ETV Bharat / state

8 राज्यों से समझौता फिर भी यात्रियों को सुविधा नहीं; सिर्फ कागजों में दौड़ रहीं यूपी रोडवेज की इंटरस्टेट बसें - UP Roadways - UP ROADWAYS

यात्रियों की सुविधा को देखते हुए यूपीएसआरटीसी ने (UPSRTC) अन्य राज्यों में भी बसों के संचालन का फैसला किया था. उत्तराखंड, हरियाणा, एमपी और राजस्थान को छोड़ दिया जाए तो अन्य राज्यों के बीच बसों का संचालन न के बराबर है. UP Roadways का 8 राज्यों में बस चलाने का करार, लेकिन, बसें सड़क पर नहीं कागजों पर दौड़ रहीं

उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम
उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम (फोटो क्रेडिट : Etv Bharat)
author img

By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : May 15, 2024, 5:01 PM IST

Updated : May 15, 2024, 6:52 PM IST

लखनऊ : उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम की बसों के संचालन को लेकर आठ राज्यों के बीच समझौता है लेकिन, इनमें से कई राज्य ऐसे भी हैं जहां के लिए समझौता तो है लेकिन बसें नहीं हैं. इन राज्यों के लिए परिवहन निगम की बसें चल ही नहीं रही हैं. ये अलग बात है कि कागज पर बसें दौड़ाई जा रही हैं.

उत्तराखंड, हरियाणा, एमपी और राजस्थान को छोड़ दिया जाए तो अन्य राज्यों के बीच बसों का संचालन न के बराबर है. जम्मू कश्मीर, बिहार और छत्तीसगढ़ जैसे राज्यों में बसें जा ही नहीं रही हैं. काठमांडू की बस सेवा भी ठप हो चुकी है. कागजों पर बसों को रफ्तार देकर वाहवाही लूटी जा रही है.

उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम प्रदेश के विभिन्न परिक्षेत्रों से आठ पड़ोसी राज्यों उत्तराखंड, दिल्ली, बिहार, छत्तीसगढ़, चंडीगढ़, राजस्थान, पंजाब, हिमाचल प्रदेश, हरियाणा, जम्मू और कश्मीर के साथ मध्य प्रदेश के लिए अंतरराज्यीय बसें संचालित करने का दावा करता है.

बस ऑपरेशन का सबसे उत्तरी बिंदु कटरा, जम्मू और कश्मीर है. सबसे दक्षिणी बिंदु इंदौर है. सबसे पूर्वी बिंदु पटना है, जबकि सबसे पश्चिमी बिंदु जोधपुर है. इन बिंदुओं तक यूपीएसआरटीसी यात्रियों के लिए अपनी नियमित बस सेवाएं संचालित करता है, ऐसा अधिकारी कहते हैं, लेकिन हकीकत इससे अलग है.

कुछ राज्यों के लिए तो परिवहन निगम की बसें भरपूर संख्या में संचालित हो रही हैं जिनमें दिल्ली, जयपुर, देहरादून, मध्य प्रदेश के साथ हरियाणा शामिल है, लेकिन अन्य राज्यों में बसों का संचालन न के बराबर है. सिर्फ समझौते के चलते दिखावा किया जा रहा है.

चंडीगढ़ के लिए बरेली से रोडवेज की यूपी से बस यात्रियों को लेकर जाती है. हिमाचल प्रदेश के शिमला के लिए बस का संचालन हो रहा है. उत्तराखंड के लिए तो कई रीजन के डिपो की तरफ से बसों का संचालन बड़ी संख्या में हो रहा है. मध्य प्रदेश के ग्वालियर, रीवा और राजस्थान के जयपुर और अजमेर तक भी बसें जा रही हैं.

