ETV Bharat / state

सासाराम रांची इंटरसिटी एक्सप्रेस में आग की अफवाह किसने फैलाई, ट्रेन में क्या-क्या हुआ यहां जानिए - Latehar Train Accident

Latehar Train Accident. लातेहार में शुक्रवार को हुए ट्रेन हादसे में तीन लोगों की मौत हो गई. इस हादसे की वजह ये अफवाह थी कि ट्रेन में आग लग गई है. इस रिपोर्ट में जानिए ट्रेन में कब कैसे क्या हुआ.

LATEHAR TRAIN ACCIDEN
कुमंडीह स्टेशन (ईटीवी भारत)
author img

By ETV Bharat Jharkhand Team

Published : Jun 15, 2024, 3:56 PM IST

लातेहार: धनबाद रेल मंडल के कुमंडीह स्टेशन पर शुक्रवार की रात मालगाड़ी की चपेट में आने से तीन रेल यात्रियों की मौत हो गई. इस हादसे के बाद रेलवे विभाग पूरे मामले की छानबीन में जुट गया है. हालांकि इस जांच में एक बात भी खुलकर सामने आई है कि रांची-सासाराम इंटरसिटी एक्सप्रेस को कुमंडीह स्टेशन पर 19: 58 बजे रोकी गयी थी. ट्रेन रुकने के चौथे मिनट 20:02 बजे ट्रेन के पिछले बोगी में किसी ने अफवाह फैलाई की बोगी में आग लग गई है. जिससे अफरा तफरी मची और तीन जिंदगियां पलक झपकते ही मौत के आगोश में चली गई.

घटनास्थल से जानकारी देते संवाददाता राजीव कुमार (ईटीवी भारत)

दरअसल रेलवे सूत्रों ने ईटीवी भारत को बताया कि लातेहार से इंटरसिटी एक्सप्रेस रात 19:58 बजे जब कुमंडीह स्टेशन पर पहुंची तो वहां से आगे हेहेगड़ा के पास लाइन क्लियर नहीं था. इसी कारण इंटरसिटी एक्सप्रेस को कुमंडीह स्टेशन पर ही खड़ी कर दी गई. अप लाइन पर पहले से ही एक मालगाड़ी खड़ी थी. इसीलिए इंटरसिटी एक्सप्रेस को मेन लाइन में खड़ी की गई थी.

ट्रेन के रुकने के 3 मिनट तक तो सब कुछ सामान्य रहा. परंतु चौथे मिनट में 20:02 बजे जब डाउन लाइन पर एक मालगाड़ी आने लगी तो किसी ने यह अफवाह फैला दिया कि ट्रेन के बोगी में आग लग गई है. इस खबर को सुनने के बाद अचानक बोगी में अफरा तफरी मच गई और यात्री ट्रेन से उतरकर भागने लगे. कुछ यात्री तो ट्रेन से उतरकर डाउन लाइन की तरफ सुरक्षित निकल गए, लेकिन तीन यात्री मालगाड़ी की चपेट में आगे और उनकी घटनास्थल पर ही मौत हो गई. अब सवाल यह उठता है कि क्या किसी ने मालगाड़ी को सामने से आता देखकर जानबूझकर यह अफवाह फैलाई थी? इन सभी बिंदुओं पर रेलवे विभाग के द्वारा जांच भी आरंभ कर दी गई है.

सभी मृत यात्रियों की हुई पहचान

इधर, घटना के बाद सभी मृत यात्रियों की पहचान हो गई है. मृतक महिला यात्री मंजू देवी बिहार के रोहतास जिले के नासरीगंज की रहने वाली थी. वहीं मृतक नंदलाल शुक्ला मेदिनीनगर पलामू के रहने वाले थे. जबकि तीसरे मृतक विकास कुमार रजक काशीपुर गढ़वा के निवासी थे. घटना के बाद आरपीएफ की टीम ने तीनों शवों को कब्जे में लेकर ले लिया था. जिनका पोस्टमार्टम शनिवार को किया गया.

डीआरएम ने लिया घटनास्थल का जायजा

इधर, घटना की जानकारी होने के बाद धनबाद मंडल के डीआरएम कमल किशोर सिन्हा शुक्रवार की देर रात घटना स्थल पर पहुंच गए थे. इस दौरान उन्होंने पूरे मामले की जानकारी ली. बाद में उन्होंने दुर्घटना में घायल लोगों से भी मिलकर जानकारी हासिल की. सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार डीआरएम के द्वारा पूरी घटना की जांच के लिए आदेश दिया गया है. घटना के करीब 2 घंटे के बाद परिचालन सम्मान कर दिया गया था.

