नई दिल्ली: राजधानी के नामी सफदरजंग अस्पताल ने न्यू इमरजेंसी विभाग की शुरुआत हुई है. पांच साल में इमरजेंसी के 25 फीसदी मरीजों की संख्या बढ़ने से मरीजों का दबाव बढ़ गया था जिसके बाद नई इमरजेंसी बनाई गई. इससे यहां इलाज के लिए आने वाले मरीजों के इलाज में आसानी होगी. क्रिटिकल मरीजों को प्राथमिकता दी जाएगी.
अस्पताल की चिकित्सा अधीक्षक डॉ. वंदना तलवार ने बताया कि बीते 5 साल में सफदरजंग अस्पताल के इमरजेंसी में आने वाले मरीजों की संख्या 25 फीसदी बढ़ गई है. अभी हर दिन 1500-2000 मरीजों का यहां इलाज हो रहा है. ये रोगी प्रवाह को सुव्यवस्थित करेगा और गंभीर मामलों को प्राथमिकता देगा, त्वरित और कुशल आपातकालीन देखभाल सुनिश्चित करेगा.
स्पेशलाइज्ड इमरजेंसी सेवा की शुरुआत के बाद पहले से मौजूद इमरजेंसी विभाग से मरीजों का दबाव थोड़ा कम होगा. जिससे मरीज और डॉक्टर दोनों को सुविधा होगी. इसी के मद्देनजर सफदरजंग अस्पताल में इमरजेंसी मेडिसीन विभाग शुरू किया गया. उद्घाटन के अवसर पर वर्द्धमान महावीर मेडिकल कॉलेज की प्रिंसिपल डॉ. गीतिका खन्ना और अतिरिक्त एमएस, डॉ. पी.एस.भाटिया भी मौजूद रहे
मरीजों को मिल सकेगा गुणवत्तापूर्ण इलाज : डॉ तलवार ने विश्व आपातकाल दिवस पर विशेष आपातकाल विभाग की शुरुआत के अवसर पर इसकी गुणवत्ता के महत्व बात की और बताया कि इस नई इमरजेंसी के आने के बाद स्वास्थ्य देखभाल बेहतर हो सकेगी, मरीज़ जल्दी ठीक हो सकेंगे और बेहतर इलाज मिल सकेगा. बुनियादी ढांचे के साथ-साथ इंजेक्शन और दवा वितरण काउंटर, प्वाइंट ऑफ केयर लैब सेवाएं और आपातकाल में ही सुपरस्पेशलिटी सेवाओं की उपलब्धता से मरीजों को गुणवत्तापूर्ण इलाज मिल सकेगा.
अतिरिक्त एमएस, डॉ. पी.एस. ने कहा कि त्वरित जांच और प्रबंधन उपकरणों की सुविधाओं के साथ रोगियों के सुचारू प्रवाह से रोगी देखभाल के परिणाम में सुधार होगा. उन्होंने यह भी उल्लेख किया कि ट्रॉली, व्हीलचेयर, मॉनिटर और पोर्टेबल अल्ट्रासाउंड मशीनों के संदर्भ में बेहतर बुनियादी ढांचे से रोगी की देखभाल में काफी मदद मिलेगी.
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