मनेन्द्रगढ़ चिरमिरी भरतपुर : देशभर में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में स्वच्छ भारत मिशन चलाया जा रहा है. हर साल जारी होने वाले स्वच्छ शहरों की सूची में छत्तीसगढ़ के शहरों ने भी अच्छ प्रदर्शन किया है. लेकिन नगर पंचायत खोंगापानी में स्वच्छता अभियान की धज्जियां उड़ाती दिखाई दे रही है. नगर में स्थानीय प्रशासन और जनप्रतिनिधियों की उदासीनता से गंदगी का अंबार लग गया है.
वार्डों में कई जगहों पर फैली गंदगी : खोंगापानी नगर के अधिकांश वार्डों में कचरे का ढेर लगा हुआ है. कार्यालय के पास साप्ताहिक बाजार स्थल और आदर्श आंगनबाड़ी केंद्र के पास गंदगी का आलम नजर आ रही है. वार्ड क्रमांक 14 की आंगनबाड़ी कार्यकर्ता का कहना है कि गंदगी के चलते मासूम बच्चों को संक्रमण का खतरा बना रहता है. साफ सफाई हफ्ते में एक बार होती है, लेकिन गंदगी का स्तर लगातार बढ़ता जा रहा है.
गंदगी की समस्या इतनी बढ़ गई है कि नालियां बजबजा रही हैं. मोहल्लों में बदबू के कारण रहना मुश्किल हो गया है. शिकायतें करने के बावजूद अधिकारी सुनवाई नहीं करते. स्वच्छता के नाम पर लाखों रुपये खर्च किए जा रहे हैं, लेकिन हकीकत में सिर्फ खानापूर्ति हो रही है : विवेक चतुर्वेदी, पार्षद, नगर पंचायत खोंगापानी
स्वास्थ्य मंत्री ने दी चेतावनी : ईटीवी भारत ने जब जब इस मामले में नगर पंचायत खोंगापानी के सीएमओ तरुण कुमार एक्का से बात करने की कोशिश की तो उन्होंने मुलाकात से इनकार कर दिया और दोबारा फोन भी नहीं उठाया. वहीं इस विषय पर छत्तीसगढ़ के स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल से बात की गई. इस पर उन्होंने स्वच्छता अभियान में किसी भी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं करने और जांच कर दोषियों पर कार्रवाई करने की बात कही है.
यदि स्वच्छता अभियान में किसी भी प्रकार की लापरवाही बरती गई है तो कार्रवाई की जाएगी. संक्रमण और बीमारियों के खतरे को देखते हुए जांच के आदेश दिए जाएंगे : श्याम बिहारी जायसवाल, स्वास्थ्य मंत्री, छत्तीसगढ़
गंदगी से बीमारियों का बढ़ा खतरा : नगर में फैले कचरे और गंदगी की वजह से मलेरिया, डेंगू और अन्य संक्रमण का खतरा बढ़ गया है. यदि जल्द ही स्वच्छता पर ध्यान नहीं दिया गया तो खोंगापानी के निवासी गंभीर बीमारियों की चपेट में आ सकते हैं. अब यह देखना होगा कि सरकार और प्रशासन इस समस्या का समाधान कब और कैसे करता है.