जयपुर. सरकारी स्कूलों में शिक्षक बनने के लिए होने वाली राजस्थान शिक्षक पात्रता परीक्षा (REET) होगी या नहीं ? इस पर शिक्षा मंत्री के स्तर पर मंथन किया जा रहा है. हालांकि, अब तक इस राज्य आधारित शिक्षण परीक्षा के माध्यम से सरकारी स्कूलों में तृतीय श्रेणी लेवल 1 और लेवल 2 के शिक्षक मिलते आए हैं. ये शिक्षक राज्य के प्राथमिक और उच्च प्राथमिक कक्षाओं में पढ़ाने का काम करते हैं.
हालांकि, रीट एक पात्रता परीक्षा है. इसमें सफल होने वाले अभ्यर्थियों को मुख्य परीक्षा से भी गुजरना होता है. जबकि इससे पहले उन्हें बीएड और बीएड के लिए पीटीईटी एग्जाम भी फाइट करना होता है. जिसमें करीब 5 वर्ष का समय लग जाता है. इसी को ध्यान में रखते हुए अब प्रदेश के शिक्षा मंत्री मदन दिलावर शिक्षक भर्ती प्रक्रिया को सरल बनाने की प्लानिंग कर रहे हैं.
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हाल ही में ईटीवी भारत से बातचीत में शिक्षा मंत्री मदन दिलावर ने कहा था कि नए शिक्षकों की भर्ती के लिए एक ही कंपटीशन एग्जाम कराया जाएगा और ये एग्जाम भी बीएड से पहले ही कराया जाएगा, ताकि युवाओं के 5 साल बेकार न हो. इस कंपटीशन एग्जाम में सफल रहने वाले बीएड डिग्रीधारी अभ्यर्थियों को सीधे नौकरी दी जाएगी, जबकि जिन सफल अभ्यर्थियों ने बीएड नहीं किया हुआ है, उन्हें एक सर्टिफिकेट देते हुए बीएड करने का समय दिया जाएगा. इससे शिक्षकों के चयन प्रक्रिया सरल होगी और उनका समय भी व्यर्थ नहीं होगा.
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शिक्षा मंत्री के बयान के बाद रीट होगी या नहीं ? इस पर असमंजस की स्थिति बनी हुई है. फिलहाल, इस पर लीगल राय ली जाएगी और मंत्रीमंडल की समिति बनने के बाद उसमें भी विचार किया जाएगा, ताकि इस नई प्रक्रिया को नियमों का उल्लंघन बताते हुए कोई कोर्ट स्टे ना लाए.