देहरादून: उत्तराखंड में पौराणिक नीलकंठ महादेव मंदिर तक पहुंचना अब जल्द ही श्रद्धालुओं के लिए आसान होगा. राज्य सरकार नीलकंठ महादेव मंदिर तक रोपवे प्रोजेक्ट को शुरू कर रही है. जिसके लिए गंगा कॉरिडोर प्रोजेक्ट की कंसल्टेंट एजेंसी के साथ भी एलाइनमेंट पर बातचीत पूरी कर ली गई है.
ऋषिकेश-नीलकंठ महादेव मंदिर रोपवे का काम टेंडर प्रक्रिया तक पहुंच गया है. रोपवे के एलाइनमेंट को लेकर शासन स्तर पर गंगा कॉरिडोर प्रोजेक्ट की कंसलटेंट एजेंसी से बातचीत की गई है. इसके बाद जल्द ही इस प्रोजेक्ट की बिडिंग करवाने की तैयारी की जा रही है. पिछले साल ही ऋषिकेश- नीलकंठ महादेव मंदिर रोपवे को उत्तराखंड कैबिनेट ने मंजूरी दी थी. इसके बाद इस रोपवे प्रोजेक्ट को शुरू करने के लिए विभिन्न स्तर पर काम चल रहा है. ऋषिकेश में गंगा कॉरिडोर प्रोजेक्ट की कंसलटेंट एजेंसी एक ओवरऑल प्लान ला रही है. ऐसे में रोपवे का एलाइनमेंट इस प्रोजेक्ट के साथ मैच करता है यह जानने के लिए उत्तराखंड शासन में आवास सचिव और कंसल्टेंट एजेंसी के प्रतिनिधियों के बीच बातचीत की गई है.
ऋषिकेश -नीलकंठ महादेव मंदिर रोपवे करीब 6.5 किलोमीटर लंबा प्रस्तावित है. जिस पर करीब 450 करोड़ का खर्च आना है. कैबिनेट से मंजूरी के बाद इस प्रोजेक्ट की डीपीआर तैयार की जा चुकी है. अब इसके लिए बिडिंग प्रक्रिया को शुरू किया जाना है. रोपवे परियोजना के लिए सरकार ने भूमि हस्तांतरण की भी मंजूरी दे दी है. जिसके बाद आवास विभाग के पक्ष में भूमि का हस्तांतरण करने की स्वीकृति मिल चुकी है. प्रोजेक्ट के लिए भूमि चयन का काम भी पहले ही किया जा चुका है. आवास सचिव आर मीनाक्षी सुंदरम ने बताया रोपवे प्रोजेक्ट को जल्द से जल्द पूरा करने के प्रयास किया जा रहे हैं.