पटना: मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (CM Nitish Kumar) बुधवार यानी की आज बाढ़ (Flood In Bihar) आपदा एवं अल्पवृष्टि से उत्पन्न स्थिति की समीक्षा कर रहे हैं. इस बैठक उप मुख्यमंत्री तारकिशोर प्रसाद और रेणु देवी समेत अन्य कई लोग उपस्थित हैं. इस दौरान आपदा विभाग (Disaster Department) की ओर से एक प्रेजेंटेशन भी दिया जाएगा. हालांकि आपदा विभाग इन दिनों लगातार बाढ़ पीड़ितों को मदद पहुंचाने में लगा हुआ है. मुख्यमंत्री खुद जाकर बाढ़ ग्रस्त इलाकों का जायजा ले रहे हैं.
इसे भी पढ़ें: केंद्रीय टीम ने बाढ़ से क्षति का किया आंकलन, जल्द सौंपेगी केंद्र सरकार को रिपोर्ट
आपदा विभाग के साथ मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की उच्च स्तरीय बैठक हो रही है. इस दौरान मुख्यमंत्री आपदा विभाग की ओर से किए जा रहे कार्यों की रिपोर्ट लेंगे. बता दें कि बिहार में इस साल भी बाढ़ से लाखों लोग प्रभावित हुए हैं. बिहार के लोग जून महीने से ही बाढ़ का दंश झेल रहे हैं. जिसका मॉनिटरिंग मुख्यमंत्री खुद कर रहे हैं.
ये भी पढ़ें: केंद्रीय टीम ने दरभंगा, समस्तीपुर और मुजफ्फरपुर के बाढ़ग्रस्त इलाकों का किया हवाई सर्वेक्षण, डीएम के साथ की बैठक
बिहार सरकार के आग्रह पर केंद्रीय टीम ने भी बाढ़ से हुए क्षति का आंकलन किया है. बिहार सरकार ने प्रारंभिक क्षति का आंकलन कर रिपोर्ट केंद्र सरकार को भेजा था. उसी आधार पर केंद्रीय टीम ने भी जायजा लिया है. केंद्रीय टीम ने आपदा प्रबंधन विभाग के साथ भी बैठक की और विभाग के तरफ से केंद्रीय टीम के सामने एक प्रेजेंटेशन भी दिया है.
प्रारंभिक आंकलन के हिसाब से 3,763.85 करोड़ की राशि केंद्र सरकार से मदद के तौर पर मांगी गई है. जिसमें सबसे अधिक जल संसाधन विभाग क्षति की राशि 1469.99 करोड़ रुपये है. साथ ही आपदा प्रबंधन विभाग का 1168.59 करोड़ रुपये राशि है.
विभाग | राशि |
कृषि विभाग | 661.1 करोड़ |
पथ निर्माण विभाग | 203.14 करोड़ |
ग्रामीण कार्य विभाग | 234.70 करोड़ |
ऊर्जा विभाग | 14.37 करोड़ |
पीएचइडी विभाग | 7.86 करोड़ |
पशुपालन विभाग | 4.04 करोड़ |
बता दें कि केंद्रीय टीम वापस बिहार में हुए बाढ़ से क्षति का आंकलन कर लौट चुकी है. अब बिहार सरकार की नजर केंद्र से मिलने वाली मदद पर है. पिछले दिनों मुख्यमंत्री ने कहा भी था कि यदि केंद्रीय टीम को लगेगा कि बाढ़ से हुए क्षति में मदद करना चाहिए, तो करेंगे. उससे बिहार को सहूलियत मिलेगी.
बताते चलें कि बाढ़ में हुई क्षतिग्रस्त के लिए 2017 में केंद्र से बिहार को 1700 करोड़, 2019 में 1000 करोड़ और 2020 में 1255 करोड़ की मदद मिली थी. इस बार बिहार में 26 जिले के लोग बाढ़ से परेशान हुए हैं. वहीं, 200 करोड़ से अधिक के पथ निर्माण विभाग की सड़कों को नुकसान पहुंचा है, ग्रामीण कार्य विभाग की सड़कें भी बड़े पैमाने पर क्षतिग्रस्त हुई हैं. इसके साथ ही कृषि विभाग और निजी संपत्तियों का भी बाढ़ की चपेट में आने से नुकसान हुआ है.