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शपथ पत्र देकर शिक्षक अभ्यर्थी वापस ले सकते हैं ओरिजिनल सर्टिफिकेट, शिक्षा विभाग ने जारी किया निर्देश

बिहार में पंचायत चुनाव के बाद एक बार फिर प्राथमिक शिक्षकों के नियोजन (Primary Teacher Recruitment) की प्रक्रिया शुरू होगी. हालांकि कुछ अभ्यर्थी अपने ऑरिजिनल सर्टिफिकेट को लेकर परेशान थे. जिसका हल शिक्षा विभाग ने निकाल लिया है. आगे पढ़ें पूरी खबर...

Primary Teacher Recruitment
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Published : Dec 4, 2021, 9:48 AM IST

पटना : प्राथमिक शिक्षकों के नियोजन को लेकर शिक्षा विभाग ने एक महत्वपूर्ण निर्देश जारी किया है. जिन अभ्यर्थियों का चयन प्राथमिक शिक्षक के रूप में हो चुका है, वह शपथ पत्र देकर अपने ओरिजिनल सर्टिफिकेट वापस (Return Original Certificate by Giving Affidavit) ले सकते हैं. शिक्षक अभ्यर्थी लगातार यह मांग कर रहे थे सर्टिफिकेट जांच के नाम पर उनके ओरिजिनल सर्टिफिकेट शिक्षा विभाग के पास जमा है. जिसकी वजह से वह किसी अन्य जगह नौकरी के लिए आवेदन नहीं कर पा रहे हैं.

ये भी पढ़ें- Bihar Teachers Recruitment: प्राथमिक शिक्षकों के नियोजन का शेड्यूल जारी, 14 दिसंबर से काउंसलिंग


प्राथमिक शिक्षा निदेशक अमरेंद्र प्रसाद सिंह (Primary Education Director Amarendra Prasad Singh) ने चयनित अभ्यर्थियों के प्रमाण पत्र वापस करने के संबंध में पत्र जारी किया है. जिसके मुताबिक शिक्षक नियोजन 2019-20 में फर्स्ट और सेकंड राउंड की काउंसलिंग करीब 7000 नियोजन इकाइयों में हो चुकी है. जिसमें 38000 से ज्यादा अभ्यर्थियों का चयन हुआ है, जबकि करीब 1250 नियोजन इकाइयों में काउंसलिंग और चयन की प्रक्रिया बाकी है.

चयनित अभ्यर्थियों ने शिक्षा विभाग में आवेदन दिया है, जिसमें यह कहा गया है कि उनका चयन राज्य के अंदर या राज्य के बाहर किसी अन्य संस्थान या संस्था में हो चुका है, जिसके लिए उन्हें मूल प्रमाण पत्र की आवश्यकता है. यह नौबत इसलिए आई है क्योंकि प्राथमिक शिक्षक पद के लिए काउंसलिंग में चयनित अभ्यर्थियों के ट्रेनिंग सर्टिफिकेट और शिक्षक पात्रता परीक्षा का मूल प्रमाण पत्र जमा कर लिया गया. शिक्षा विभाग के निर्देश के मुताबिक सर्टिफिकेट की जांच के बाद ही शिक्षक अभ्यर्थियों को उनका ओरिजिनल सर्टिफिकेट लौटाया जाएगा. अभ्यर्थियों की मांग और उनकी जरूरत को देखते हुए अब शिक्षा विभाग ने चयनित अभ्यर्थियों के प्रमाण पत्र वापस करने को लेकर निर्देश जारी कर दिया है.

ये भी पढ़ें- शिक्षक नियोजन समेत कई चुनौतियों से अब तक पार नहीं पाया शिक्षा विभाग, बढ़ रही शिकायतें

प्राथमिक शिक्षा निदेशक ने कहा है कि चयनित अभ्यर्थियों से प्रथम श्रेणी के अधिकारी के समक्ष लिए गए प्रश्न पत्र के आधार पर उनका प्रमाण पत्र वापस किया जाएगा. शपथ पत्र में स्पष्ट रूप से लिखा हो कि वह उस प्रमाण पत्र के आधार पर वर्तमान प्रक्रियाधीन शिक्षक नियोजन 2019-20 के अंतर्गत किसी अन्य नियोजन इकाई में शिक्षक नियोजन हेतु दावा नहीं करेंगे. इधर इस मामले में एनआईओएस डीएलएड संघ के अध्यक्ष पप्पू कुमार ने कहा कि इस लेटर के जरिए अभ्यर्थियों की परेशानी दूर करने की बात कही जा रही है. लेकिन हम अभ्यर्थी इस इस पत्र को लेकर परेशान है क्योंकि इससे स्पष्ट नहीं हो रहा कि उनकी उम्मीदवारी रहेगी.

