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भाजपा के पूर्व केंद्रीय मंत्री की नातिन कांग्रेस के साथ, कहा- लोगों के आंखों पर लगा चश्मा उतारना है - Surguja loksabha election 2024

Kaka Larang Sai Granddaughter Joins Congress अंबिकापुर में कांग्रेस नेता और पूर्व डिप्टी सीएम की मौजूदगी में भाजपा के कद्दावर नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री लरंग साय की नातिन हेमा सिंह कांग्रेस में शामिल हो गई. हेमा का कहना है कि देश को इस समय बचाने की जरूरत है कि क्योंकि देश तानाशाह की तरफ जा रहा है.

SURGUJA LOKSABHA ELECTION 2024
काका लरंग साय की नातिन कांग्रेस में
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By ETV Bharat Chhattisgarh Team

Published : Apr 10, 2024, 1:51 PM IST

Updated : Apr 10, 2024, 2:09 PM IST

काका लरंग साय की नातिन कांग्रेस में

सरगुजा: लोकसभा चुनाव से पहले सरगुजा में भाजपा को बड़ा झटका लगा है. सरगुजा में भाजपा और जनसंघ की नींव माने जाने वाले पूर्व सांसद काका लरंग साय की नातिन हेमा सिंह ने कांग्रेस की सदस्यता ग्रहण कर ली है. पूर्व डिप्टी सीएम टीएस सिंहदेव की मौजूदगी में आयोजित संवाद शिविर में हेमा सिंह ने कांग्रेस ज्वाइन किया है. काका लरंग साय भाजपा के टिकट से सरगुजा के सांसद, विधायक व केंद्रीय श्रम मंत्री रह चुके हैं. उनकी नातिन हेमा सिंह पुलिस विभाग व शिक्षा विभाग में सेवा में सेवा दे चुकी है, लेकिन उन्होंने दोनो ही नौकरियां छोड़ दी थी और 8 वर्ष तक दिल्ली में रहीं. कांग्रेस की सदस्यता लेने के बाद हेमा सिंह ने ETV भारत से बात की.

हेमा सिंह ने बताया कि "इस समय देश की हालत ठीक नहीं हैं. संवैधानिक तौर पर बीजेपी जिस रास्ते में बीजेपी को ले जा रही है वह हमारे देश के लिए काफी खतरनाक हैं. लोकतंत्र अगर खत्म हो गया तो ना सिर्फ ट्राईबल कम्यूनिटी, एसटी एससी, ओबीसी हर कम्यूनिटी खतरे में हैं. देश में तानाशाही आ जाएगी. जो हम सब के लिए काफी खतरनाक होगा. हम सबके लिए मुश्किल खड़ी हो जाएगी. हमारे बच्चों का फ्यूचर खतरे में पड़ जायेगा. भारत में मध्यम वर्ग की आबादी ज्यादा है. मध्यम वर्ग के लिये नौकरी बहुत बड़ी चीज होती है. इसलिये मुझे लगता है कि आम आदमी के तहत मुझे इसके खिलाफ आवाज उठानी चाहिये, बोलना चाहिये."

सवाल: बड़े भाजपा नेता के परिवार से हैं. परिवार का दबाव नहीं था.?


जवाब: मैं हमेशा से स्वतंत्र रहना पसंद करती हूं. मैंने बहुत बड़े बड़े डिसीजन अपनी लाइफ में लिए हैं. किसी की बातों में आने से ज्यादा प्रैक्टिकल रहना पसंद करती हूं. इसलिए मैं दिल्ली में लंबे समय तक रही. दिल्ली में रहकर मैंने बहुत सी चीजों को बारीकी से देखा है. मैं पुलिस विभाग में रही, एजुकेशन डिपार्टमेंट में भी रही.दिल्ली में 8 साल तक रही. नौकरी छोड़ना पड़ा. क्योंकि यहां का जो सिस्टम है वो बहुत ही खराब है. स्कूल की हालत देखिये, कहीं पर 3 टीचर हैं कहीं 2 टीचर हैं. नौकरी मेरे लिये भी जरूरी थी, लेकिन उससे ज्यादा जरूरी है की स्कूल में, पुलिस डिपार्टमेंट में जो लोग प्रॉब्लम को फेस कर रहे हैं उसका सॉल्यूशन न क्या है. ये जानना मेरे लिये ज्यादा जरूरी था, क्योंकि जब मैं स्कूल में थी तो 2-3 टीचर 5 कक्षा को संभालते थे, ये कैसे संभव हैं.

सवाल: सरगुजा लोकसभा चुनाव प्रचार में क्या रोल होगा?