जम्मू, पटना और छत्तीसगढ़ के लिए कोई बस नहीं : समझौते के तहत जम्मू और कश्मीर के लिए बस संचालन शुरू किया गया था, लेकिन कुछ ही दिन बाद यह सेवाएं बंद हो गईं. अब सिर्फ कागज पर बस समझौता ही बचा है. रूट पर बस कहीं नजर नहीं आती है.

पटना के लिए बस संचालित होती थी, उसका परमिट खत्म हो गया तो बस चल ही नहीं रही है. लखनऊ से बिहार के मुजफ्फरपुर के लिए एक साधारण बस संचालित होती है, उसे भी चुनाव ड्यूटी में लगा दिया गया है, इसलिए यह बस सेवा भी ठप है. छत्तीसगढ़ कोई बस नहीं जाती है.

नेपाल की बस सेवा ठप : देवीपाटन मंडल के रुपईडीहा डिपो से नेपालगंज के लिए कैसरबाग होते हुए बस का संचालन होता है. हालांकि बनारस से काठमांडू और महेंद्र नगर के लिए शुरू की गई बस सेवा पहले ही ठप पड़ चुकी है.

1325 बसें शेड्यूल में, चल रहीं 1151 : उत्तर प्रदेश परिवहन निगम के विभिन्न डिपो से कुल 1324 इंटर स्टेट सर्विसेज शेड्यूल्ड हैं, लेकिन इनमें से 1151 बसों का ही संचालन हो रहा है. उनमें भी सबसे ज्यादा संचालन उत्तराखंड के लिए ही विभिन्न डिपो से किया जा रहा है.

क्या कहते हैं अधिकारी : परिवहन निगम के प्रधान प्रबंधक प्राविधिक और प्रवक्ता अजीत सिंह का कहना है कि कई राज्यों के बीच रोडवेज की बसें संचालित हो रही हैं. हां यह जरूर है कि जम्मू कश्मीर, बिहार और छत्तीसगढ़ के लिए अब बसें संचालित नहीं हो रही हैं. नेपालगंज तक तो बस सेवा है, लेकिन काठमांडू की बस सेवा अब नहीं है.

यह भी पढ़ें : अब रोडवेज बसें देंगी सड़क सुरक्षा का संदेश, फंड से प्रचार प्रसार के लिए मिलेंगे 10 करोड़ रुपए - UPSRTC

यह भी पढ़ें : लोकसभा चुनाव ड्यूटी में भेजी गईं खटारा बसें, रोडवेज की पोल खोल रहे सुरक्षाकर्मी - Election Duty Bus In Lucknow

लखनऊ : उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम की बसों के संचालन को लेकर आठ राज्यों के बीच समझौता है लेकिन, इनमें से कई राज्य ऐसे भी हैं जहां के लिए समझौता तो है लेकिन बसें नहीं हैं. इन राज्यों के लिए परिवहन निगम की बसें चल ही नहीं रही हैं. ये अलग बात है कि कागज पर बसें दौड़ाई जा रही हैं.

उत्तराखंड, हरियाणा, एमपी और राजस्थान को छोड़ दिया जाए तो अन्य राज्यों के बीच बसों का संचालन न के बराबर है. जम्मू कश्मीर, बिहार और छत्तीसगढ़ जैसे राज्यों में बसें जा ही नहीं रही हैं. काठमांडू की बस सेवा भी ठप हो चुकी है. कागजों पर बसों को रफ्तार देकर वाहवाही लूटी जा रही है.

उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम प्रदेश के विभिन्न परिक्षेत्रों से आठ पड़ोसी राज्यों उत्तराखंड, दिल्ली, बिहार, छत्तीसगढ़, चंडीगढ़, राजस्थान, पंजाब, हिमाचल प्रदेश, हरियाणा, जम्मू और कश्मीर के साथ मध्य प्रदेश के लिए अंतरराज्यीय बसें संचालित करने का दावा करता है.

