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यूपी पुलिस भर्ती; किसी को बीमार पिता की फिक्र, कोई परिवार का सहारा बनना चाहता, जानिए- अभ्यर्थियों के क्या क्या सपने - UP Police Recruitment Exam 2024

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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Aug 24, 2024, 2:03 PM IST

Updated : Aug 24, 2024, 4:40 PM IST

आज यूपी पुलिस भर्ती परीक्षा का दूसरा दिन है. पिछली बार की परीक्षा रद्द होने के बाद तमाम युवाओं के सपने टूट गए थे, उन्हें उसी बार सलेक्शन का पूरा भरोसा था. इस बार फिर से वह नई उम्मीद लेकर पहुंचे हैं. इनमें से कई अभ्यर्थी काफी गरीब परिवार से हैं. उनके पास परीक्षा देने आने के लिए भी रुपये नहीं थे.

अभ्यर्थी ही नहीं यह उनके गरीब परिवारों की भी परीक्षा है.
अभ्यर्थी ही नहीं यह उनके गरीब परिवारों की भी परीक्षा है. (Photo Credit; ETV Bharat)

लखनऊ : पुलिस भर्ती परीक्षा केवल नौकरी हासिल करने का जरिया नहीं है, यह मुफलिसी में जी रहे हजारों युवाओं का वह ख्वाब है जिसके साकार होने से उनका जीवन खुशियों से भर सकता है. इससे वह अपने बूढ़े माता-पिता का संबल बन सकते हैं, बहनों के हाथ पीले करा सकते हैं. इस समय यूपी पुलिस की सबसे बड़ी भर्ती परीक्षा चल रही है. आज परीक्षा का दूसरा दिन है. इस परीक्षा में शामिल होने के लिए यूपी के अलावा दूसरे प्रदेशों से भी लोग काफी उम्मीदों से पहुंचे हैं. इनमें से कई ऐसे भी हैं जो कर्ज लेकर यह परीक्षा देने आए हैं, कई ऐसे हैं जो तमाम मुसीबतों के बावजूद अपने हालात को सुधारने के लिए कड़ी मेहनत कर रहे हैं. कई अभ्यर्थियों के किस्से रोचक हैं. इनकी कहानियां छोटी सी परेशानी के आगे घुटने टेक देने वालों युवाओं में जोश भरने का काम कर सकती हैं.

ईटीवी भारत से बातचीत में बिहार के बक्सर के रहने वाले अम्रतांशु ने कहा कि पिछली बार 17 फरवरी को एक्जाम देने आया था. 700 रुपए खर्च हुए थे. घर भी नहीं पहुंच पाया, इस बीच पेपर लीक की खबर ने हिम्मत ही तोड़ दी. इस बार भी नौकरी नहीं मिली तो घर वालों को क्या मुंह दिखाऊंगा. रायबरेली की रहने वाली टिंकी का कहना है कि घर में बहुत गरीबी है. हम तीन बहने हैं. दो छोटे भाई हैं. पिता बीमार रहते हैं. इस भर्ती से बहुत उम्मीदें है. पिछली बार पेपर लीक होने पर सपने टूट गए थे लेकिन इस बार सीएम योगी ने कहा है कि इस भर्ती में 20 प्रतिशत आरक्षण मिलेगा, इससे हिम्मत बंधी है.

अम्रतांशु ने सुनाया अपना दर्द.
अम्रतांशु ने सुनाया अपना दर्द. (Photo Credit; ETV Bharat)

