कानपुर : जिले में लोगों को डिजिटल अरेस्ट व अन्य माध्यमों से लाखों की ठगी करने वाले दो आरोपियों को पुलिस ने गिरफ्तार किया है. शनिवार को डीसीपी सेंट्रल दिनेश त्रिपाठी ने प्रेसवार्ता कर बताया कि मदरसा संचालक व उसके एक साथी को साक्ष्यों के साथ गिरफ्तार किया गया है. वहीं उसके दो साथी मौके से फरार हो गए. आरोपी ने पूछताछ में बताया कि उसके कुछ साथी लखनऊ और दिल्ली में हैं, जिनसे संपर्क रखते हुए उसने साइबर अपराध किया है.
डीसीपी ने बताया कि आरोपी जावेद अख्तर मदरसा संचालित करता है. जावेद अपने अन्य साथियों के साथ मिलकर लोगों को डिजिटल अरेस्ट करता था. इसके बाद यह सभी आरोपी मदरसा के खातों में ठगी की रकम मंगा लेते थे. जावेद ने हाल ही में अपने साथियों के साथ मिलकर 32.5 लाख रुपये का साइबर फ्रॉड किया था. वह ट्रांजेक्शन पुलिस को जांच के दौरान मिल गया. इसी तरह इसी खाते में एक 60 लाख रुपये का ट्रांजेक्शन भी मिला है, जिसकी जांच जारी है.
डीसीपी ने बताया कि पूछताछ में आरोपी जावेद ने बताया कि उसके कुछ साथी लखनऊ और दिल्ली में हैं, जिनसे संपर्क रखते हुए वह साइबर अपराध करता था. पुलिस ने सारे साक्ष्यों के आधार पर आरोपी मो. जावेद अख्तर व मो. स्वालेह को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है. डीसीपी के मुताबिक, पूछताछ में आरोपी मो. जावेद अख्तर ने बताया कि वह और उसके साथ मोबाइल में इंटरनेट बैंकिंग की मदद से लोगों से धोखाधड़ी करते थे.
डीसीपी सेंट्रल दिनेश त्रिपाठी ने बताया कि पुलिस को मदरसा संचालक व उसके अन्य साथियों द्वारा साइबर फ्रॉड करने की जानकारी कई दिनों पहले ही मिल गई थी. जब कर्नलगंज पुलिस टीम ने सारे साक्ष्य इकट्ठा कर लिए तो सभी को पकड़ने के लिए पुलिस टीम के सदस्य सटीक सूचना पर जीआईसी ग्राउंड पहुंचे, यहां सभी आरोपी क्रिकेट की पिच पर बैठकर साइबर ठगी की योजना बना रहे थे, तभी आरोपी मो. जावेद अख्तर व उसके साथ मो.स्वालेह को पकड़ा गया. हालांकि, उसके दो साथी मौके से फरार हो गए. अब पुलिस साइबर व सर्विलांस सेल की मदद से सभी आरोपियों की तलाश कर रही है.
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