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बैंक लॉकर से लाखों के गहने गायब, पुलिस ने किया मुकदमा दर्ज - DEHRADUN JEWELERY MISSING CASE

बैंक के लॉकर से लाखों रुपए के गहने चोरी होने का मामला सामना आया है. शिकायत के बाद पुलिस मामले की जांच कर रही है.

Jewellery missing from bank locker
देहरादून में बैंक के लॉकर से ज्वैलरी गायब (Photo-ETV Bharat)
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By ETV Bharat Uttarakhand Team

Published : Jan 24, 2025, 8:44 AM IST

देहरादून: कोतवाली डालनवाला क्षेत्र के अंतर्गत एक की मुख्य शाखा के लॉकर में रखे लाखों रुपए के सोने और चांदी के गहने गायब हो गए. बुजुर्ग महिला के बेटे द्वारा जब अपने गहने के लिए बैंक के चक्कर काटे तो उनको गहने नहीं दिए गए. बुजुर्ग महिला ने एसएसपी को शिकायत की है. एसएसपी के निर्देश पर कोतवाली डालनवाला में वर्तमान शाखा प्रबंधक, क्षेत्रीय प्रबंधक, अन्य सहकर्मी और पूर्व प्रबंधक के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया है. जिसके बाद पुलिस मामले की जांच कर रही है.

86 वर्षीय सुशीला देवी निवासी घोसी गली ने एसएसपी को शिकायत दर्ज कराई है कि साल 1995 में एक बैंक की ओल्ड सर्वे रोड पर स्थित मुख्य शाखा में अपने और अपने बेटे अनूप कुमार के नाम से बचत खाता खोलने के लिए संपर्क किया था. बैंक कर्मचारियों ने उन्हें बताया था कि लॉकर की सुविधा ले लीजिए, इसमें उनके गहने सुरक्षित रहेंगे. हामी भरने के बाद उन्हें लोकल नंबर 38 दिया गया और एक चाबी भी दी गई.

साल 1995 में से साल 2018 के बीच उन्होंने पूर्व प्रबंधक के सामने गहने और अन्य दस्तावेज लॉकर में रखे. इस दौरान पीड़िता लगातार लॉकर का संचालन करती रही और वर्तमान में लॉकर में करीब 55 लाख रुपए के सोने के गहने और एक लाख रुपए के चांदी के गहने रखे थे. पीड़िता की अधिक उम्र होने के कारण वह साल 2018 के बाद लॉकर का संचालन नहीं कर पाई. 26 नवंबर 2024 को उनका बेटा अनूप कुमार जो की खाते में सहखाताधारक है, बैंक पहुंचा तो वर्तमान बैंक अधिकारी ने उन्हें बताया कि उनके नाम के लॉकर नंबर 38 को साल 2022 में बैंक के पूर्व कर्मचारियों ने तोड़ दिया है.

अनूप कुमार ने बिना पूर्व सूचना के लॉकर तोड़ने के कारण पूछा तो बैंक कर्मचारियों ने कहा कि आज शाखा प्रबंधक नहीं है और जेवर पूरी तरह से सुरक्षित है. लॉकर बैंक प्रबंधक, बैंक अधिवक्ता, बैंक का जेवरात का मूल्यांकन करने वाले अधिकृत व्यक्ति और दो स्वतंत्र व्यक्तियों के सामने तोड़ा गया. जिसका चालान बनाकर सुरक्षित रखा गया है और अगले दिन आकर अपने जेवरात ले जाना.

27 नवंबर को अनूप कुमार दोबारा बैंक पहुंचे और शाखा प्रबंधक, क्षेत्रीय बैंक अधिकारी और अन्य बैंक कर्मचारियों से अपने गहनों के बारे में पूछा तो उन्होंने 28 नवंबर को आने को कहा. जब बैंक अधिकारियों से लॉकर तोड़ने की बैंक पत्रावली दिखाने के लिए कहा तो उसे फाइल ना दिखाकर शाखा से निकाल दिया. 29 नवंबर को जब है फिर बैंक गए तो बैंक अधिकारियों ने गहने ना होने की बात कही.

