मेरठ: पीएम नरेन्द्र मोदी के द्वारा 2015 में बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ अभियान की शुरुआत की गई थी. इस अभियान को अब दस वर्ष हो चुके हैं. उसके बाद इन दिनों मेरठ में हर दिन अलग-अलग शिक्षण संस्थाओं में बेटियों को आत्मरक्षा के गुरु सिखाए जा रहे हैं. इसमें उन्हें किसी तरह की समस्या आने पर कैसे अपनी रक्षा करनी है, कैसे खुद को सुरक्षित करना है, साथ ही उनके पास ऐसे कौन से अधिकार हैं, जिनके माध्यम से वे अपने हक के लिए आवाज उठा सकती हैं. इन तमाम विषयों पर जागरूकता कार्यक्रम आयोजित हो रहे हैं.
इसी क्रम में मेरठ में कस्तूरबा गांधी विद्यालय में बुधवार को आयोजित कार्यक्रम में बेटियों को कराटे समेत विभिन्न ऐसे तरीके सिखाए गए, जिनसे वह भविष्य में कहीं बेखौफ आजादी से आ जा सकें. इस मौके पर महिला पुलिसकर्मियों ने भी बेटियों को जागरूक किया. वहीं, विद्यालय में आवश्यक हेल्पलाइन नंबर उपलब्ध कराए गए हैं.
बता दें कि बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना के 10 साल पूरे होने पर संयुक्त राष्ट्र बाल कोष (यूनिसेफ), संयुक्त राष्ट्र महिला संगठन, संयुक्त राष्ट्र विकास कार्यक्रम (यूएनडीपी), संयुक्त राष्ट्र जनसंख्या कोष (यूएनएफपीए), विश्व बैंक और जर्मन एजेंसी फॉर इंटरनेशनल कोऑपरेशन (जीआईजेड) जैसे अंतर्राष्ट्रीय संगठनों के प्रतिनिधि भी विज्ञान भवन के कार्यक्रम में भाग लिए थे.
इस दौरान इंस्पेक्टर अतर कौर ने बताया कि सरकार की तरफ से यह निर्देश मिले हैं कि बेटियों को ज्यादा से ज्यादा आत्मरक्षा के बारे में प्रशिक्षण दिया जाए और उन्हें महिला हेल्पलाइन समेत बाकी जानकारी दी जाए.
अभिलाषा फाऊंडेशन की अध्यक्ष ममता गर्ग ने बताया कि एनजीओ के माध्यम से भी लोगों को जागरूक करने के निर्देश मिले हैं. इसी क्रम में बेटियों को अलग-अलग जगह जाकर आत्मरक्षा के गुण सिखाए जा रहे हैं. बेटियों के द्वारा इस मौके पर पूरी तन्मयता से दिलचस्पी लेते हुए आत्मरक्षा के गुरु सीखे.
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