पंचकूला: हरियाणा में "बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ" अभियान के तहत अब महिला सरपंचों को संबंधित गांव का ब्रांड एंबेसडर बनाया जाएगा. इस बारे में हरियाणा सीएम ने जानकारी दी. दरअसल मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने गुरुवार को चंडीगढ़ में महिला एवं बाल विकास विभाग की समीक्षा बैठक की अध्यक्षता की. इस दौरान उन्होंने "बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ" अभियान के तहत महिला सरपंचों को उनके संबंधित गांवों का ब्रांड एंबेसडर बनाने की बात कही.
10 हजार आंगनबाड़ी केंद्र को किया जाएगा विकसित: सीएम नायब सैनी ने कहा, "राज्य में वर्तमान में 4 हजार आंगनवाड़ी केंद्रों को खेल-आधारित शिक्षा और पोषण केंद्र में विकसित किया जा चुका है. अब प्रदेश में 10 हजार आंगनवाड़ी केंद्रों को अगले पांच वर्ष में सक्षम आंगनवाड़ी केंद्रों के रूप में विकसित किया जाएगा. उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि बच्चों के पोषण स्तर में सुधार कर स्टंटिंग-मुक्त होने वाला हरियाणा पहला राज्य बने. पीएम नरेंद्र मोदी ने पोषण बढ़ाने के लिए बाजरा से बने उत्पादों के अधिकतम उपयोग की बात कही है."
200 करोड़ रुपए के बजट का प्रावधान: सीएम नायब सिंह सैनी ने आगे कहा कि प्रदेश की नॉन-स्टॉप सरकार का लक्ष्य पोषण अभियान में देश के शीर्ष तीन राज्यों में स्थान बनाना है. इसके साथ ही दूध उपहार योजना के तहत वित्तीय वर्ष 2024-25 के लिए 200 करोड़ रूपये के बजट का प्रावधान किए गया है.
सांस्कृतिक केंद्रों को महिला चौपाल में पुनर्जीवित: मुख्यमंत्री सैनी ने बताया कि प्रदेश में मौजूदा 355 सांस्कृतिक केंद्रों को महिला चौपाल के रूप में पुनर्जीवित करने का प्रस्ताव है. इस बैठक में महिला एवं बाल विकास मंत्री श्रुति चौधरी भी उपस्थित रहीं.
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