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कल से प्रारंभ होंगे शारदीय नवरात्र, इस बार 10 दिन तक होगा मां का विशेष पूजन - Sharadiya Navratra 2024 - SHARADIYA NAVRATRA 2024

शारदीय नवरात्र में इस वर्ष घटस्थापना का मुहूर्त सुबह 6:40 से 8:06 बजे तक और उसके बाद अभिजित मुहूर्त में दोपहर 12:11 से 12: 58 बजे तक है

Sharadiya Navratra 2024
कल से प्रारंभ होंगे शारदीय नवरात्र (Photo ETV Bharat Jaisalmer)
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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Oct 2, 2024, 10:44 PM IST

जैसलमेर: इस वर्ष शारदीय नवरात्र 3 अक्टूबर से 12 अक्टूबर 2024 तक तक मनाया जाएगा. इस बार मां के भक्तों के लिए नवरात्र का पर्व आश्विन शुक्ल प्रतिपदा गुरुवार को आरम्भ होकर 9 दिन के बजाय 10 दिन तक चलेगा. तृतीया तिथि की वृद्धि के कारण इस बार 10 दिन तक मां का विशेष पूजन होगा. शारदीय नवरात्र आश्विन मास शुक्ल पक्ष हस्त नक्षत्र और इंद्र योग में मनाए जाएंगे.

स्वर्ण नगरी जैसलमेर के ज्योतिषाचार्य उमेश आचार्य ने बताया कि गुरुवार को घटस्थापना का मुहूर्त सुबह 6:40 से 8:06 तक तथा उसके पश्चात अभिजित मुहूर्त में दोपहर 12:11 से 12: 58 बजे तक है . आचार्य ने बताया कि नवरात्र में महाकाली, महालक्ष्मी, महासरस्वती का पूजन व सप्तशती का पाठ मुख्य है. उन्होंने बताया कि अभीष्ट कार्य की सिद्धि के लिए 9 दिनों तक नवरात्र करके दशांश हवन व ब्राह्मण भोजन अवश्य करना चाहिए.

पढ़ें: शारदीय नवरात्र 2024: शिला माता मंदिर में 3 अक्टूबर सुबह 6:35 बजे होगी घटस्थापना, इसके बाद शुरू होंगे दर्शन

उमेश आचार्य ने बताया कि शारदीय नवरात्रा के साथ ही ऋतु परिवर्तन होकर सर्द ऋतु का आगमान होता है. प्रकृति में जब मौसम बदलता है तो कई रोगों के रोगाणु शरीर पर वार करते है जिससे मौसमी बीमारी होने का खतरा बढ़ जाता है. इस मौसम में वात, पित्त और कफ तीनों दोष असंतुलित होने से शरीर का रोग प्रतिरोधक क्षमता कमजोर पड़ती है. ऐसे में शरीर को स्वस्थ बनाए रखने के लिए नवरात्र में नौ दिन जप, उपवास, साफ-सफाई और भाव शुद्धि और ध्यान कर बीमारियों से रक्षा की जाती है. हवन करने से वातावरण में फैले रोगाणु नष्ट हो जाते हैं. उन्होंने श्रद्धालुओं से नवरात्रि स्थापना के पूजन के दौरान शुभ मुहूर्त का विशेष ध्यान रखने की बात भी कही है.

जैसलमेर: इस वर्ष शारदीय नवरात्र 3 अक्टूबर से 12 अक्टूबर 2024 तक तक मनाया जाएगा. इस बार मां के भक्तों के लिए नवरात्र का पर्व आश्विन शुक्ल प्रतिपदा गुरुवार को आरम्भ होकर 9 दिन के बजाय 10 दिन तक चलेगा. तृतीया तिथि की वृद्धि के कारण इस बार 10 दिन तक मां का विशेष पूजन होगा. शारदीय नवरात्र आश्विन मास शुक्ल पक्ष हस्त नक्षत्र और इंद्र योग में मनाए जाएंगे.

स्वर्ण नगरी जैसलमेर के ज्योतिषाचार्य उमेश आचार्य ने बताया कि गुरुवार को घटस्थापना का मुहूर्त सुबह 6:40 से 8:06 तक तथा उसके पश्चात अभिजित मुहूर्त में दोपहर 12:11 से 12: 58 बजे तक है . आचार्य ने बताया कि नवरात्र में महाकाली, महालक्ष्मी, महासरस्वती का पूजन व सप्तशती का पाठ मुख्य है. उन्होंने बताया कि अभीष्ट कार्य की सिद्धि के लिए 9 दिनों तक नवरात्र करके दशांश हवन व ब्राह्मण भोजन अवश्य करना चाहिए.

पढ़ें: शारदीय नवरात्र 2024: शिला माता मंदिर में 3 अक्टूबर सुबह 6:35 बजे होगी घटस्थापना, इसके बाद शुरू होंगे दर्शन

उमेश आचार्य ने बताया कि शारदीय नवरात्रा के साथ ही ऋतु परिवर्तन होकर सर्द ऋतु का आगमान होता है. प्रकृति में जब मौसम बदलता है तो कई रोगों के रोगाणु शरीर पर वार करते है जिससे मौसमी बीमारी होने का खतरा बढ़ जाता है. इस मौसम में वात, पित्त और कफ तीनों दोष असंतुलित होने से शरीर का रोग प्रतिरोधक क्षमता कमजोर पड़ती है. ऐसे में शरीर को स्वस्थ बनाए रखने के लिए नवरात्र में नौ दिन जप, उपवास, साफ-सफाई और भाव शुद्धि और ध्यान कर बीमारियों से रक्षा की जाती है. हवन करने से वातावरण में फैले रोगाणु नष्ट हो जाते हैं. उन्होंने श्रद्धालुओं से नवरात्रि स्थापना के पूजन के दौरान शुभ मुहूर्त का विशेष ध्यान रखने की बात भी कही है.

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