ये भी पढ़ें:

कुमंडीह रेल हादसा : यात्रियों के लिए फरिश्ता बना चायवाला, कई लोगों की पटरी से खींचकर बचाई जान - Train accident in Latehar

कुमंडीह रेल हादसे के बाद उठ रहे कई सवाल, जंगली इलाकों में क्यों रोकी जाती हैं पैसेंजर ट्रेनें? नक्सल हमले का रहा है लंबा इतिहास - Latehar train accident

लातेहार: धनबाद रेल मंडल के कुमंडीह स्टेशन पर शुक्रवार की रात मालगाड़ी की चपेट में आने से तीन रेल यात्रियों की मौत हो गई. इस हादसे के बाद रेलवे विभाग पूरे मामले की छानबीन में जुट गया है. हालांकि इस जांच में एक बात भी खुलकर सामने आई है कि रांची-सासाराम इंटरसिटी एक्सप्रेस को कुमंडीह स्टेशन पर 19: 58 बजे रोकी गयी थी. ट्रेन रुकने के चौथे मिनट 20:02 बजे ट्रेन के पिछले बोगी में किसी ने अफवाह फैलाई की बोगी में आग लग गई है. जिससे अफरा तफरी मची और तीन जिंदगियां पलक झपकते ही मौत के आगोश में चली गई.

घटनास्थल से जानकारी देते संवाददाता राजीव कुमार (ईटीवी भारत)

दरअसल रेलवे सूत्रों ने ईटीवी भारत को बताया कि लातेहार से इंटरसिटी एक्सप्रेस रात 19:58 बजे जब कुमंडीह स्टेशन पर पहुंची तो वहां से आगे हेहेगड़ा के पास लाइन क्लियर नहीं था. इसी कारण इंटरसिटी एक्सप्रेस को कुमंडीह स्टेशन पर ही खड़ी कर दी गई. अप लाइन पर पहले से ही एक मालगाड़ी खड़ी थी. इसीलिए इंटरसिटी एक्सप्रेस को मेन लाइन में खड़ी की गई थी.

ट्रेन के रुकने के 3 मिनट तक तो सब कुछ सामान्य रहा. परंतु चौथे मिनट में 20:02 बजे जब डाउन लाइन पर एक मालगाड़ी आने लगी तो किसी ने यह अफवाह फैला दिया कि ट्रेन के बोगी में आग लग गई है. इस खबर को सुनने के बाद अचानक बोगी में अफरा तफरी मच गई और यात्री ट्रेन से उतरकर भागने लगे. कुछ यात्री तो ट्रेन से उतरकर डाउन लाइन की तरफ सुरक्षित निकल गए, लेकिन तीन यात्री मालगाड़ी की चपेट में आगे और उनकी घटनास्थल पर ही मौत हो गई. अब सवाल यह उठता है कि क्या किसी ने मालगाड़ी को सामने से आता देखकर जानबूझकर यह अफवाह फैलाई थी? इन सभी बिंदुओं पर रेलवे विभाग के द्वारा जांच भी आरंभ कर दी गई है.

सभी मृत यात्रियों की हुई पहचान

इधर, घटना के बाद सभी मृत यात्रियों की पहचान हो गई है. मृतक महिला यात्री मंजू देवी बिहार के रोहतास जिले के नासरीगंज की रहने वाली थी. वहीं मृतक नंदलाल शुक्ला मेदिनीनगर पलामू के रहने वाले थे. जबकि तीसरे मृतक विकास कुमार रजक काशीपुर गढ़वा के निवासी थे. घटना के बाद आरपीएफ की टीम ने तीनों शवों को कब्जे में लेकर ले लिया था. जिनका पोस्टमार्टम शनिवार को किया गया.

डीआरएम ने लिया घटनास्थल का जायजा

इधर, घटना की जानकारी होने के बाद धनबाद मंडल के डीआरएम कमल किशोर सिन्हा शुक्रवार की देर रात घटना स्थल पर पहुंच गए थे. इस दौरान उन्होंने पूरे मामले की जानकारी ली. बाद में उन्होंने दुर्घटना में घायल लोगों से भी मिलकर जानकारी हासिल की. सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार डीआरएम के द्वारा पूरी घटना की जांच के लिए आदेश दिया गया है. घटना के करीब 2 घंटे के बाद परिचालन सम्मान कर दिया गया था.

ये भी पढ़ें:

कुमंडीह रेल हादसा : यात्रियों के लिए फरिश्ता बना चायवाला, कई लोगों की पटरी से खींचकर बचाई जान - Train accident in Latehar

कुमंडीह रेल हादसे के बाद उठ रहे कई सवाल, जंगली इलाकों में क्यों रोकी जाती हैं पैसेंजर ट्रेनें? नक्सल हमले का रहा है लंबा इतिहास - Latehar train accident

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.