सहरसाः बिहार के सहरसा में हर साल यही होता है जो इस साल हो रहा है. इस साल भी कोसी का रौद्र रूप देखने को मिल रहा है और इसके साथ ही इलाके के लोग अपने हाथों से अपने सपनों के आशियाने को मटियामेट कर सुरक्षित स्थानों की तलाश में पलायन कर रहे हैं. कटाव के कारण कई घर कोसी की भेंट चढ़ चुके हैं, लोग इसे रोकने की जद्दोजहद कर रहे हैं लेकिन ये नाकाफी साबित हो रहा है तो अभी तक प्रशासन की ओर से कोई झांकने तक नहीं आया है.
कोसी में समा चुके हैं दर्जनों घरः सहरसा जिले के नवहट्टा प्रखंड अंतर्गत तटबंध के अंदर रसलपुर गांव के मुसहरी टोला के लोग अपने अस्तित्व की लड़ाई लड़ रहे हैं. कोसी में उफान के कारण मुसहरी टोला के वार्ड नंबर 13 के दो दर्जन से अधिक घर जलसमाधि ले चुके हैं तो दर्जनों घरों पर नष्ट होने का खतरा बरकरार है.
ग्रामीणों की कोशिश नाकाफीः रसूलपुर में रहनेवाले लोग अपने आशियाने को बचाने की जी-तोड़ कोशिश कर रहे हैं. पेड़ों को काटकर कोसी की धारा को रोकने की कोशिश की जा रही है लेकिन कटाव इतनी तेजी से हो रहा है कि गांववालों की कोशिश नाकाफी साबित हो रही है. लिहाजा लोग थक-हार कर जिंदगी बचाने की जुगाड़ में अपने ही हाथों अपने आशियाने उजाड़ कर पलायन करने लगे हैं.
'कोई झांकने तक नहीं आया': कटाव से परेशान ग्रामीणों का आरोप है कि कोसी नदी उफान पर है. 15 दिनों से कटाव हो रहा है. कई घर विलीन हो चुके हैं तो कई घर अब डूबने की कगार पर हैं लेकिन अभी तक सरकार की ओर से कोई मदद नहीं मिली है. इलाके में कोई अधिकारी झांकने तक नहीं आया है.
"15 दिनों से कटाव जारी है. मुसहरी टोला के 20 घर कोसी में समा चुके हैं और अब हमारे वार्ड के भी कई घरों के पास कटाव हो रहा है. हमलोग पेड़ काटकर, रस्से से पानी को रोकने की कोशिश कर रहे हैं, लेकिन पानी रुक नहीं रहा है. सरकार की तरफ से भी कोई मदद नहीं मिल रही है."-मदन दास, बाढ़ पीड़ित
'15 दिनों से यहां कटाव जारी है, लेकिन कोई देखने-सुननेवाला नहीं है. हमलोग गांववाले मिलकर किसी तरह पेड़ वगैरह काट कर पानी को रोकने की कोशिश कर रहे हैं, लेकिन कोई फायदा नहीं हो रहा है. यहां हमलोगों के हालात देखने के लिए कोई नहीं आता है."- सकलदेव यादव, बाढ़ पीड़ित
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