''अभ्यर्थियों का सर्टिफिकेट 5 महीने से शिक्षा विभाग के पास जमा है. हमारी यह मांग थी कि वर्तमान में यदि हम किसी स्कूल में पढ़ाना चाहते हैं तो हमारा सर्टिफिकेट दे दिया जाए. लेकिन इस लेटर में यह कहीं नहीं लिखा है कि यदि अभ्यर्थी अपना सर्टिफिकेट वापस ले लेते हैं तो उनकी उम्मीदवारी बरकरार रहेगी या नहीं.''- पप्पू कुमार, शिक्षक अभ्यर्थी

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पटना : प्राथमिक शिक्षकों के नियोजन को लेकर शिक्षा विभाग ने एक महत्वपूर्ण निर्देश जारी किया है. जिन अभ्यर्थियों का चयन प्राथमिक शिक्षक के रूप में हो चुका है, वह शपथ पत्र देकर अपने ओरिजिनल सर्टिफिकेट वापस (Return Original Certificate by Giving Affidavit) ले सकते हैं. शिक्षक अभ्यर्थी लगातार यह मांग कर रहे थे सर्टिफिकेट जांच के नाम पर उनके ओरिजिनल सर्टिफिकेट शिक्षा विभाग के पास जमा है. जिसकी वजह से वह किसी अन्य जगह नौकरी के लिए आवेदन नहीं कर पा रहे हैं.

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प्राथमिक शिक्षा निदेशक अमरेंद्र प्रसाद सिंह (Primary Education Director Amarendra Prasad Singh) ने चयनित अभ्यर्थियों के प्रमाण पत्र वापस करने के संबंध में पत्र जारी किया है. जिसके मुताबिक शिक्षक नियोजन 2019-20 में फर्स्ट और सेकंड राउंड की काउंसलिंग करीब 7000 नियोजन इकाइयों में हो चुकी है. जिसमें 38000 से ज्यादा अभ्यर्थियों का चयन हुआ है, जबकि करीब 1250 नियोजन इकाइयों में काउंसलिंग और चयन की प्रक्रिया बाकी है.

चयनित अभ्यर्थियों ने शिक्षा विभाग में आवेदन दिया है, जिसमें यह कहा गया है कि उनका चयन राज्य के अंदर या राज्य के बाहर किसी अन्य संस्थान या संस्था में हो चुका है, जिसके लिए उन्हें मूल प्रमाण पत्र की आवश्यकता है. यह नौबत इसलिए आई है क्योंकि प्राथमिक शिक्षक पद के लिए काउंसलिंग में चयनित अभ्यर्थियों के ट्रेनिंग सर्टिफिकेट और शिक्षक पात्रता परीक्षा का मूल प्रमाण पत्र जमा कर लिया गया. शिक्षा विभाग के निर्देश के मुताबिक सर्टिफिकेट की जांच के बाद ही शिक्षक अभ्यर्थियों को उनका ओरिजिनल सर्टिफिकेट लौटाया जाएगा. अभ्यर्थियों की मांग और उनकी जरूरत को देखते हुए अब शिक्षा विभाग ने चयनित अभ्यर्थियों के प्रमाण पत्र वापस करने को लेकर निर्देश जारी कर दिया है.

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प्राथमिक शिक्षा निदेशक ने कहा है कि चयनित अभ्यर्थियों से प्रथम श्रेणी के अधिकारी के समक्ष लिए गए प्रश्न पत्र के आधार पर उनका प्रमाण पत्र वापस किया जाएगा. शपथ पत्र में स्पष्ट रूप से लिखा हो कि वह उस प्रमाण पत्र के आधार पर वर्तमान प्रक्रियाधीन शिक्षक नियोजन 2019-20 के अंतर्गत किसी अन्य नियोजन इकाई में शिक्षक नियोजन हेतु दावा नहीं करेंगे. इधर इस मामले में एनआईओएस डीएलएड संघ के अध्यक्ष पप्पू कुमार ने कहा कि इस लेटर के जरिए अभ्यर्थियों की परेशानी दूर करने की बात कही जा रही है. लेकिन हम अभ्यर्थी इस इस पत्र को लेकर परेशान है क्योंकि इससे स्पष्ट नहीं हो रहा कि उनकी उम्मीदवारी रहेगी.

''अभ्यर्थियों का सर्टिफिकेट 5 महीने से शिक्षा विभाग के पास जमा है. हमारी यह मांग थी कि वर्तमान में यदि हम किसी स्कूल में पढ़ाना चाहते हैं तो हमारा सर्टिफिकेट दे दिया जाए. लेकिन इस लेटर में यह कहीं नहीं लिखा है कि यदि अभ्यर्थी अपना सर्टिफिकेट वापस ले लेते हैं तो उनकी उम्मीदवारी बरकरार रहेगी या नहीं.''- पप्पू कुमार, शिक्षक अभ्यर्थी

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