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सिग्नेचर व्यू अपार्टमेंट के सीनियर सिटीजन खटखटाएंगे दिल्ली हाईकोर्ट का दरवाजा, जानें क्यों - Signature View Apartment

Signature View Apartment: दिल्ली के सिग्नेचर व्यू अपार्टमेंट में रहने वाले वरिष्ठ नागरिक अब दिल्ली हाईकोर्ट जाने की तैयारी में हैं. उनके सामने कई ऐसी समस्याएं हैं, जिसका हल नहीं निकल रहा है. क्या है पूरा मामला, आइए जानते हैं...

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By ETV Bharat Delhi Team

Published : Apr 15, 2024, 10:54 PM IST

स्थानीय निवासियों ने बताई समस्या

नई दिल्ली: राजधानी का सिग्नेचर व्यू अपार्टमेंट को दोबारा बनाने को लेकर जहां कुछ लोगों ने अपने फ्लैट्स खाली कर दिए हैं. वहीं कुछ लोग ऐसे भी है, जो अब भी इनमें रह रहे हैं. लेकिन यहां रह रहे वरिष्ठ नागरिकों के सामने एक नहीं कई समस्या है, जिसे लेकर अब वह हाईकोर्ट जाने की तैयारी में हैं. दरअसल, दिल्ली विकास प्राधिकरण (डीडीए) की तरफ से कहा गया है कि यहां रहने वाले लोगों के दूसरी जगह पर स्थानांतरित होने के बाद ही उनके फ्लैट्स के अनुसार 3 साल तक किराया दिया जाएगा. लेकिन लोगों के सामने यही एक समस्या ही नहीं है.

कुछ वर्ष पहले दिल्ली आईआईटी द्वारा बिल्डिंग की जांच के बाद, रिपोर्ट में यह बताया गया था कि यह अपार्टमेंट लोगों के रहने के लिए सुरक्षित नहीं है. इसके बाद डीडीए के अध्यक्ष ने एलजी वीके सक्सेना से मिलकर इसे तोड़कर दोबारा बनाने की बात कही थी. बाद में कुछ लोग फ्लैट खाली कर के यहां से चले, लेकिन कुछ अब भी यहीं रह रहे हैं, जिसमें कई सीनियर सिटीजन भी शामिल हैं. ऐसे लोगों को जहां कमजोर बिल्डिंग के कारण बड़ा हादसा होने का डर है. वहीं उनका कहना है कि उन्होंने सारी जमा पूंजी इसमें लगा दी. अब इसकी ईएमआई और किसी अन्य फ्लैट का किराया दोनों एक साथ दे पाने में असमर्थ हैं.

यह भी पढ़ें-नोएडा के ट्विन टावर की तरह जमींदोज होंगे दिल्ली के ये टावर, DDA को है कॉन्ट्रैक्टर की तलाश

इसके अलावा लोगों का यह भी कहना है कि इस अपार्टमेंट को खाली करके लोग जी दूसरे अपार्टमेंट में जा रहे हैं वहां के किराए में और डीडीए द्वारा किराए के नाम पर दिए जा रहे मुआवजे में काफी अंतर है. दूसरी जगह पर रहने के लिए जो किराया देना पड़ेगा वह काफी अधिक है. इसे लेकर डीडीए के अधिकारियों व यहां रह रहे लोगों के बीच निरंतर बातचीत जारी है. इन्हीं मुद्दों को लेकर लोग अब दिल्ली हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाने की तैयारी कर रहे हैं.

यह भी पढ़ें-डीडीए ने सिग्नेचर व्यू अपार्टमेंट को तोड़ने के लिए कॉन्ट्रैक्टर की तलाश की शुरू, किराया न मिलने से लोगों में चिंता

स्थानीय निवासियों ने बताई समस्या

नई दिल्ली: राजधानी का सिग्नेचर व्यू अपार्टमेंट को दोबारा बनाने को लेकर जहां कुछ लोगों ने अपने फ्लैट्स खाली कर दिए हैं. वहीं कुछ लोग ऐसे भी है, जो अब भी इनमें रह रहे हैं. लेकिन यहां रह रहे वरिष्ठ नागरिकों के सामने एक नहीं कई समस्या है, जिसे लेकर अब वह हाईकोर्ट जाने की तैयारी में हैं. दरअसल, दिल्ली विकास प्राधिकरण (डीडीए) की तरफ से कहा गया है कि यहां रहने वाले लोगों के दूसरी जगह पर स्थानांतरित होने के बाद ही उनके फ्लैट्स के अनुसार 3 साल तक किराया दिया जाएगा. लेकिन लोगों के सामने यही एक समस्या ही नहीं है.

कुछ वर्ष पहले दिल्ली आईआईटी द्वारा बिल्डिंग की जांच के बाद, रिपोर्ट में यह बताया गया था कि यह अपार्टमेंट लोगों के रहने के लिए सुरक्षित नहीं है. इसके बाद डीडीए के अध्यक्ष ने एलजी वीके सक्सेना से मिलकर इसे तोड़कर दोबारा बनाने की बात कही थी. बाद में कुछ लोग फ्लैट खाली कर के यहां से चले, लेकिन कुछ अब भी यहीं रह रहे हैं, जिसमें कई सीनियर सिटीजन भी शामिल हैं. ऐसे लोगों को जहां कमजोर बिल्डिंग के कारण बड़ा हादसा होने का डर है. वहीं उनका कहना है कि उन्होंने सारी जमा पूंजी इसमें लगा दी. अब इसकी ईएमआई और किसी अन्य फ्लैट का किराया दोनों एक साथ दे पाने में असमर्थ हैं.

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इसके अलावा लोगों का यह भी कहना है कि इस अपार्टमेंट को खाली करके लोग जी दूसरे अपार्टमेंट में जा रहे हैं वहां के किराए में और डीडीए द्वारा किराए के नाम पर दिए जा रहे मुआवजे में काफी अंतर है. दूसरी जगह पर रहने के लिए जो किराया देना पड़ेगा वह काफी अधिक है. इसे लेकर डीडीए के अधिकारियों व यहां रह रहे लोगों के बीच निरंतर बातचीत जारी है. इन्हीं मुद्दों को लेकर लोग अब दिल्ली हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाने की तैयारी कर रहे हैं.

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