रायपुर: छत्तीसगढ़ में राष्ट्रीय लोक अदालत के तहत 230 करोड़ रुपये से अधिक के 9 लाख से अधिक मामलों का निपटारा किया गया है. इस बात की जानकारी रविवार को छत्तीसगढ़ राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण के अधिकारियों ने मीडिया को दी है. प्राधिकरण की तरफ से जारी बयान में कहा गया है कि इस साल छत्तीसगढ़ में तीसरी राष्ट्रीय लोक अदालत लगाई गई. इसमें तालुका अदालतों से लेकर उच्च न्यायालय तक न्याय सुलभ और तेज गति से हुआ.
छत्तीसगढ़ उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश भी जुड़े: राष्ट्रीय लोक अदालत के तहत शनिवार को पूरे राज्य में लोक अदालत का आयोजन किया गया. इसमें छत्तीसगढ़ उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश और सीजीएसएलएसए के मुख्य संरक्षक रमेश सिन्हा भी जुड़े. हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस न्यायिक अधिकारियों का मनोबल बढ़ाने के लिए बिलासपुर जिला मुख्यालय स्थित उच्च न्यायालय परिसर से सभी 23 जिला न्यायालयों से वर्चुअली जुड़े
लोक अदालत में कितने केसों की हुई सुनवाई: शनिवार को राष्ट्रीय लोक अदालत में कम से कम 10,10,095 मामलों की सुनवाई की गई. इसमें 9,00,513 मामलों, जिनमें मुकदमे से पहले के और लंबित मामले शामिल थे. उन केसों का निपटारा किया गया है. इन केसों के तहत 230 करोड़ रुपये से अधिक के सेटलमेंट किए गए. इन मामलों में श्रम विवाद, मोटर दुर्घटना दावे, चेक अनादर के मामले, सिविल मामले, भूमि अधिग्रहण, याचिका सौदे, आपराधिक समझौता योग्य अपराध से जुड़े केस शामिल थे.
अन्य केसों का भी हुआ निपटारा: राष्ट्रीय लोक अदालत में मध्यस्थता और वैवाहिक मामले और बिजली और पानी के बिल से संबंधित मुद्दे शामिल थे. छत्तीसगढ़ राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण की तरफ से जारी विज्ञप्ति में कहा है कि सुकमा जिले में, जहां क्षेत्र में बाढ़ के कारण वादियों को अदालत परिसर तक पहुंचने में कठिनाइयों का सामना करना पड़ा वहां वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए सुनवाई हुई. बिलासपुर में सबसे अधिक 1,93,203 केसों का निपटारा हुआ. उसके बाद बेमेतरा जिले में सबसे ज्यादा 59 करोड़ रुपये से अधिक की समझौता राशि दी गई.