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सरगुजा के इस मंदिर में साक्षात हनुमान जी का वास, 22 वर्षों से चौबीस घंटे रामचरितमानस का पाठ जारी

Ramcharitmanas recitation in Surguja: सरगुजा लमगांव हनुमान मंदिर में पिछले 22 वर्षों से रामचरितमानस का पाठ हो रहा है. स्थानीय लोगों का दावा है कि यहां साक्षात हनुमानजी ने भक्तों को दर्शन दिया था. लोगों ने यह भी दावा किया कि यहां हर साल मूर्ति की आकृति बढ़ती जाती है.

Unique temple of Lord Hanuman
सरगुजा के इस मंदिर में साक्षात हनुमान जी का वास
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By ETV Bharat Chhattisgarh Team

Published : Mar 4, 2024, 10:15 PM IST

Updated : Mar 4, 2024, 10:29 PM IST

चौबीस घंटे रामचरितमानस का पाठ जारी

सरगुजा: कहते हैं कि जहां राम की चर्चा हो वहां उनके परमभक्त हनुमान जी की पूजा होती है. यही कारण है कि हनुमान को प्रसन्न करने के लिए भक्त रामचरितमानस का पाठ करते हैं. सरगुजा के हनुमान मंदिर में पिछले 22 वर्षों से लगातार 24 घंटे रामचरितमानस का पाठ हो रहा है. स्थानीय लोगों की मानें तो यहां सालों पहले हनुमान जी ने साक्षात दर्शन दिया था.

पिछले 22 सालों से यहां हो रहा रामचरितमानस का पाठ: संत तुलसीदास ने लिखा है कि, "कलयुग केवल नाम अधारा, सिमर-सिमर नर उतरहिं पारा" यानी कि कलियुग में केवल भगवान के नाम का जाप ही मनुष्य को संसार के गहरे समुद्र से पार लगाने में मदद करेगा. इसलिए रामचरितमानस का पाठ करने से कलयुग में लोग राम नाम लेकर राम और हनुमान दोनों की ही कृपा पा सकते हैं. यही वजह है कि सरगुजा जिले के लमगांव में स्थित हनुमान मंदिर में पिछले 22 वर्षों से लगातार रामचरितमानस का पाठ हो रहा है.

कुल 4 लोग करते हैं रामचरितमानस का पाठ: इस मंदिर के इतिहास के बारे में अधिक जानकारी के लिए ईटीवी भारत ने मंदिर के पुजारी रमाकांत तिवारी से बातचीत की. उन्होंने बताया कि, " साल 2002 से यहां लगातार 24 घंटे रामचरितमानस का पाठ होता है. ये पाठ कभी रोका नहीं जाता है. 3 घंटे एक व्यक्ति बैठकर पाठ करता है. हर 3 घंटे में शिफ्ट बदल जाती है और दूसरा व्यक्ति बैठ जाता है. इसी तरह कुल 4 लोग हैं जो 22 वर्षों से लगातार रामचरितमानस का पाठ कर रहे हैं. साल में एक बार हनुमान जयंती के दिन इसका संकल्प हो जाता है, बार-बार संकल्प नहीं होता है. तब से साल भर ये पाठ जारी रहता है."

हनुमानजी का यह मंदिर काफी पुराना है. हम लोग अक्सर यहां आते हैं. पहले हनुमानजी की मूर्ति छोटी थी, वो धीरे धीरे बढ़ती जा रही है. यहां 22 वर्षों से रामचरित मानस का पाठ हो रहा है. यहां आने वाले हर लोगों की मनोकामना पूरी होती है.-सरोज सिन्हा, श्रद्धालु

साक्षात विराजमान हैं हनुमान: इस चमत्कारिक मंदिर में सालों से हनुमानजी की स्थापित मूर्ति का आकार धीरे-धीरे बढ़ता जा रहा है. यहां आने वाले भक्तों की हर मनोकामना पूरी होती है. यहां पिछले 22 वर्षों से लगातार 24 घंटे रामचरितमानस का पाठ होता है. स्थानीय लोगों की इस जगह से इतनी आस्था है कि ये मुसीबत में इनकी शरण में अरदास लेकर पहुंचते हैं. लोगों का मानना है कि यहां साक्षात हनुमान विराजमान हैं.

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चौबीस घंटे रामचरितमानस का पाठ जारी

सरगुजा: कहते हैं कि जहां राम की चर्चा हो वहां उनके परमभक्त हनुमान जी की पूजा होती है. यही कारण है कि हनुमान को प्रसन्न करने के लिए भक्त रामचरितमानस का पाठ करते हैं. सरगुजा के हनुमान मंदिर में पिछले 22 वर्षों से लगातार 24 घंटे रामचरितमानस का पाठ हो रहा है. स्थानीय लोगों की मानें तो यहां सालों पहले हनुमान जी ने साक्षात दर्शन दिया था.

पिछले 22 सालों से यहां हो रहा रामचरितमानस का पाठ: संत तुलसीदास ने लिखा है कि, "कलयुग केवल नाम अधारा, सिमर-सिमर नर उतरहिं पारा" यानी कि कलियुग में केवल भगवान के नाम का जाप ही मनुष्य को संसार के गहरे समुद्र से पार लगाने में मदद करेगा. इसलिए रामचरितमानस का पाठ करने से कलयुग में लोग राम नाम लेकर राम और हनुमान दोनों की ही कृपा पा सकते हैं. यही वजह है कि सरगुजा जिले के लमगांव में स्थित हनुमान मंदिर में पिछले 22 वर्षों से लगातार रामचरितमानस का पाठ हो रहा है.

कुल 4 लोग करते हैं रामचरितमानस का पाठ: इस मंदिर के इतिहास के बारे में अधिक जानकारी के लिए ईटीवी भारत ने मंदिर के पुजारी रमाकांत तिवारी से बातचीत की. उन्होंने बताया कि, " साल 2002 से यहां लगातार 24 घंटे रामचरितमानस का पाठ होता है. ये पाठ कभी रोका नहीं जाता है. 3 घंटे एक व्यक्ति बैठकर पाठ करता है. हर 3 घंटे में शिफ्ट बदल जाती है और दूसरा व्यक्ति बैठ जाता है. इसी तरह कुल 4 लोग हैं जो 22 वर्षों से लगातार रामचरितमानस का पाठ कर रहे हैं. साल में एक बार हनुमान जयंती के दिन इसका संकल्प हो जाता है, बार-बार संकल्प नहीं होता है. तब से साल भर ये पाठ जारी रहता है."

हनुमानजी का यह मंदिर काफी पुराना है. हम लोग अक्सर यहां आते हैं. पहले हनुमानजी की मूर्ति छोटी थी, वो धीरे धीरे बढ़ती जा रही है. यहां 22 वर्षों से रामचरित मानस का पाठ हो रहा है. यहां आने वाले हर लोगों की मनोकामना पूरी होती है.-सरोज सिन्हा, श्रद्धालु

साक्षात विराजमान हैं हनुमान: इस चमत्कारिक मंदिर में सालों से हनुमानजी की स्थापित मूर्ति का आकार धीरे-धीरे बढ़ता जा रहा है. यहां आने वाले भक्तों की हर मनोकामना पूरी होती है. यहां पिछले 22 वर्षों से लगातार 24 घंटे रामचरितमानस का पाठ होता है. स्थानीय लोगों की इस जगह से इतनी आस्था है कि ये मुसीबत में इनकी शरण में अरदास लेकर पहुंचते हैं. लोगों का मानना है कि यहां साक्षात हनुमान विराजमान हैं.

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Last Updated : Mar 4, 2024, 10:29 PM IST
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