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सरकार को नहीं मिल रहे पीने वाले, वेयरहाउस में धूल खा रहीं हैं शराब की बोतले - Mahua Heritage Liquor No Sale In MP

मध्य प्रदेश की महुआ शराब को लेकर तत्कालीन शिवराज नया प्रोजेक्ट लेकर आए थे. मोहूलो और मोंड ब्रांड की महुआ शराब वॉइन शॉप और एमपी टूरिज्म में बेची जाती है, लेकिन पिछले तीन माह से शिवराज का यह प्रोजेक्ट ठप पड़ा है. करीब 10 लाख रुपए की महुआ शराब वेयरहाउस में पड़ी है.

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By ETV Bharat Madhya Pradesh Team

Published : Jun 13, 2024, 7:55 PM IST

Updated : Jun 13, 2024, 8:05 PM IST

MAHUA HERITAGE LIQUOR NO SALE IN MP
वेयरहाउस में धूल खा रहीं हैं शराब की बोतले (ETV Bharat)

भोपाल। मध्य प्रदेश की पिछले शिवराज सरकार में लॉन्च की गई हेरिटेज शराब की महक सरकार बदलते ही कम होने लगी है. गोवा की फेनी और केरल की टोडी की तर्ज पर शुरू की गई, इस महुआ शराब का प्लांट तीन माह से बंद है. करीबन 10 लाख का माल वेयरहाउस में पड़ा है और कोई नया ऑर्डर हाथ में नहीं है. मोहुलो (Mohulo) और मोंड (Mond) ब्रांड की यह महुआ शराब प्रदेश के वॉइन शॉप और एमपी टूरिज्म के होटल्स में ही बेची जाती है. हालांकि आबकारी अधिकारियों के मुताबिक इसकी बिक्री को बढ़ाने के लिए सभी बार में महुआ हेरिटेज शराब रखना अनिवार्य किया जा रहा है.

तीन माह से रूका बॉटलिंग का काम

महुआ के फूल और इससे बनने वाला पेय सदियों से आदिवासियों की जिंदगी का हिस्सा रहा है. प्रदेश की पिछले शिवराज सरकार ने इसे गोवा की फेनी की तर्ज पर इसे एमपी का ब्रांड बनाने की तरफ कदम बढ़ाया. प्रदेश के अलीराजपुर जिले के काठियावाड़ा ब्लॉक में प्रदेश का पहला महुआ प्लांट लगाया गया था. इसे भिलाल ट्राइबर ग्रुप की 15 महिलाएं चलाती हैं. इस प्लांट की मैनेजर अंकिता भाबर से ईटीवी भारत ने बात की. उन्होंने बताया कि 'पुराने अधिकारी सब बदल गए, अब सब काम हमें ही करने पड़ रहे हैं. नवंबर माह से वेयरहाउस में हमारा 10 लाख रुपए का माल पड़ा हुआ है. जब यह माल यहां से उठेगा, तब हमारे पास पैसा आएगा. अभी कोई नया ऑर्डर नहीं है. इसलिए नई बॉटलिंग भी नहीं की जा रही है. अंकिता कहती हैं कि प्लांट शुरू होने से लेकर अभी तक करीबन 23 लाख रुपए का माल सेल हुआ है. पहली बार का पूरा माल निकल गया था, लेकिन दूसरी बार का ऑर्डर पूरा सेल नहीं हुआ है. वैसे भी अब हम नई बॉटल डिजाइन करा रहे हैं, ताकि यह और ज्यादा आकर्षक दिखे, हालांकि इससे कॉस्टिंग भी बढ़ जाएगी.'

देशी के रेट में हेरीटेज की डिमांड

अंकिता भाबर कहती हैं कि हेरीटेज शराब को लेकर अपने अपने स्तर पर लोगों से बात की. कई लोगों को इसका फ्लेवर पसंद नहीं आ रहा. हमने इसका स्वाद आर्गेनिक रखा है, इसलिए लोग इसमें फ्लेवर की डिमांड कर रहे हैं. इसका कलर लाल होता है, इसलिए कई लोग इसके कलर को लेकर भी शिकायत करते हैं. यहां तक कि इसके रेट को लेकर भी लोग गांव के हिसाब से कम्पेयर करते हैं. इसकी एक 720 एमएल की बोटल की कीमत 800 रुपए और 180 एमएल की बोतल 200 रुपए में बेची जाती है.

सभी बार पर महुआ हेरिटेज होगी अनिवार्य

अलीराजपुर के अलावा डिंडोरी में भी गोंड आदिवासियों द्वारा भी मैन्युफैक्चरिंग प्लांट लगाया गया था. इन दोनों प्लांट की शराब Mohulo और Mond ब्रांड नाम से बेची जाती है. हालांकि इसकी खपत कम होने को लेकर आबकारी विभाग भी चिंतित है. आबकारी आयुक्त अभिजीत अग्रवाल के मुताबिक महुआ शराब की खपत बढ़ाने निजी कंपनियों को भी जोड़ने की कोशिश की जा रही है. हमारी कोशिश है कि इसको लेकर लोगों तक जानकारी पहुंचे. हम सभी बार को महुआ हेरिटेज रखना भी अनिवार्य कर रहे हैं.