बस ऑपरेशन का सबसे उत्तरी बिंदु कटरा, जम्मू और कश्मीर है. सबसे दक्षिणी बिंदु इंदौर है. सबसे पूर्वी बिंदु पटना है, जबकि सबसे पश्चिमी बिंदु जोधपुर है. इन बिंदुओं तक यूपीएसआरटीसी यात्रियों के लिए अपनी नियमित बस सेवाएं संचालित करता है, ऐसा अधिकारी कहते हैं, लेकिन हकीकत इससे अलग है.

कुछ राज्यों के लिए तो परिवहन निगम की बसें भरपूर संख्या में संचालित हो रही हैं जिनमें दिल्ली, जयपुर, देहरादून, मध्य प्रदेश के साथ हरियाणा शामिल है, लेकिन अन्य राज्यों में बसों का संचालन न के बराबर है. सिर्फ समझौते के चलते दिखावा किया जा रहा है.

चंडीगढ़ के लिए बरेली से रोडवेज की यूपी से बस यात्रियों को लेकर जाती है. हिमाचल प्रदेश के शिमला के लिए बस का संचालन हो रहा है. उत्तराखंड के लिए तो कई रीजन के डिपो की तरफ से बसों का संचालन बड़ी संख्या में हो रहा है. मध्य प्रदेश के ग्वालियर, रीवा और राजस्थान के जयपुर और अजमेर तक भी बसें जा रही हैं.

जम्मू, पटना और छत्तीसगढ़ के लिए कोई बस नहीं : समझौते के तहत जम्मू और कश्मीर के लिए बस संचालन शुरू किया गया था, लेकिन कुछ ही दिन बाद यह सेवाएं बंद हो गईं. अब सिर्फ कागज पर बस समझौता ही बचा है. रूट पर बस कहीं नजर नहीं आती है.

पटना के लिए बस संचालित होती थी, उसका परमिट खत्म हो गया तो बस चल ही नहीं रही है. लखनऊ से बिहार के मुजफ्फरपुर के लिए एक साधारण बस संचालित होती है, उसे भी चुनाव ड्यूटी में लगा दिया गया है, इसलिए यह बस सेवा भी ठप है. छत्तीसगढ़ कोई बस नहीं जाती है.

नेपाल की बस सेवा ठप : देवीपाटन मंडल के रुपईडीहा डिपो से नेपालगंज के लिए कैसरबाग होते हुए बस का संचालन होता है. हालांकि बनारस से काठमांडू और महेंद्र नगर के लिए शुरू की गई बस सेवा पहले ही ठप पड़ चुकी है.

1325 बसें शेड्यूल में, चल रहीं 1151 : उत्तर प्रदेश परिवहन निगम के विभिन्न डिपो से कुल 1324 इंटर स्टेट सर्विसेज शेड्यूल्ड हैं, लेकिन इनमें से 1151 बसों का ही संचालन हो रहा है. उनमें भी सबसे ज्यादा संचालन उत्तराखंड के लिए ही विभिन्न डिपो से किया जा रहा है.

क्या कहते हैं अधिकारी : परिवहन निगम के प्रधान प्रबंधक प्राविधिक और प्रवक्ता अजीत सिंह का कहना है कि कई राज्यों के बीच रोडवेज की बसें संचालित हो रही हैं. हां यह जरूर है कि जम्मू कश्मीर, बिहार और छत्तीसगढ़ के लिए अब बसें संचालित नहीं हो रही हैं. नेपालगंज तक तो बस सेवा है, लेकिन काठमांडू की बस सेवा अब नहीं है.

यह भी पढ़ें : अब रोडवेज बसें देंगी सड़क सुरक्षा का संदेश, फंड से प्रचार प्रसार के लिए मिलेंगे 10 करोड़ रुपए - UPSRTC

यह भी पढ़ें : लोकसभा चुनाव ड्यूटी में भेजी गईं खटारा बसें, रोडवेज की पोल खोल रहे सुरक्षाकर्मी - Election Duty Bus In Lucknow

Last Updated : May 15, 2024, 6:52 PM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2025 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.