लिए केंद्र सरकार ये कानून लाई है. 2006 में बिहार में एनडीए सरकार ने इसी तरह का कानून लाया था. धान का सरकारी एमएसपी रेट 1850 रुपया था, लेकिन किसानों को 1100 रुपए में धान बेचना पड़ा था. इसी तरह तीनों कृषि कानून भी किसानों के हित के लिए नहीं हैं, इसलिए इन कानूनों को केंद्र सरकार तुरंत निरस्त करे."- मोहम्मद जावेद, कांग्रेस सांसद

देखें वीडियो

इसे भी पढ़ें- यूथ कांग्रेस ने ईंधन और रसोई गैस के दामों मे वृद्धि को वापस लेने की मांग की

बता दें कृषि कानूनों के विरोध में किसान संगठन दिल्ली के बॉर्डर क्षेत्र में पिछले 8 महीने से प्रदर्शन कर रहे हैं. संसद का मानसून सत्र शुरू हो चुका है. वहीं दूसरी तरफ संसद के पास जंतर मंतर पर इस कानून के विरोध में किसान 'किसान संसद' लगा रहे हैं. आज से किसान संसद भी शुरू हो गया है. किसान संगठनों का कहना है कि जब तक सरकार इन कानूनों को वापस नहीं लेती है, तब तक वे यहां डटे रहेंगे.

नई दिल्ली/पटनाः केन्द्र सरकार के द्वारा पारित तीन कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों का प्रदर्शन (Farmer's Protest) थमने का नाम नहीं ले रहा है. किसान आंदोलन (Farmer's Movement) का नया पड़ाव गुरूवार को दिल्ली के जंतर-मंतर (Jantar-Mantarपर शुरू हुआ. संसद का मॉनसून सत्र चलने तक किसान संगठन रोज यहां प्रदर्शन करेंगे. इसे लेकर विपक्षी पार्टियों ने भी किसानों को अपना समर्थन दिया है. कांग्रेस के राष्ट्रीय सचिव और सांसद मोहम्मद जावेद ने सवाल किया कि आखिर मोदी सरकार का घमंड कब टूटेगा?

इसे भी पढ़ें- Petrol-Diesel Price Hike: पेट्रोल-डीजल के बढ़ते दामों के खिलाफ कांग्रेस का हल्ला-बोल

"कृषि कानूनों के खिलाफ किसान संगठन पिछले 8 महीने से प्रदर्शन कर रहे हैं. आखिर कब मोदी सरकार का घमंड टूटेगा? कांग्रेस मजबूती के साथ इन मुद्दों पर किसानों के साथ खड़ी है. किसानों की आवाज को कांग्रेस पार्टी संसद में उठाएगी. कुछ पूंजीपतियों को फायदा पहुंचाने के लिए एवं अमीरों को और अमीर बनाने के लिए केंद्र सरकार ये कानून लाई है. 2006 में बिहार में एनडीए सरकार ने इसी तरह का कानून लाया था. धान का सरकारी एमएसपी रेट 1850 रुपया था, लेकिन किसानों को 1100 रुपए में धान बेचना पड़ा था. इसी तरह तीनों कृषि कानून भी किसानों के हित के लिए नहीं हैं, इसलिए इन कानूनों को केंद्र सरकार तुरंत निरस्त करे."- मोहम्मद जावेद, कांग्रेस सांसद

देखें वीडियो

इसे भी पढ़ें- यूथ कांग्रेस ने ईंधन और रसोई गैस के दामों मे वृद्धि को वापस लेने की मांग की

बता दें कृषि कानूनों के विरोध में किसान संगठन दिल्ली के बॉर्डर क्षेत्र में पिछले 8 महीने से प्रदर्शन कर रहे हैं. संसद का मानसून सत्र शुरू हो चुका है. वहीं दूसरी तरफ संसद के पास जंतर मंतर पर इस कानून के विरोध में किसान 'किसान संसद' लगा रहे हैं. आज से किसान संसद भी शुरू हो गया है. किसान संगठनों का कहना है कि जब तक सरकार इन कानूनों को वापस नहीं लेती है, तब तक वे यहां डटे रहेंगे.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.