सतना। शहर के जवाहर नगर गली नंबर 7 में रहने वाली सविता सिंह परिहार पति अभय सिंह परिहार उम्र 39 वर्ष अजीबोगरीब हालात में झोला लेकर जिला अस्पताल पहुंची. वह डॉक्टर के पास पहुंच कर बोली "इस झोले में मेरा बच्चा है, इसका इलाज कर दीजिए." डॉक्टर ने जैसे ही झोले को खोलकर देखा तो हक्का-बक्का रह गए. नवजात को झोले से बाहर निकाल कर देखा तो उसकी मृत्यु हो चुकी थी. मामला संदिग्ध होने पर डॉक्टर ने इसकी सूचना जिला अस्पताल चौकी पुलिस को दी.
एक साल से मानसिक रूप से बीमार है महिला
सूचना मिलते ही अस्पताल चौकी प्रभारी मौके पर पहुंचे. वहीं, महिला के परिजनों को सूचना दी गई. महिला का पति अभय सिंह परिहार जिला अस्पताल पहुंच गया, जहां उसने जानकारी दी "उसकी पत्नी मानसिक रूप से बीमार है. जिसके चलते वह अक्सर अजीबोगरीब हरकत करती है. करीब 1 साल से उसकी पत्नी की ऐसी हालत है, जिसके चलते पूरा परिवार परेशान रहता है." अभय ने बताया "उसकी पत्नी की पेट में करीब 7 माह का बच्चा था. शनिवार सुबह उसकी पत्नी सविता हमेशा की तरह घर से टहलने के लिए गई थी, लेकिन जब काफी देर तक घर नहीं पहुंची तो परिजन और उसके पति परेशान हो गए."
नवजात का पोस्टमार्टम कर परिजनों को सौंपा
कोतवाली पुलिस से महिला के पति को फोन से जानकारी दी गई कि उसकी पत्नी जिला अस्पताल में है. अस्पताल पहुंचने के बाद अभय को पता चला कि उसकी पत्नी टहलने के दौरान बाथरूम गई थी और इस बीच उसने नवजात शिशु को जन्म दिया, जिस झोले में भरकर वह इलाज करने के लिए जिला अस्पताल पहुंच गई, जहां उसके बच्चे को डॉक्टर ने मृत घोषित कर दिया. इसके बाद अभय अपनी पत्नी को लेकर घर पहुंचा. नवजात का पीएम पंचनामा कार्रवाई की गई.