पटना : आजकल लोग कई तरह की बीमारियों से जूझ रहे हैं. खासकर उम्र ढलने पर लोगों को जोड़ों के दर्द से रूबरू होना पड़ता है. यही नहीं कई बच्चे भी इससे ग्रसित हैं. लोग इलाज कराकर थक जाते हैं, पर परेशानी दूर नहीं होती है. ऐसे में बिहार के डॉक्टर रजनीश कांत हड्डी चटकाकर शरीर का दर्द दूर कर देते हैं.
राजनीतिक गलियारों से फिल्मी दुनियां तक बोलबाला : काइरोप्रैक्टर डॉक्टर रजनीश कांत अब तक हजारों लोगों को दर्द की समस्या से उबार चुके हैं. इसमें आरजेडी सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव से लेकर फिल्म एक्टर पंकज त्रिपाठी तक शामिल हैं. तेजस्वी यादव भी रजनीश कांत के यहां पहुंच चुके हैं. मतलब राजनीतिक गलियारों से लेकर फिल्मी दुनियां तक रजनीश का बोलबाला है.
वर्ल्ड बुक ऑफ रिकॉर्ड्स सम्मानित हुए रजनीश : डॉक्टर रजनीश कांत की प्रसिद्धि विदेशों तक है. तभी तो उन्हें लंदन में वर्ल्ड बुक ऑफ रिकॉर्ड्स सम्मानित किया गया है. रजनीश कांत इस अवर्ड को पाकर काफी खुश हैं. उनका कहना है कि बिहार सरकार को भी इस पद्धति की शिक्षा की ओर ध्यान देने की जरूरत है.
''जब मुझे पता चला कि लंदन जाना है और ब्रिटिश पार्लियामेंट में अवार्ड लेना है, तो उस वक्त एक अलग ही अनुभव महसूस हुआ. उस पल को शब्दों में बयां नहीं किया जा सकता है. आरा के एक छोटे से गांव बेगमपुर से निकलकर जब हम इस मुकाम तक पहुंच सकते हैं तो कई बिहारी इस उपलब्धि को पा सकते हैं.''- डॉक्टर रजनीश कांत, काइरोप्रैक्टर
दर्द से हैं परेशान तो रजनीश कांत के पास है इलाज : अब सवाल उठता है कि आखिर डॉक्टर रजनीश कांत किस तरह बीमारी को ठीक करते हैं कि विदेश तक डंका बजा है. इसके बारे में वह खुद बताते हैं कि जब लोग हर जगह से थक जाते हैं तो मेरे पास आते हैं. चाहे दर्द कैसा भी हो, एक बार सर्जरी से पहले मुझसे मिलें उनका इलाज हो सकता है और वो ठीक हो सकते हैं. नेक पेन, बैक पेन, ज्वाइंट पेन, डिस्क इंजरी, कंधा दर्द, स्पांडिलाइसिस के मरीज रजनीश के पास पहुंचते हैं.
''हमारा इलाज बिना दवा और सर्जरी का होता है. नस के माध्यम से हम इलाज को करते हैं. इस तकनीक में रीढ़ की हड्डियों में आए अंतर को सेट करते हैं, जिससे मरीजों को जोड़ों के दर्द से तुरंत राहत मिलती है. यही नहीं इस तकनीक से इलाज करने पर मरीजों को कोई साइड इफेक्ट भी नहीं होता है.''- डॉक्टर रजनीश कांत, काइरोप्रैक्टर
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