रेलवे स्टेशन पर कर रहे पढ़ाई : मोहनलालगंज रेलवे स्टेशन पर बक्सर के रहने वाले अम्रतांशु शुक्रवार को पढ़ाई करते मिले. ईटीवी भारत ने उनका हाल पूछा तो कहने लगे भैया पढ़ लेने दीजिए नहीं तो कुछ ऊंचनीच हो गई तो घर वालों को क्या मुंह दिखाएंगे. इसके बाद बताया कि उनके एक भाई के अलावा माता-पिता हैं. पिता दूसरे के खेत में काम करते हैं. भाई की सरकारी नौकरी की तैयारी करते-करते उम्र निकल गई. अब घर वालों को सिर्फ उन्हीं से उम्मीदें है. पिछली बार लखनऊ में 17 फरवरी को पहली पाली में परीक्षा थी. पेपर बहुत अच्छा हुआ और ट्रेन से घर वापस जा रहा था. कुछ लोगों ने कहा कि पेपर लीक हो गया है तो चिंतित हो गया था. 20 फरवरी को चाचा के लड़के ने बताया कि पेपर लीक हो गया है. सबसे पहले उन 700 रुपए की चिंता हुई जो पिता जी ने बड़ी कठनाई से उन्हें दिए थे लखनऊ जाने के लिए.

इस बार नहीं थे किराए के पैसे, दोस्त ने कहा चलो मैं उठाऊंगा खर्च : अम्रतांशु ने बताया कि फरवरी से पहले उन्होंने दो एक्जाम दिए थे. एसएससी में कुछ नंबरों से रह गए, जीडी में 4 नंबर कम आए थे. आशा थी कि यूपी पुलिस भर्ती में तो सलेक्शन हो ही जाएगा. पेपर रद्द हुआ तो मनोबल टूट गया. दोबारा परीक्षा की तारीखों का ऐलान हुआ तो हिम्मत ही नहीं हुई कि इस बार पिता जी से पैसे मांगू. इस बार सेंटर हाथरस जिले में था. बचपन के दोस्त दीपू ने कहा कि चलो एक्जाम देते हैं, ट्रेन का टिकट हम खरीदेंगे. बस उस दोस्त की हिम्मत ने मुझे मजबूती दी. इस बार पेपर लीक न हुआ तो अपने पिता जी के सपने पूरे कर दूंगा.

बड़ी उम्मीदों से परीक्षा देने पहुंचीं बेटियां.
बड़ी उम्मीदों से परीक्षा देने पहुंचीं बेटियां. (Photo Credit; ETV Bharat)

टिंकी को सीएम योगी के शब्दों ने दी हिम्मत : रायबरेली की टिंकी कहती है कि उनकी दो बहनें, दो भाई हैं. पापा बीमार रहते हैं. मां मजदूरी करती हैं. इंटर करने के बाद पड़ोस में एक भैया के यहां तैयारी करती थी. यूपी पुलिस कांस्टेबल भर्ती के लिए फॉर्म भरा था. जब पेपर लीक हो गया तो बहुत बुरा लगा. पेपर अच्छा हुआ था, मेहनत भी की थी. इस बार जब दोबारा एक्जाम का ऐलान हुआ तो सोचा अब नहीं जाऊंगी. कहीं फिर से पेपर लीक हुआ तो क्या होगा. लेकिन जब सीएम योगी आदित्यनाथ को यह कहते हुए सुना कि इस बार पेपर लीक करके कोई दिखाए. यूपी पुलिस में महिलाओं को 20 प्रतिशत आरक्षण मिलेगा.

कई अभ्यर्थी उधार के रुपये से परीक्षा देने पहुंचे हैं.
कई अभ्यर्थी उधार के रुपये से परीक्षा देने पहुंचे हैं. (Photo Credit; ETV Bharat)

इस बार नहीं निकला तो क्या करेंगे? : बिहार औरंगाबाद के रहने वाले उपेंद्र कुमार बताते है कि बिहार में बेरोजगारी का आलम यह है कि उनके तीन भाई हैं. सभी बेरोजगार हैं. बिहार में तीन भर्ती परीक्षाओं के लिए फॉर्म भरा है लेकिन सबसे अधिक उम्मीदें यूपी पुलिस भर्ती से है. उपेंद्र कहते हैं कि वो दो दिन पहले ही बिहार से लखनऊ आ गए थे. यहीं पर स्टेशन में रुककर रिवीजन किया. एक्जाम देने के बाद तुरंत बिहार निकल जाएंगे. वहां भी दो और परीक्षा होनी है. उन्होंने बताया कि माता-पिता की तबीयत खराब रहती है. जब फरवरी में हुई परीक्षा का पेपर लीक हुआ था तो उन्होंने माता पिता को बताया ही नहीं. उन्हें बस यही कहते आ रहे हैं पेपर अच्छा हुआ था, अभी रिजल्ट ही नही आया. ऐसे में यदि इस बार उनका सलेक्शन नहीं हुआ तो वह क्या जवाब देंगे.

