ETV Bharat / city

चैती नवरात्र को लेकर गया के मंगला गौरी मंदिर में उमड़ी भक्तों की भीड़, देश भर से आते हैं श्रद्धालु

चैती नवरात्र शुरू होते ही गया के प्रसिद्ध मां मंगला गौरी मंदिर में भक्तों की भीड़ (Crowd of Devotees at Maa Mangala Gauri Temple in Gaya) लगी है. सुबह से ही कतार में लग कर श्रद्धालु मां के दर्शन कर रहे हैं. देश के प्रसिद्ध शक्तिपीठों में से एक है, मां मंगला गौरी मंदिर. पूरे देश से मां के दर्शन करने यहां लोग आते हैं. चैती नवरात्र शुरू होते ही यहां पर रोजाना भक्तों की भारी भीड़ लगी रहती है. पढ़ें पूरी खबर..

author img

By

Published : Apr 2, 2022, 6:46 PM IST

गया के प्रसिद्ध मां मंगला गौरी मंदिर में भक्तों की भीड़
गया के प्रसिद्ध मां मंगला गौरी मंदिर में भक्तों की भीड़

गया: बिहार के गया में चैती नवरात्र शुरू (Chaiti Navratri 2022) होते ही भक्तों में उल्लास देखने को मिल रहा है. मंदिरों में सुबह से ही माता के दर्शन के लिए श्रद्धालुओं की लंबी-लंबी कतारें देखने को मिल रही हैं. काफी संख्या में भक्त मां दुर्गा के दर्शन करने, मंदिरों में आ रहे हैं. नवरात्र के पहले दिन सुबह से ही गया स्थित प्रसिद्ध मां मंगला गौरी मंदिर (Famous Maa Mangala Gauri Temple at Gaya) में भक्तों की भारी भीड़, मां दुर्गा के पूजा-अर्चना के लिए उमड़ पड़ी.

ये भी पढ़ें- रामनवमीः हनुमान मंदिर में मायूस हुए भक्त, इस साल भी नहीं हुए प्रभु के दर्शन

मां मंगला के दर्शन मात्र से दूर हो जाते हैं कष्ट: मां मंगला गौरी मंदिर देश भर में प्रसिद्ध है और यहां तकरीबन विभिन्न राज्यों से श्रद्धालुओं का सालों भर दर्शन के लिए आना लगा रहता है. यह देश के प्रसिद्ध शक्तिपीठों में से एक है. धार्मिक मान्यताओं के अनुसार यहां मां का वक्ष स्थल गिरा था. मान्यता है कि मां मंगला के दर्शन मात्र से कष्ट दूर हो जाते हैं. सभी प्रकार की समस्याओं का कोई न कोई रास्ता जरूर निकल जाता है.

मां मंगला गौरी मंदिर देश भर में प्रसिद्ध है: मां मंगला गौरी मंदिर चमत्कारिक मंदिर है. यहां की चमत्कारिक मान्यता काफी फैली हुई है. और यही वजह है कि इस मंदिर को चमत्कारिक मंदिर भी माना जाता है. भक्त भी बताते हैं कि माता के दर्शन से विभिन्न व्याधियों से उन्हें मुक्ति मिलती है. और कष्ट कम हो जाते हैं. दरअसल यह मंदिर अति प्राचीन मंदिर है. ऐसी मान्यता है कि जब माता सती अपने पति शिव के साथ मायके गई थी तो शिव के ससुराल में उनके वेश-भूषा की वजह से उपहास हुआ था.

मंदिर को चमत्कारिक मंदिर कहा जाता है: मां पार्वती अपने पति के का अनादर देख, माता सती हवन की अग्नि कुंड में कूद कर, अपनी प्राण त्याग दी थीं. इसके बाद क्रोधित भगवान शिव ने हवन कुंड में अधजले अपनी पत्नी सती के शरीर को अपने कंधों पर लेकर तांडव किया था. जिससे पूरा ब्रह्मांड थर्रा गया था. ऐसी मान्यता है कि गया के कोलाहल पर्वत पर माता सती का वक्ष गिरा था.

मंदिर को पालन पीठ भी कहा जाता है: माता सती का वक्ष गिरा था. इस वजह से इस मंदिर को पालन पीठ भी कहा जाता है. मां मंगला गौरी मंदिर की यह कथा पृथ्वी जब तक कायम रहेगी, तब तक उस काल की याद दिलाती रहेगी. भक्ति भाव से जो श्रद्धालु इस मंदिर में आकर, पूजन करते हैं. उनकी सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं.

