संभलः शाही जामा मस्जिद का 4 दिन बाद दोबारा सर्वे शुरू हुआ तो बवाल हो गया. सर्वे करने के लिए पहुंची टीम के मस्जिद में घुसने के बाद जमा भीड़ हिंसक हो गई. पुलिस फोर्स पर पथराव होने लगा. मुरादाबाद कमिश्नर आञ्जनेय सिंह ने बताया कि बवाल के दौरान 3 लोगों की मौत हुई है. कोट करवी निवासी नईम, सराय तरीन निवासी बिलाल, हयात नगर सराय तरीन निवासी नोमान की मौत हुई है.
कमिश्नर ने बताया कि डीएम, एसपी की मौजूदगी में सर्वे हो रहा था. करीब 11 बजे जब सर्वे खत्म हुआ और टीम बाहर निकलने लगी तो भीड़ एकत्रित हो गई और नारे लगाने लगे. भीड़ ने पुलिस टीम और सर्वे टीम पर पथराव शुरू कर दिया. दो तीन ग्रुप ने चारों तरफ से पथराव करने लगे. जिस पर पुलिस ने बल प्रयोग किया. भीड़ को नियंत्रित करने के लिए फोर्स ने आंसू गोले छोड़े और प्लास्टिक बुलेट का इस्तेमाल किया. इसी बीच एक ग्रुप ने दूसरी जगह ने गाड़ियां जलानी शुरू कर दी. तीन से चार गाड़ियों को जला दी गईं.
सीओ समेत 12 पुलिसकर्मी घायल
सर्वे के बाद जब टीम निकल रही थी तब तीन ग्रुप आमने-सामने आ गए थे, तभी गोली चली. गोली किस ग्रुप ने चलाई यह नहीं पता चला है. लेकिन गोली पुलिस अधीक्षक के पीआरओ के पैर में गोली, डिप्टी कलेक्टर का पैर फैक्चर हो गया, सीओ के छर्रे लगे और कांस्टेबल के सिर में गंभीर चोट आई है. CO संभल सहित करीब एक दर्जन पुलिसकर्मी घायल हुए हैं. इसी गोली बारी के बीच में ही तीन युवकों की मौत हुई है.
#WATCH | Uttar Pradesh: An incident of stone pelting took place in Sambhal when a survey team reached Shahi Jama Masjid to conduct a survey of the mosque. Police used tear gas to control the situation.
— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) November 24, 2024
Following a petition filed by senior advocate Vishnu Shanker Jain in the… pic.twitter.com/HWPRrVaN6P
15 लोगों को हिरासत में लिया गया
कमिश्नर ने बताया कि दो महिलाओं समेत 15 लोगों को हिरासत में लिया गया है. महिलाएं छत से पत्थर फेंक रही थीं. उन्होंने कहा कि बवाल करने वालों के खिलाफ पुलिस सख्ती से निपटेगी. उन्होंने कहा कि बवाल क्यों हुआ, इसको लेकर भी जांच की जा रही है. बवाल करने वालों को किसी भी कीमत पर छोड़ा नहीं जाएगा.
25 नवंबर तक 12वीं तक के सभी स्कूल बंद
बवाल के बाद कक्षा नर्सरी से 12वीं तक के सभी स्कूल में 25 नवंबर तक बंद कर दिए गए हैं. जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी अल्का शर्मा की ओर से जारी आदेश में कहा गया है कि संभल तहसील क्षेत्र के सभी स्कूल बंद रहेंगे. इसके साथ ही संभल तहसील क्षेत्र में अगले 24 घंटे के लिए इंटरनेट बंद करने के डीएम ने निर्देश दिए हैं. डीएम डॉ. राजेंद्र पैंसिया ने बताया कि सिर्फ संभल तहसील में 24 घंटे इंटरनेट बंद करने के आदेश दिए गए हैं.
1.मैं सम्भल की आवाम से शांति की अपील करता हुँ।
— Zia Ur Rehman Barq Mp (@barq_zia) November 24, 2024
हालात को जानकर बहुत दुखी हुँ। जो भी जान माल का नुक़सान हुआ है यकीनन उसकी भरपाई नहीं की जा सकती।
अभी ये फ़ैसला आख़िरी फ़ैसला नहीं है। उम्मीद करता हुँ इस देश की बड़ी अदालतों से और पार्लियामेंट से जो इंसाफ़ करेंगी।
विपक्ष यूपी सरकार पर हमलावर, शासन-प्रशासन को ठहराया जिम्मेदार
संभल में हुई इस हिंसा पर विपक्षी दल लगातार उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ पर सरकार पर हमला कर रहे हैं. इस हिंसा के लिए शासन प्रशासन को जिम्मेदार ठहराया है. समाजवादी पार्टी, बहुजन समाज पार्टी, कांग्रेस और आम आदमी पार्टी ने लोगों से शांति कायम करने की अपील की है.