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2022 में हुई थी शुरूआत

महुआ हेरिटेज शराब के उत्पादन की मंजूरी अगस्त 2022 में राज्य सरकार ने दी थी. इसके बाद जनवरी 2023 में सरकार ने इसके नियम बनाए. सरकार ने डिंडोरी और अलीराजपुर के दो आदिवासी स्व सहायता समूह को इसे बनाने की मंजूरी दी. हेरिटेज शराब को 22 फरवरी 2023 से अगले 7 सालों तक आबकारी ड्यूटी और निर्यात शुल्क से मुक्त रखा है. साथ ही वैट टेक्स से भी इसको राहत दी गई है.

भोपाल। मध्य प्रदेश की पिछले शिवराज सरकार में लॉन्च की गई हेरिटेज शराब की महक सरकार बदलते ही कम होने लगी है. गोवा की फेनी और केरल की टोडी की तर्ज पर शुरू की गई, इस महुआ शराब का प्लांट तीन माह से बंद है. करीबन 10 लाख का माल वेयरहाउस में पड़ा है और कोई नया ऑर्डर हाथ में नहीं है. मोहुलो (Mohulo) और मोंड (Mond) ब्रांड की यह महुआ शराब प्रदेश के वॉइन शॉप और एमपी टूरिज्म के होटल्स में ही बेची जाती है. हालांकि आबकारी अधिकारियों के मुताबिक इसकी बिक्री को बढ़ाने के लिए सभी बार में महुआ हेरिटेज शराब रखना अनिवार्य किया जा रहा है.

तीन माह से रूका बॉटलिंग का काम

महुआ के फूल और इससे बनने वाला पेय सदियों से आदिवासियों की जिंदगी का हिस्सा रहा है. प्रदेश की पिछले शिवराज सरकार ने इसे गोवा की फेनी की तर्ज पर इसे एमपी का ब्रांड बनाने की तरफ कदम बढ़ाया. प्रदेश के अलीराजपुर जिले के काठियावाड़ा ब्लॉक में प्रदेश का पहला महुआ प्लांट लगाया गया था. इसे भिलाल ट्राइबर ग्रुप की 15 महिलाएं चलाती हैं. इस प्लांट की मैनेजर अंकिता भाबर से ईटीवी भारत ने बात की. उन्होंने बताया कि 'पुराने अधिकारी सब बदल गए, अब सब काम हमें ही करने पड़ रहे हैं. नवंबर माह से वेयरहाउस में हमारा 10 लाख रुपए का माल पड़ा हुआ है. जब यह माल यहां से उठेगा, तब हमारे पास पैसा आएगा. अभी कोई नया ऑर्डर नहीं है. इसलिए नई बॉटलिंग भी नहीं की जा रही है. अंकिता कहती हैं कि प्लांट शुरू होने से लेकर अभी तक करीबन 23 लाख रुपए का माल सेल हुआ है. पहली बार का पूरा माल निकल गया था, लेकिन दूसरी बार का ऑर्डर पूरा सेल नहीं हुआ है. वैसे भी अब हम नई बॉटल डिजाइन करा रहे हैं, ताकि यह और ज्यादा आकर्षक दिखे, हालांकि इससे कॉस्टिंग भी बढ़ जाएगी.'

देशी के रेट में हेरीटेज की डिमांड

अंकिता भाबर कहती हैं कि हेरीटेज शराब को लेकर अपने अपने स्तर पर लोगों से बात की. कई लोगों को इसका फ्लेवर पसंद नहीं आ रहा. हमने इसका स्वाद आर्गेनिक रखा है, इसलिए लोग इसमें फ्लेवर की डिमांड कर रहे हैं. इसका कलर लाल होता है, इसलिए कई लोग इसके कलर को लेकर भी शिकायत करते हैं. यहां तक कि इसके रेट को लेकर भी लोग गांव के हिसाब से कम्पेयर करते हैं. इसकी एक 720 एमएल की बोटल की कीमत 800 रुपए और 180 एमएल की बोतल 200 रुपए में बेची जाती है.

सभी बार पर महुआ हेरिटेज होगी अनिवार्य

अलीराजपुर के अलावा डिंडोरी में भी गोंड आदिवासियों द्वारा भी मैन्युफैक्चरिंग प्लांट लगाया गया था. इन दोनों प्लांट की शराब Mohulo और Mond ब्रांड नाम से बेची जाती है. हालांकि इसकी खपत कम होने को लेकर आबकारी विभाग भी चिंतित है. आबकारी आयुक्त अभिजीत अग्रवाल के मुताबिक महुआ शराब की खपत बढ़ाने निजी कंपनियों को भी जोड़ने की कोशिश की जा रही है. हमारी कोशिश है कि इसको लेकर लोगों तक जानकारी पहुंचे. हम सभी बार को महुआ हेरिटेज रखना भी अनिवार्य कर रहे हैं.

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2022 में हुई थी शुरूआत

महुआ हेरिटेज शराब के उत्पादन की मंजूरी अगस्त 2022 में राज्य सरकार ने दी थी. इसके बाद जनवरी 2023 में सरकार ने इसके नियम बनाए. सरकार ने डिंडोरी और अलीराजपुर के दो आदिवासी स्व सहायता समूह को इसे बनाने की मंजूरी दी. हेरिटेज शराब को 22 फरवरी 2023 से अगले 7 सालों तक आबकारी ड्यूटी और निर्यात शुल्क से मुक्त रखा है. साथ ही वैट टेक्स से भी इसको राहत दी गई है.

Last Updated : Jun 13, 2024, 8:05 PM IST
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