जवाब: इस प्रचार में मेरा यही रोल होगा कि लोगों की नजरों पर चढ़ा चश्मा उतारना पड़ेगा. लोग समझ नहीं रहे हैं कि उनके साथ क्या हो रहा है. इंडियन पीपल्स बहुत इमोशनल होते हैं. हमे सबसे ज्यादा अटैक धर्म के नाम पर किया जाता हैं. इंडिया ही नहीं वर्ल्ड में धर्म को बड़ा हथियार बनाकर हमारे खिलाफ यूज किया जा रहा है. कहीं ना कहीं हम सब इसके झांसे में आ रहे हैं, हमें लगता है कि हम धार्मिक लोग हैं. हमको इसका नाम लेना चाहिये लेकिन ऐसा नहीं हैं.

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काका लरंग साय की नातिन कांग्रेस में

सरगुजा: लोकसभा चुनाव से पहले सरगुजा में भाजपा को बड़ा झटका लगा है. सरगुजा में भाजपा और जनसंघ की नींव माने जाने वाले पूर्व सांसद काका लरंग साय की नातिन हेमा सिंह ने कांग्रेस की सदस्यता ग्रहण कर ली है. पूर्व डिप्टी सीएम टीएस सिंहदेव की मौजूदगी में आयोजित संवाद शिविर में हेमा सिंह ने कांग्रेस ज्वाइन किया है. काका लरंग साय भाजपा के टिकट से सरगुजा के सांसद, विधायक व केंद्रीय श्रम मंत्री रह चुके हैं. उनकी नातिन हेमा सिंह पुलिस विभाग व शिक्षा विभाग में सेवा में सेवा दे चुकी है, लेकिन उन्होंने दोनो ही नौकरियां छोड़ दी थी और 8 वर्ष तक दिल्ली में रहीं. कांग्रेस की सदस्यता लेने के बाद हेमा सिंह ने ETV भारत से बात की.

हेमा सिंह ने बताया कि "इस समय देश की हालत ठीक नहीं हैं. संवैधानिक तौर पर बीजेपी जिस रास्ते में बीजेपी को ले जा रही है वह हमारे देश के लिए काफी खतरनाक हैं. लोकतंत्र अगर खत्म हो गया तो ना सिर्फ ट्राईबल कम्यूनिटी, एसटी एससी, ओबीसी हर कम्यूनिटी खतरे में हैं. देश में तानाशाही आ जाएगी. जो हम सब के लिए काफी खतरनाक होगा. हम सबके लिए मुश्किल खड़ी हो जाएगी. हमारे बच्चों का फ्यूचर खतरे में पड़ जायेगा. भारत में मध्यम वर्ग की आबादी ज्यादा है. मध्यम वर्ग के लिये नौकरी बहुत बड़ी चीज होती है. इसलिये मुझे लगता है कि आम आदमी के तहत मुझे इसके खिलाफ आवाज उठानी चाहिये, बोलना चाहिये."

सवाल: बड़े भाजपा नेता के परिवार से हैं. परिवार का दबाव नहीं था.?


जवाब: मैं हमेशा से स्वतंत्र रहना पसंद करती हूं. मैंने बहुत बड़े बड़े डिसीजन अपनी लाइफ में लिए हैं. किसी की बातों में आने से ज्यादा प्रैक्टिकल रहना पसंद करती हूं. इसलिए मैं दिल्ली में लंबे समय तक रही. दिल्ली में रहकर मैंने बहुत सी चीजों को बारीकी से देखा है. मैं पुलिस विभाग में रही, एजुकेशन डिपार्टमेंट में भी रही.दिल्ली में 8 साल तक रही. नौकरी छोड़ना पड़ा. क्योंकि यहां का जो सिस्टम है वो बहुत ही खराब है. स्कूल की हालत देखिये, कहीं पर 3 टीचर हैं कहीं 2 टीचर हैं. नौकरी मेरे लिये भी जरूरी थी, लेकिन उससे ज्यादा जरूरी है की स्कूल में, पुलिस डिपार्टमेंट में जो लोग प्रॉब्लम को फेस कर रहे हैं उसका सॉल्यूशन न क्या है. ये जानना मेरे लिये ज्यादा जरूरी था, क्योंकि जब मैं स्कूल में थी तो 2-3 टीचर 5 कक्षा को संभालते थे, ये कैसे संभव हैं.

सवाल: सरगुजा लोकसभा चुनाव प्रचार में क्या रोल होगा?


जवाब: इस प्रचार में मेरा यही रोल होगा कि लोगों की नजरों पर चढ़ा चश्मा उतारना पड़ेगा. लोग समझ नहीं रहे हैं कि उनके साथ क्या हो रहा है. इंडियन पीपल्स बहुत इमोशनल होते हैं. हमे सबसे ज्यादा अटैक धर्म के नाम पर किया जाता हैं. इंडिया ही नहीं वर्ल्ड में धर्म को बड़ा हथियार बनाकर हमारे खिलाफ यूज किया जा रहा है. कहीं ना कहीं हम सब इसके झांसे में आ रहे हैं, हमें लगता है कि हम धार्मिक लोग हैं. हमको इसका नाम लेना चाहिये लेकिन ऐसा नहीं हैं.

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Last Updated : Apr 10, 2024, 2:09 PM IST
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