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IAS अधिकारी के बेटे का फर्जी बर्थ सर्टिफिकेट मामलाः बीजेपी ने उठाए सवाल, सीएम से एक्शन की मांग - FAKE BIRTH CERTIFICATE

झारखंड के आईएएस अधिकारी के बेटे का फर्जी बर्थ सर्टिफिकेट मामले पर राजनीतिक बयानबाजी तेज है.

Political rhetoric on fake birth certificate case of son of IAS officer of Jharkhand
रांची में भाजपा की प्रेस वार्ता (Etv Bharat)
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By ETV Bharat Jharkhand Team

Published : Jan 23, 2025, 7:56 PM IST

रांची: झारखंड के एक आईएएस द्वारा अपने बेटे के नाम पर रांची नगर निगम से तीन-तीन बर्थ सर्टिफिकेट जारी करवाए जाने का मामला तूल पकड़ता जा रहा है. इस मामले में हालांकि रांची नगर निगम द्वारा एक ही सर्टिफिकेट को वैध करार देते हुए दो सर्टिफिकेट को रद्द किया जा चुका है.

रांची नगर निगम के इस कार्रवाई के बाद बीजेपी ने सवाल खड़ा करते हुए सरकार से उस आईएएस के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है. बीजेपी प्रदेश प्रवक्ता अजय साह ने मुख्यमंत्री से इस मामले की जांच कराकर उक्त आईएएस के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग की है. अजय साह ने संविधान के आर्टिकल 14 जो समानता का अधिकार से जुड़ा है. इसका हवाला देते हुए कहा कि क्या झारखंड में एक आईएएस के लिए अलग कानून है और आम लोगों के लिए अलग नियम जो इस तरह का कृत्य किया जा रहा है.

भाजपा नेता का बयान (ETV Bharat)

भाजपा नेता अजय साह ने उक्त आईएएस के बेटे के नाम से जारी तीनों बर्थ सर्टिफिकेट को मीडियाकर्मियों के सामने रखते हुए कहा कि पहला बर्थ सर्टिफिकेट में बर्थ डेट है 13 अक्टूबर 2013, दूसरा बर्थ सर्टिफिकेट में है बर्थडे 13 अक्टूबर 2015 और तीसरा सर्टिफिकेट में बर्थडे 10 अक्टूबर 2017 है. अजय साह ने सवाल खड़ा करते हुए कहा कि नगर निगम ने आखिर किस बर्थडे सर्टिफिकेट को मान्यता दी है, 2013 का या 2015 का या 10 अक्टूबर 2017 का.

उन्होंने कहा कि कानून के राज का खुलेआम मजाक उड़ाया जा रहा है. आम जनता और बड़े अधिकारियों के लिए अलग-अलग कानून लागू किया जा रहे हैं. यदि ऐसा फर्जीवाड़ा किसी सामान्य व्यक्ति ने किया होता तो नगर निगम उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई करता लेकिन चूंकि यह मामला एक बड़े अधिकारी से जुड़ा है. इसलिए निगम का रवैया नरम दिखाई दे रहा है.

सीजीएल परीक्षा पर जेएमएम के आरोप पर बीजेपी का पलटवार

सीजीएल परीक्षा प्रश्न पत्र लीक मामले में झारखंड मुक्ति मोर्चा के द्वारा भारतीय जनता पार्टी पर लगाए गए आरोप पर पलटवार करते हुए अजय साह ने कहा कि किसी भाजपा नेता की इसमें संलिप्त है तो ठोस सबूत पेश किया जाए ना कि मनगढ़ंत आरोप लगाया जाएं. अगर झामुमो के अनुसार छात्रों के साथ खड़ा होना उन्हें गुमराह करना माना जाता है तो भाजपा इस तरह का गुमराह अगले 5 साल तक करती रहेगी.

इसे भी पढ़ें- IAS पुत्र के नाम जारी तीन जन्म प्रमाण पत्र विवाद, झारखंड सरकार ने दी सफाई, भाजपा ने की थी जांच की मांग

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रांची नगर निगम के इस कार्रवाई के बाद बीजेपी ने सवाल खड़ा करते हुए सरकार से उस आईएएस के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है. बीजेपी प्रदेश प्रवक्ता अजय साह ने मुख्यमंत्री से इस मामले की जांच कराकर उक्त आईएएस के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग की है. अजय साह ने संविधान के आर्टिकल 14 जो समानता का अधिकार से जुड़ा है. इसका हवाला देते हुए कहा कि क्या झारखंड में एक आईएएस के लिए अलग कानून है और आम लोगों के लिए अलग नियम जो इस तरह का कृत्य किया जा रहा है.

भाजपा नेता का बयान (ETV Bharat)

भाजपा नेता अजय साह ने उक्त आईएएस के बेटे के नाम से जारी तीनों बर्थ सर्टिफिकेट को मीडियाकर्मियों के सामने रखते हुए कहा कि पहला बर्थ सर्टिफिकेट में बर्थ डेट है 13 अक्टूबर 2013, दूसरा बर्थ सर्टिफिकेट में है बर्थडे 13 अक्टूबर 2015 और तीसरा सर्टिफिकेट में बर्थडे 10 अक्टूबर 2017 है. अजय साह ने सवाल खड़ा करते हुए कहा कि नगर निगम ने आखिर किस बर्थडे सर्टिफिकेट को मान्यता दी है, 2013 का या 2015 का या 10 अक्टूबर 2017 का.

उन्होंने कहा कि कानून के राज का खुलेआम मजाक उड़ाया जा रहा है. आम जनता और बड़े अधिकारियों के लिए अलग-अलग कानून लागू किया जा रहे हैं. यदि ऐसा फर्जीवाड़ा किसी सामान्य व्यक्ति ने किया होता तो नगर निगम उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई करता लेकिन चूंकि यह मामला एक बड़े अधिकारी से जुड़ा है. इसलिए निगम का रवैया नरम दिखाई दे रहा है.

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सीजीएल परीक्षा प्रश्न पत्र लीक मामले में झारखंड मुक्ति मोर्चा के द्वारा भारतीय जनता पार्टी पर लगाए गए आरोप पर पलटवार करते हुए अजय साह ने कहा कि किसी भाजपा नेता की इसमें संलिप्त है तो ठोस सबूत पेश किया जाए ना कि मनगढ़ंत आरोप लगाया जाएं. अगर झामुमो के अनुसार छात्रों के साथ खड़ा होना उन्हें गुमराह करना माना जाता है तो भाजपा इस तरह का गुमराह अगले 5 साल तक करती रहेगी.

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