साथ ही कहा कि उनके गहने चोरी हो चुके हैं. उसके बाद पीड़िता ने 12 दिसंबर 2024 को बैंक अधिकारियों को कानूनी नोटिस भेजा गया, लेकिन उन्होंने कोई उत्तर नहीं दिया. कोतवाली डालनवाला प्रभारी मनोज मैनवाल ने बताया है कि पीड़िता की तहरीर के आधार पर मोहित कुमार वर्तमान शाखा प्रबंधक बैंक ऑफ बड़ौदा, अरविंद जोशी क्षेत्रीय प्रबंधक और अन्य सहकर्मी समेत पूर्व प्रबंधन के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया गया है. पुलिस मामले की जांच कर रही है.
पढ़ेंः पत्नी के शौक पूरे करने के लिए चोर बन गया पांचवी पास युवक, मास्टर चाबी को बनाया 'हथियार'

देहरादून: कोतवाली डालनवाला क्षेत्र के अंतर्गत एक की मुख्य शाखा के लॉकर में रखे लाखों रुपए के सोने और चांदी के गहने गायब हो गए. बुजुर्ग महिला के बेटे द्वारा जब अपने गहने के लिए बैंक के चक्कर काटे तो उनको गहने नहीं दिए गए. बुजुर्ग महिला ने एसएसपी को शिकायत की है. एसएसपी के निर्देश पर कोतवाली डालनवाला में वर्तमान शाखा प्रबंधक, क्षेत्रीय प्रबंधक, अन्य सहकर्मी और पूर्व प्रबंधक के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया है. जिसके बाद पुलिस मामले की जांच कर रही है.

86 वर्षीय सुशीला देवी निवासी घोसी गली ने एसएसपी को शिकायत दर्ज कराई है कि साल 1995 में एक बैंक की ओल्ड सर्वे रोड पर स्थित मुख्य शाखा में अपने और अपने बेटे अनूप कुमार के नाम से बचत खाता खोलने के लिए संपर्क किया था. बैंक कर्मचारियों ने उन्हें बताया था कि लॉकर की सुविधा ले लीजिए, इसमें उनके गहने सुरक्षित रहेंगे. हामी भरने के बाद उन्हें लोकल नंबर 38 दिया गया और एक चाबी भी दी गई.

साल 1995 में से साल 2018 के बीच उन्होंने पूर्व प्रबंधक के सामने गहने और अन्य दस्तावेज लॉकर में रखे. इस दौरान पीड़िता लगातार लॉकर का संचालन करती रही और वर्तमान में लॉकर में करीब 55 लाख रुपए के सोने के गहने और एक लाख रुपए के चांदी के गहने रखे थे. पीड़िता की अधिक उम्र होने के कारण वह साल 2018 के बाद लॉकर का संचालन नहीं कर पाई. 26 नवंबर 2024 को उनका बेटा अनूप कुमार जो की खाते में सहखाताधारक है, बैंक पहुंचा तो वर्तमान बैंक अधिकारी ने उन्हें बताया कि उनके नाम के लॉकर नंबर 38 को साल 2022 में बैंक के पूर्व कर्मचारियों ने तोड़ दिया है.

अनूप कुमार ने बिना पूर्व सूचना के लॉकर तोड़ने के कारण पूछा तो बैंक कर्मचारियों ने कहा कि आज शाखा प्रबंधक नहीं है और जेवर पूरी तरह से सुरक्षित है. लॉकर बैंक प्रबंधक, बैंक अधिवक्ता, बैंक का जेवरात का मूल्यांकन करने वाले अधिकृत व्यक्ति और दो स्वतंत्र व्यक्तियों के सामने तोड़ा गया. जिसका चालान बनाकर सुरक्षित रखा गया है और अगले दिन आकर अपने जेवरात ले जाना.

27 नवंबर को अनूप कुमार दोबारा बैंक पहुंचे और शाखा प्रबंधक, क्षेत्रीय बैंक अधिकारी और अन्य बैंक कर्मचारियों से अपने गहनों के बारे में पूछा तो उन्होंने 28 नवंबर को आने को कहा. जब बैंक अधिकारियों से लॉकर तोड़ने की बैंक पत्रावली दिखाने के लिए कहा तो उसे फाइल ना दिखाकर शाखा से निकाल दिया. 29 नवंबर को जब है फिर बैंक गए तो बैंक अधिकारियों ने गहने ना होने की बात कही.

साथ ही कहा कि उनके गहने चोरी हो चुके हैं. उसके बाद पीड़िता ने 12 दिसंबर 2024 को बैंक अधिकारियों को कानूनी नोटिस भेजा गया, लेकिन उन्होंने कोई उत्तर नहीं दिया. कोतवाली डालनवाला प्रभारी मनोज मैनवाल ने बताया है कि पीड़िता की तहरीर के आधार पर मोहित कुमार वर्तमान शाखा प्रबंधक बैंक ऑफ बड़ौदा, अरविंद जोशी क्षेत्रीय प्रबंधक और अन्य सहकर्मी समेत पूर्व प्रबंधन के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया गया है. पुलिस मामले की जांच कर रही है.
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