यह भी पढ़ें : जन्नमाष्टमी को लेकर कंफ्यूजन खत्म, जानिए घरों और मंदिरों में कब जन्म लेंगे कान्हा, कैसे करें उपवास-पूजन

लखनऊ : पुलिस भर्ती परीक्षा केवल नौकरी हासिल करने का जरिया नहीं है, यह मुफलिसी में जी रहे हजारों युवाओं का वह ख्वाब है जिसके साकार होने से उनका जीवन खुशियों से भर सकता है. इससे वह अपने बूढ़े माता-पिता का संबल बन सकते हैं, बहनों के हाथ पीले करा सकते हैं. इस समय यूपी पुलिस की सबसे बड़ी भर्ती परीक्षा चल रही है. आज परीक्षा का दूसरा दिन है. इस परीक्षा में शामिल होने के लिए यूपी के अलावा दूसरे प्रदेशों से भी लोग काफी उम्मीदों से पहुंचे हैं. इनमें से कई ऐसे भी हैं जो कर्ज लेकर यह परीक्षा देने आए हैं, कई ऐसे हैं जो तमाम मुसीबतों के बावजूद अपने हालात को सुधारने के लिए कड़ी मेहनत कर रहे हैं. कई अभ्यर्थियों के किस्से रोचक हैं. इनकी कहानियां छोटी सी परेशानी के आगे घुटने टेक देने वालों युवाओं में जोश भरने का काम कर सकती हैं.

ईटीवी भारत से बातचीत में बिहार के बक्सर के रहने वाले अम्रतांशु ने कहा कि पिछली बार 17 फरवरी को एक्जाम देने आया था. 700 रुपए खर्च हुए थे. घर भी नहीं पहुंच पाया, इस बीच पेपर लीक की खबर ने हिम्मत ही तोड़ दी. इस बार भी नौकरी नहीं मिली तो घर वालों को क्या मुंह दिखाऊंगा. रायबरेली की रहने वाली टिंकी का कहना है कि घर में बहुत गरीबी है. हम तीन बहने हैं. दो छोटे भाई हैं. पिता बीमार रहते हैं. इस भर्ती से बहुत उम्मीदें है. पिछली बार पेपर लीक होने पर सपने टूट गए थे लेकिन इस बार सीएम योगी ने कहा है कि इस भर्ती में 20 प्रतिशत आरक्षण मिलेगा, इससे हिम्मत बंधी है.

अम्रतांशु ने सुनाया अपना दर्द.
अम्रतांशु ने सुनाया अपना दर्द. (Photo Credit; ETV Bharat)

रेलवे स्टेशन पर कर रहे पढ़ाई : मोहनलालगंज रेलवे स्टेशन पर बक्सर के रहने वाले अम्रतांशु शुक्रवार को पढ़ाई करते मिले. ईटीवी भारत ने उनका हाल पूछा तो कहने लगे भैया पढ़ लेने दीजिए नहीं तो कुछ ऊंचनीच हो गई तो घर वालों को क्या मुंह दिखाएंगे. इसके बाद बताया कि उनके एक भाई के अलावा माता-पिता हैं. पिता दूसरे के खेत में काम करते हैं. भाई की सरकारी नौकरी की तैयारी करते-करते उम्र निकल गई. अब घर वालों को सिर्फ उन्हीं से उम्मीदें है. पिछली बार लखनऊ में 17 फरवरी को पहली पाली में परीक्षा थी. पेपर बहुत अच्छा हुआ और ट्रेन से घर वापस जा रहा था. कुछ लोगों ने कहा कि पेपर लीक हो गया है तो चिंतित हो गया था. 20 फरवरी को चाचा के लड़के ने बताया कि पेपर लीक हो गया है. सबसे पहले उन 700 रुपए की चिंता हुई जो पिता जी ने बड़ी कठनाई से उन्हें दिए थे लखनऊ जाने के लिए.