2. अल्लाह की अदालत से कोई नहीं बच पाएगा।
— Zia Ur Rehman Barq Mp (@barq_zia) November 24, 2024
मैं कल रात ही बंगलौर में ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड कि मीटिंग में आया था। जैसे ही हालात की खबर मिली वापिस आरहा हुँ। कल को पार्लियामेंट में पुलिस ने जो बर्बरता की है उसके खिलाफ आवाज़ उठाऊंगा।
और जल्द ही अपने लोगों के बीच में आऊंगा।
पुलिस की बर्बता का मुद्दा पार्लियामेंट में उठाऊंगाः वहीं, संभल के सांसद जियाउर्रहमान रहमान बर्क ने हालात पर चिंता जताई है. सांसद ने X पोस्ट पर लिखा है ' मैं सम्भल की आवाम से शांति की अपील करता हूं. हालात को जानकर बहुत दुखी हूं. जो भी जान माल का नुकसान हुआ है, यकीनन उसकी भरपाई नहीं की जा सकती. अभी ये फ़ैसला आख़िरी फ़ैसला नहीं है. उम्मीद करता हूं, इस देश की बड़ी अदालतों से और पार्लियामेंट से जो इंसाफ करेंगी.' बर्क ने आगे लिखा कि ' अल्लाह की अदालत से कोई नहीं बच पाएगा. मैं कल रात ही बंगलौर में ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड कि मीटिंग में आया था. जैसे ही हालात की खबर मिली वापिस आरहा हूं. पुलिस ने जो बर्बरता की है उसके खिलाफ पार्लियामेंट में आवाज़ उठाऊंगा. जल्द ही अपने लोगों के बीच में आऊंगा.'
तुझ को कितनों का लहू चाहिए ऐ अर्ज़-ए-वतन?
— Asaduddin Owaisi (@asadowaisi) November 24, 2024
जो तिरे आरिज़-ए-बे-रंग को गुलनार करें
कितनी आहों से कलेजा तिरा ठंडा होगा
कितने आँसू तिरे सहराओं को गुलज़ार करें#संभल में पुर-अमन एहतिजाज करने वालों पर उत्तर प्रदेश पुलिस द्वारा फायरिंग करने कि हम कड़ी निंदा करते हैं, पुलिस की फायरिंग…
तुझको कितनों का लहू चाहिए ऐ अर्ज़-ए-वतनः वहीं, ऑल इंडिया इत्तेहादुल मजलिस-ए-मुस्लिमीन (AIMIM) चीफ असदुद्दीन ओवैसी ने भी संभल हिंसा को लेकर सवाल उठाया है. ओवैसी ने X पोस्ट पर लिखा है कि तुझको कितनों का लहू चाहिए ऐ अर्ज़-ए-वतन? जो तिरे आरिज़-ए-बे-रंग को गुलनार करें कितनी आहों से कलेजा तिरा ठंडा होगा. कितने आँसू तिरे सहराओं को गुलज़ार करें. संभल में पुर-अमन एहतिजाज करने वालों पर उत्तर प्रदेश पुलिस द्वारा फायरिंग करने की, हम कड़ी निंदा करते हैं. पुलिस की फायरिंग में तीन नौजवानों की मौत हुई है. अल्लाह से दुआ है के अल्लाह मरहूमीन को मग़फ़िरत अदा करे और उनके घर वालों को सब्र ए जमील अदा करे. इस हादसे की निष्पक्ष जाँच होनी चाहिए. जो अफ़सर ज़िम्मेदार हैं, उनके ख़िलाफ़ कार्यवाही होनी चाहिए.
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संभल हिंसा के लिए पूजा स्थल अधिनियम की अवमानना करने वाले जज जिम्मेदारः कांग्रेस के राष्ट्रीय सचिव शाहनवाज आलम ने संभल हिंसा के लिए प्रदेश सरकार और न्यायपालिका के संविधान विरोधी रवैये को ज़िम्मेदार ठहराया है. उन्होंने कहा कि कि यह ड्रामा घटना पूजा स्थल अधिनियम 1991 को कमजोर करने के लिए किया जा रहा है. सुप्रीम कोर्ट की संदेहास्पद चुप्पी उसे भी कटघरे में खड़ा करती है. कांग्रेस मुख्यालय से जारी बयान में शाहनवाज आलम ने कहा कि पूजा स्थल अधिनियम 1991 स्पष्ट तौर पर कहता है कि 15 अगस्त 1947 तक धार्मिक स्थलों का जो भी चरित्र है, उसमें कोई बदलाव नहीं हो सकता, वह जिसके नियंत्रण में है वो उसी के नियंत्रण में रहेगा.