ये भी पढ़ें- Chaitra Navratri 2022: बिहार के इस मंदिर में नवरात्र के दौरान महिलाओं का प्रवेश रहता है वर्जित, जानें वजह

ये भी पढ़ें- Chaitra Navratri 2022: नवरात्रि में अलग-अलग प्रसाद का भोग लगाकर करें माता को प्रसन्न

विश्वसनीय खबरों को देखने के लिए डाउनलोड करें ETV BHARAT APP

गया: बिहार के गया में चैती नवरात्र शुरू (Chaiti Navratri 2022) होते ही भक्तों में उल्लास देखने को मिल रहा है. मंदिरों में सुबह से ही माता के दर्शन के लिए श्रद्धालुओं की लंबी-लंबी कतारें देखने को मिल रही हैं. काफी संख्या में भक्त मां दुर्गा के दर्शन करने, मंदिरों में आ रहे हैं. नवरात्र के पहले दिन सुबह से ही गया स्थित प्रसिद्ध मां मंगला गौरी मंदिर (Famous Maa Mangala Gauri Temple at Gaya) में भक्तों की भारी भीड़, मां दुर्गा के पूजा-अर्चना के लिए उमड़ पड़ी.

ये भी पढ़ें- रामनवमीः हनुमान मंदिर में मायूस हुए भक्त, इस साल भी नहीं हुए प्रभु के दर्शन

मां मंगला के दर्शन मात्र से दूर हो जाते हैं कष्ट: मां मंगला गौरी मंदिर देश भर में प्रसिद्ध है और यहां तकरीबन विभिन्न राज्यों से श्रद्धालुओं का सालों भर दर्शन के लिए आना लगा रहता है. यह देश के प्रसिद्ध शक्तिपीठों में से एक है. धार्मिक मान्यताओं के अनुसार यहां मां का वक्ष स्थल गिरा था. मान्यता है कि मां मंगला के दर्शन मात्र से कष्ट दूर हो जाते हैं. सभी प्रकार की समस्याओं का कोई न कोई रास्ता जरूर निकल जाता है.

मां मंगला गौरी मंदिर देश भर में प्रसिद्ध है: मां मंगला गौरी मंदिर चमत्कारिक मंदिर है. यहां की चमत्कारिक मान्यता काफी फैली हुई है. और यही वजह है कि इस मंदिर को चमत्कारिक मंदिर भी माना जाता है. भक्त भी बताते हैं कि माता के दर्शन से विभिन्न व्याधियों से उन्हें मुक्ति मिलती है. और कष्ट कम हो जाते हैं. दरअसल यह मंदिर अति प्राचीन मंदिर है. ऐसी मान्यता है कि जब माता सती अपने पति शिव के साथ मायके गई थी तो शिव के ससुराल में उनके वेश-भूषा की वजह से उपहास हुआ था.

मंदिर को चमत्कारिक मंदिर कहा जाता है: मां पार्वती अपने पति के का अनादर देख, माता सती हवन की अग्नि कुंड में कूद कर, अपनी प्राण त्याग दी थीं. इसके बाद क्रोधित भगवान शिव ने हवन कुंड में अधजले अपनी पत्नी सती के शरीर को अपने कंधों पर लेकर तांडव किया था. जिससे पूरा ब्रह्मांड थर्रा गया था. ऐसी मान्यता है कि गया के कोलाहल पर्वत पर माता सती का वक्ष गिरा था.

मंदिर को पालन पीठ भी कहा जाता है: माता सती का वक्ष गिरा था. इस वजह से इस मंदिर को पालन पीठ भी कहा जाता है. मां मंगला गौरी मंदिर की यह कथा पृथ्वी जब तक कायम रहेगी, तब तक उस काल की याद दिलाती रहेगी. भक्ति भाव से जो श्रद्धालु इस मंदिर में आकर, पूजन करते हैं. उनकी सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं.

ये भी पढ़ें- Chaitra Navratri 2022: बिहार के इस मंदिर में नवरात्र के दौरान महिलाओं का प्रवेश रहता है वर्जित, जानें वजह

ये भी पढ़ें- Chaitra Navratri 2022: नवरात्रि में अलग-अलग प्रसाद का भोग लगाकर करें माता को प्रसन्न

विश्वसनीय खबरों को देखने के लिए डाउनलोड करें ETV BHARAT APP

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.