छपराः बिहार के छपरा (Chhapra) में एक बार फिर जिला प्रशासन के आदेशों की धज्जियां उड़ती नजर आई है. त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव को लेकर जिले में लागू निषेधाज्ञा का भी काफी माखौल उड़ा है. रिविलगंज में प्रशासन की मनाही के बावजूद आर्केस्ट्रा कार्यक्रम का आयोजन किया गया. बार बालाओं से अश्लील गानों पर 24 घंटे से ज्यादा तक ठुमके लगवाए गए. लोग अपने हाथों में देसी असलहा, कटार, बरछा, भाला, तलवार लेकर घूमते रहे. ना ही कोविड गाइडलाइन (Covid Guideline) का ख्याल रखा गया और ना ही चुनाव के दौरान के आदेश का.
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बता दें कि प्रत्येक वर्ष त्योहारों के मद्देनजर जिला प्रशासन द्वारा डीजे नहीं बजाने, आर्केस्ट्रा कार्यक्रम का आयोजन नहीं करने और सड़क जाम नहीं करने तथा ध्वनि प्रदूषण को कम करने के लिए दशहरा पूजा समिति के सदस्यों के साथ एक बैठक कर इस तरह का आदेश निकाला जाता है. लेकिन इस आदेश का अनुपालन सही तरीके से नहीं हो पाता है.
जानकारी दें कि रिविलगंज क्षेत्र बजरंगबली का ननिहाल माना जाता है. इसलिए यहां की पौराणिक मान्यताओं के अनुसार दशहरा में माता की प्रतिमा के साथ ही बजरंगबली की प्रतिमा भी स्थापित की जाती है. उसकी विधिवत रूप से पूजा की जाती है. यहां पर 10 अखाड़े हैं, जो विधिवत रूप से माता और बजरंगबली की प्रतिमाओं की स्थापना और उसके पूजन के साथ दशहरा के हफ्ते भर बाद विसर्जन का कार्यक्रम करते हैं. बजरंगबली और माता की प्रतिमा के विसर्जन के समय हर साल अखाड़ा संचालकों द्वारा जिला प्रशासन के नियमों की अनदेखी की जाती है. आदेशों की खुलकर धज्जियां उड़ाई जाती हैं.
हर साल की तरह इस साल भी आर्केस्ट्रा संचालकों द्वारा तेज आवाज में बार बालाओं से खुलेआम अश्लील और फूहड़ नृत्य करवाए गए. हजारों की संख्या में नौजवान देसी असलहा, कटार, बरछा, भाला, तलवार लेकर घूमते नजर आए. इस विषय पर जब जिला प्रशासन के वरीय अधिकारियों से बात करने की कोशिश की गई तो हर अधिकारी कुछ भी बोलने से बचते रहे.
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