अलीगढ़ : अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी (एएमयू) में शुक्रवार को छात्र संघ चुनाव को लेकर छात्रों ने प्रेसवार्ता का आयोजन किया. इस दौरान छात्रों ने छात्र संघ चुनाव नहीं कराए जाने के संबंध में विश्वविद्यालय प्रशासन की ओर से लगाए गए आरोपों को लेकर आपत्ति जताई. छात्रों ने बिना चुनाव के ही साल 2019 से लेकर 2025 तक छात्र संघ फंड से किए गए खर्च पर भी सवाल उठाया है. उन्होंने कहा कि पिछले 6 वर्षों से अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी प्रशासन छात्र संघ चुनाव नहीं करवा रहा है, जिसके खिलाफ इलाहाबाद हाईकोर्ट में याचिका दायर की गई थी. उन्होंने आरोप लगाया कि छात्रों को बदनाम करने की कोशिश की जा रही है.
छात्र सैयद कैफ हसन ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि 9 जनवरी को इलाहाबाद हाईकोर्ट में सुनवाई थी जो नहीं हो पाई. उन्होंने कहा कि यूनिवर्सिटी प्रशासन की ओर से अगले साल छात्र संघ चुनाव कराने की बात कही गई है और छात्रों पर भी कुछ आरोप लगाए गए हैं जिस पर हमें आपत्ति है. उन्होंने आरोप लगाते हुए बताया कि पिछले 6 साल से चुनाव नहीं हुए हैं उसके बावजूद भी जो छात्र अपनी फीस में 120 और 200 जमा करते हैं, उस फंड को भी यूनिवर्सिटी प्रशासन ने खर्च कर लिया है. उन्होंने कहा कि प्रशासन ने यह बात मानी है कि हर साल छात्र संघ के छात्रों के फंड आता है जिसको हम खर्च कर रहे हैं. प्रेसवार्ता के दौरान उन्होंने बताया कि साल 2019 से लेकर 2025 तक छात्र संघ फंड के कुल 13628256 में से 1318990 खर्च कर चुके हैं. बिना छात्र संघ के विवि प्रशासन ने छात्रों का पैसा क्यों खर्च किया और कहां खर्च किया? जिसके बाद यूनिवर्सिटी प्रशासन का एक बड़ा सवाल खड़ा होता है.
छात्र अहमद फरीदी ने बताया कि यूनिवर्सिटी प्रशासन ने हलफनामें कहा है कि 'छात्र संघ चुनाव होने से छात्र यूनिवर्सिटी का माहौल खराब करते हैं और राजनीति करते हैं.' उन्होंने कहा कि यूनिवर्सिटी प्रशासन को इस तरह छात्रों पर इल्जाम नहीं लगना चाहिए, उनको कटघरे में खड़ा नहीं करना चाहिए, सोचना चाहिए.