इस बार नहीं थे किराए के पैसे, दोस्त ने कहा चलो मैं उठाऊंगा खर्च : अम्रतांशु ने बताया कि फरवरी से पहले उन्होंने दो एक्जाम दिए थे. एसएससी में कुछ नंबरों से रह गए, जीडी में 4 नंबर कम आए थे. आशा थी कि यूपी पुलिस भर्ती में तो सलेक्शन हो ही जाएगा. पेपर रद्द हुआ तो मनोबल टूट गया. दोबारा परीक्षा की तारीखों का ऐलान हुआ तो हिम्मत ही नहीं हुई कि इस बार पिता जी से पैसे मांगू. इस बार सेंटर हाथरस जिले में था. बचपन के दोस्त दीपू ने कहा कि चलो एक्जाम देते हैं, ट्रेन का टिकट हम खरीदेंगे. बस उस दोस्त की हिम्मत ने मुझे मजबूती दी. इस बार पेपर लीक न हुआ तो अपने पिता जी के सपने पूरे कर दूंगा.

बड़ी उम्मीदों से परीक्षा देने पहुंचीं बेटियां.
बड़ी उम्मीदों से परीक्षा देने पहुंचीं बेटियां. (Photo Credit; ETV Bharat)

टिंकी को सीएम योगी के शब्दों ने दी हिम्मत : रायबरेली की टिंकी कहती है कि उनकी दो बहनें, दो भाई हैं. पापा बीमार रहते हैं. मां मजदूरी करती हैं. इंटर करने के बाद पड़ोस में एक भैया के यहां तैयारी करती थी. यूपी पुलिस कांस्टेबल भर्ती के लिए फॉर्म भरा था. जब पेपर लीक हो गया तो बहुत बुरा लगा. पेपर अच्छा हुआ था, मेहनत भी की थी. इस बार जब दोबारा एक्जाम का ऐलान हुआ तो सोचा अब नहीं जाऊंगी. कहीं फिर से पेपर लीक हुआ तो क्या होगा. लेकिन जब सीएम योगी आदित्यनाथ को यह कहते हुए सुना कि इस बार पेपर लीक करके कोई दिखाए. यूपी पुलिस में महिलाओं को 20 प्रतिशत आरक्षण मिलेगा.

कई अभ्यर्थी उधार के रुपये से परीक्षा देने पहुंचे हैं.
कई अभ्यर्थी उधार के रुपये से परीक्षा देने पहुंचे हैं. (Photo Credit; ETV Bharat)

इस बार नहीं निकला तो क्या करेंगे? : बिहार औरंगाबाद के रहने वाले उपेंद्र कुमार बताते है कि बिहार में बेरोजगारी का आलम यह है कि उनके तीन भाई हैं. सभी बेरोजगार हैं. बिहार में तीन भर्ती परीक्षाओं के लिए फॉर्म भरा है लेकिन सबसे अधिक उम्मीदें यूपी पुलिस भर्ती से है. उपेंद्र कहते हैं कि वो दो दिन पहले ही बिहार से लखनऊ आ गए थे. यहीं पर स्टेशन में रुककर रिवीजन किया. एक्जाम देने के बाद तुरंत बिहार निकल जाएंगे. वहां भी दो और परीक्षा होनी है. उन्होंने बताया कि माता-पिता की तबीयत खराब रहती है. जब फरवरी में हुई परीक्षा का पेपर लीक हुआ था तो उन्होंने माता पिता को बताया ही नहीं. उन्हें बस यही कहते आ रहे हैं पेपर अच्छा हुआ था, अभी रिजल्ट ही नही आया. ऐसे में यदि इस बार उनका सलेक्शन नहीं हुआ तो वह क्या जवाब देंगे.

यह भी पढ़ें : जन्नमाष्टमी को लेकर कंफ्यूजन खत्म, जानिए घरों और मंदिरों में कब जन्म लेंगे कान्हा, कैसे करें उपवास-पूजन

Last Updated : Aug 24, 2024, 4:40 PM IST
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