जिला जज का निर्णय संविधान विरोधीः पूजा स्थल के चरित्र और नियंत्रण को चुनौती देने वाली कोई याचिका किसी भी कोर्ट में स्वीकार भी नहीं की जा सकती. ऐसे में संभल की जिला अदालत की तरफ से ऐतिहासिक जामा मस्जिद को मन्दिर बताने वाली याचिका का स्वीकार कर लिया जाना ही क़ानून विरोधी कदम था. सिविल जज ने सर्वे का आदेश देते समय भी यह स्वीकार किया है कि पूर्व में इस मुद्दे को लेकर कोई कैविएट लंबित नहीं है. इसके बावजूद उन्होंने गैर कानूनी तरीके से अगर सर्वे का निर्देश दिया है. इसका सीधा अर्थ है कि वो संविधान के बजाय भाजपा सरकार से संचालित हो रहे हैं. ऐसी स्थिति में स्थानीय मुस्लिम समुदाय में यह संदेश जाना स्वभाविक है कि सरकार न्यायपालिका के एक हिस्से और पुलिस के बल पर गैर कानूनी तरीके से उनकी मस्जिद छीनना चाहती है.
भाजपा के इशारे पर काम कर रही न्यायपालिकाः शाहनवाज ने कहा कि बाबरी मस्जिद-राम जन्मभूमि विवाद पर पूर्व मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ की इस आत्मस्वीकृति से की उन्होंने तथ्यों के बजाए आस्था के आधार पर फैसला दिया था. मुस्लिमों में अपने पूजा स्थलों की सुरक्षा को लेकर न्यायपालिका पर अविश्वास बढ़ा है. इससे पहले बनारस की ज्ञानवापी मस्जिद और काशी विश्वनाथ मंदिर, ताज महल, मथुरा की शाही ईदगाह और बदायूं की ऐतिहासिक जामा मस्जिद पर भी निचली अदालतों द्वारा पूजा स्थल अधिनियम की अवमानना पर सुप्रीम कोर्ट की चुप्पी से भी यह संदेश गया है कि न्यायपालिका ख़ुद संविधान विरोधी काम में भाजपा सरकार के साथ सह अपराधी की भूमिका में है. आलम ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश संजीव खन्ना को पूजा स्थल अधिनियम की अवमानना करने के अपराध में संभल सिविल जज को तत्काल बर्खास्त कर देना चाहिए.
नफ़रत, हिंसा और दंगा बनी यूपी की पहचान: संभल हिंसा पर आम आदमी पार्टी के सांसद व उत्तर प्रदेश प्रभारी संजय सिंह ने बयान जारी करते हुए उत्तर प्रदेश सरकार और पुलिस की निंदा की है. उन्होंने कहा कि भाजपा ने उत्तर प्रदेश को "बर्बाद" कर दिया है. राज्य में नफ़रत, हिंसा और दंगे अब राज्य की पहचान बन चुके हैं. पुलिस की गोली से तीन लोगों की मौत हो गई, लेकिन प्रशासन अभी भी झूठ बोलने और लीपापोती करने में जुटा हुआ है. इस घटना के दौरान सीओ की मौजूदगी में पुलिस ने गोली चलाई और यह अत्यंत गंभीर मुद्दा है. संजय सिंह ने हाईकोर्ट की निगरानी में इस पूरे मामले की निष्पक्ष और स्वतंत्र जांच कराने की मांग की, ताकि दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई हो सके और पीड़ित परिवार को न्याय मिले.
फिरोजाबाद और रामपुर में अलर्ट
संभल में बबाल के बाद फिरोजाबाद रामपुर में पुलिस प्रशासन अलर्ट हो गया है. फिरोजाबाद शहर में पुलिस अफसरों की मौजूदगी में जवानों ने पैदल मार्च किया. इसके साथ ही धर्मगुरुओं के साथ बैठक भी की. पुलिस के अफसरों ने चेतावनी भी दी है कि अगर किसी ने माहौल को खराब करने की कोशिश की तो उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी. अपर पुलिस अधीक्षक शहर रविशंकर प्रसाद की रविवार की रात पुलिस ने मिश्रित अवादी वाले इलाके में पैदल मार्च किया. साथ ही मुस्लिम धर्म गुरुओं के साथ बैठक की.
पुलिस ने फ्लैग मार्च करने के साथ लोगों से किया संवाद
संभल से सटे रामपुर में भी सुरक्षा व्यवस्था के मद्देनजर पुलिस अलर्ट है. देर रात पुलिस अधीक्षक द्वारा पेट्रोलिंग और फ्लैग मार्च के माध्यम से लोगों से संवाद स्थापित किया . संवेदनशील जगहों पर पुलिस अधीक्षक द्वारा फ्लैग मार्च के माध्यम से लोगों को जागरूक किया. पुलिस अधीक्षक रामपुर विद्यासागर मिश्र ने बताया कि सामान्य अलर्टनेस जारी है. थाना सिविल लाइंस, थाना गंज और कोतवाली क्षेत्र में फूट पेट्रोलिंग की गई.