कानपुर : होली का त्यौहार बीत जरूर गया है, लेकिन कानपुर में खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन विभाग के अफसर उतना ही मुस्तैद हैं, जितना किसी पर्व या आयोजन पर वह रहते हैं. मंगलवार को इसकी बानगी तब दिखी, जब अफसरों की टीम ने कानपुर में बाबा बिरयानी के कई दुकानों पर छापेमारी की. टीम के सदस्यों को बाबा स्वीट्स चमनगंज में जहां खोये की बर्फी में मानक पूरे नहीं मिले. बाबा स्वीट्स के बजरिया थाना क्षेत्र के तीन अन्य प्रतिष्ठानों में चिकन बिरयानी, गरम मसाला व घी के नमूने भी मानक के विपरीत मिले. ऐसे में उक्त विभाग के अफसरों की ओर से एक-एक लाख रुपये का जुर्माना लगाते हुए कुल चार लाख रुपये जुर्माना की कार्रवाई की गई. सहायक आयुक्त खाद्य द्वितीय विजय प्रताप सिंह ने बताया कि बाबा बिरयानी स्वीट्स के कई ठिकानों पर सैंपल लिए गए थे. जिनमें मानक पूरे न होने पर विभागीय कार्रवाई की गई है.
परेड हिंसा में बाबा बिरयानी के मालिक का नाम आया था सामने : शहर में लगभग दो साल पहले जब परेड चौराहा पर हिंसा हुई थी तो उस हिंसा के दौरान बाबा बिरयानी के मालिक मुख्तार बाबा का नाम सामने आया था. कमिश्नरेट पुलिस की ओर से जो कार्रवाई की गई थी, उसमें मुख्तार बाबा के खिलाफ हिंसा में शामिल होने के साक्ष्य भी मिले थे. जिसके क्रम में कार्रवाई करते हुए कमिश्नरेट पुलिस के अफसरों ने बाबा बिरयानी के मालिक मुख्तार बाबा को जेल भी भेजा था. हालांकि बाद में मुख्तार बाबा को जमानत मिल गई थी और फिर उसने अपने कारोबार पर ही अपना सारा फोकस कर लिया था. मुख्तार बाबा पर परेड हिंसा में आरोपियों को फंडिंग करने का मुख्य रूप से आरोप लगा था.
खाद्य पदार्थों में मिले थे हानिकारक केमिकल : बाबा स्वीट्स हाउस (बिरयानी) स्वरूप नगर में पूर्व डीएम विशाख जी ने जब खाद्य एवं औषधि सुरक्षा प्रशासन के अफसरों को भेजा था और वहां से जो सैंपल लिए गए थे उसकी जांच रिपोर्ट में बात सामने आई थी कि उन सैंपल में हानिकारक केमिकल भी शामिल थे. इसके बाद ही पूर्व डीएम ने कार्रवाई करते हुए बाबा स्वीट्स (बिरयानी) के स्वरूप नगर वाले आउटलेट को बंद कर दिया था.
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