नैनीताल: हल्द्वानी के बनभूलपुरा में सरकारी भूमि पर निर्मित अवैध मदरसा और नमाज स्थल हटाने के दौरान हुई घटना में दो लोगों की मौत व घायल लोगों को मुआवजा दिलाए जाने के मामले पर नैनीताल हाईकोर्ट ने स्वतः संज्ञान लेकर सुनवाई की. मामले की सुनवाई करने के बाद मुख्य न्यायाधीश रितु बाहरी और न्यायमूर्ति राकेश थपलियाल की खंडपीठ ने नैनीताल जिलाधिकारी व एसएसपी से दस दिन के भीतर मामले में अपना जवाब पेश करने के आदेश दिए हैं. अब मामले की अगली सुनवाई दस दिन के बाद होगी.
दरअसल, नैनीताल हाईकोर्ट ने जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के 19 फरवरी 2024 के पत्र का स्वतः संज्ञान लिया है. इस मामले में जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के पास हिंसा के दौरान मृतक और घायलों को मुआवजा देने को लेकर प्रार्थना पत्र दिया गया था. जिसमें कहा गया था कि घटना के समय दो लोगों की मौके पर ही मौत हो गई थी. जबकि, दो लोगों को गंभीर हालत में अस्पताल में भर्ती कराया गया. इस घटना के बाद दो मृतकों के परिवारों पर रोजी रोटी का संकट खड़ा हो गया है.
लिहाजा, उनके परिजनों को सरकार की 2020 नियमावली के तहत मुआवजा दिलाया जाए. इसके अलावा गंभीर रूप से घायल लोगों को भी मुआवजा दिया जाए. जिस पर कोर्ट ने नैनीताल डीएम वंदना सिंह और एसएसपी प्रह्लाद नारायण मीणा को निर्देश दिए हैं कि इस पर वो अपना जवाब पेश करें. गौर हो कि बीती 8 फरवरी को हल्द्वानी के बनभूलपुरा में मलिक का बगीचा से अतिक्रमण हटाने के दौरान बवाल हो गया. जो आगजनी से लेकर फायरिंग तक पहुंची. इस घटना ने देश विदेश में सुर्खियां बटोरी थी.
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