जबलपुर। नर्मदा जयंती के मौके पर जबलपुर में नर्मदा के घाटों पर लाखों लोगों ने नर्मदा स्नान और मां नर्मदा के दर्शन किये. जबलपुर में मध्य प्रदेश सरकार के मंत्री कैलाश विजयवर्गीय, विश्वास सारंग और राकेश सिंह ने नर्मदा पूजन किया. राकेश सिंह ने कहा की नर्मदा किनारे पैदल चलकर परिक्रमा करने वालों के लिए बनाया जाएगा नर्मदा पथ और गंदे नालों को रोकने की भी व्यवस्था की जायेगी.
5 लाख से ज्यादा लोग पहुंचे नर्मदा के ग्वारीघाट
जबलपुर में शुक्रवार को नर्मदा जयंती के मौके पर ग्वारीघाट में बड़ा धार्मिक आयोजन किया गया. एक अनुमान के तहत ग्वारीघाट पर नर्मदा दर्शन और स्नान के लिए 5 लाख से ज्यादा लोग पहुंचे. इसके लिए प्रशासन ने पहले से ही बड़ी कड़ी सुरक्षा व्यवस्था कर रखी थी. सुबह मध्य प्रदेश सरकार के लोक निर्माण मंत्री राकेश सिंह ने नर्मदा पूजन किया. सिंह के साथ कई साधु संत भी पूजा पाठ में शामिल हुए.
नर्मदा में नहीं मिलेंगे गंदे नाले
राकेश सिंह ने एक बार फिर दोहराया कि नर्मदा नदी में अभी भी कई गंदे नाले मिल रहे हैं और सरकार इस विषय में गंभीर है. मुख्यमंत्री ने बीते दिनों इस मुद्दे पर मंत्रियों की बैठक भी ली थी और इसमें एक रणनीति बनाई गई है. इससे जल्द ही नर्मदा में मिलने वाले नालों को या तो बंद किया जाएगा या फिर उनके पानी को साफ करके ही नर्मदा में जाने दिया जाएगा.
नर्मदा किनारे बनाया जाएगा परिक्रमा पथ
राकेश सिंह का कहना है कि भारत में केवल नर्मदा ही एक मात्र ऐसी नदी है जिसकी परिक्रमा की जाती है और बड़े पैमाने पर लोग पदयात्रा कर नर्मदा की परिक्रमा करते हैं. इसलिए सरकार इस विषय में भी सोच रही है कि नर्मदा के दोनों तरफ एक परिक्रमा पथ बनाया जाए. इस पथ को केवल पैदल चलने वाले लोगों के लिए ही डिजाइन किया जाएगा. इस पर गाड़ियां नहीं चल पाएंगी. हालांकि, राकेश सिंह का कहना है कि अभी यह बात केवल चर्चा में है. इसको लेकर कोई डीपीआर तैयार नहीं हुआ है, क्योंकि यह बड़ी परियोजना है. राकेश सिंह का कहना है कि वह जल्द ही इस मामले में सरकार से चर्चा करके इस काम को करवाएंगे.
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जबलपुर के ग्वारीघाट में इस बार किसी को भी भंडारा करने की अनुमति नहीं दी गई है. भंडारा के लिए अलग से स्थल बनाया गया है, ताकि घाट पर गंदगी ना हो. वहीं, दूसरी तरफ कोई भी नर्मदा के घाटों पर पटाखे नहीं चलाएगा. इसके साथ ही किसी भी वीआईपी तक की गाड़ी को नर्मदा के किनारे तक जाने की अनुमति नहीं है. नर्मदा जयंती के मौके पर नर्मदा नदी में आर-पार एक चुनरी भी चढ़ाई गई.