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सार्वजनिक अवकाश के बाद भी खुला रहा एमपीजी कॉलेज, जानिये वजह - SANT RAVIDAS JAYANTI 2025

मसूरी में संत रविदास जयंती पर अवकाश के बाद भी मसूरी एमपीजी कॉलेज खोला गया है. इस पर दलित समुदाय ने नाराजगी जाहिर की है.

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मसूरी एमपीजी कॉलेज में ओपन यूनिवर्सिटी के पेपर आयोजित (photo- ETV Bharat)
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By ETV Bharat Uttarakhand Team

Published : Feb 12, 2025, 9:14 PM IST

मसूरी: मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के निर्देश पर शासन ने संत रविदास जयंती के अवसर पर सार्वजनिक अवकाश घोषित किया था. जिसके तहत सचिवालय एवं कोषागार को छोड़ राज्य सरकार के सभी कार्यालयों, संस्थानों व शैक्षणिक संस्थानों में अवकाश रहा, लेकिन मसूरी एमपीजी कॉलेज में मुख्यमंत्री के निर्देशों का पालन नहीं किया गया.

दरअसल कॉलेज प्रशासन ने कॉलेज को आज खोला था और पूरे स्टाफ को कार्य के लिए बुलाया गया था. पहले से निर्धारित ओपन यूनिवर्सिटी के तीन पेपरों को आयोजित करवाया गया. साथ ही हिस्ट्री विषय का वायवा भी कराया गया. साथ ही ओएनजीसी द्वारा दिए गए 20 कंप्यूटर को कॉलेज के कंप्यूटर लैब में स्थापित कराया गया. इस पर दलित समुदाय के लोगों ने विरोध जताया है.

सार्वजनिक अवकाश के बाद भी खुला रहा एमपीजी कॉलेज (VIDEO-ETV Bharat)

मसूरी में रविदास जयंती के अवसर सरकार द्वारा सार्वजनिक अवकाश घोषित होने के बावजूद कॉलेज को खोले जाने पर दलित समाज के लोगों ने एतराज जताया है. उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री धामी दलितों को सम्मान देने का कार्य कर रहे हैं. वहीं, छोटी मानसिकता के कुछ लोग दलितों का अपमान कर रहे हैं, जिनको किसी भी हाल में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा. उनके खिलाफ शासन के निर्देशों का ना मानने पर कठोर कार्रवाई की जाएगी.

मसूरी एमपीजी कॉलेज के शिक्षक प्रमोद भारती में कहा कि कॉलेज प्रशासन द्वारा नियमों को ताक पर रखकर संत रविदास की जयंती पर सरकार द्वारा अवकाश घोषित होने के बावजूद भी कॉलेज को खुलवाया गया है, जो खुलेआम मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के निर्देशों की अवहेलना है. उन्होंने कहा कि कॉलेज प्रशासन दलित विरोधी नीतियों के साथ काम कर रहा है,जो बर्दाश्त नहीं किया जाएगा. ओपन यूनिवर्सिटी के पेपर के साथ अन्य कार्य करना दुर्भाग्यपूर्ण है.

मसूरी एमपीजी कॉलेज के प्रिंसिपल डॉक्टर अनिल सिंह चौहान ने कहा कि संत रविदास की जयंती पर अवकाश कल घोषित हुआ है. ऐसे में उससे पूर्व ओपन यूनिवर्सिटी के पेपर निर्धारित थे. अवकाश को लेकर पेपर रीशेड्यूल नहीं किए जाने को लेकर कोई नोटिस नहीं मिला है. जिससे परीक्षा को आगे नहीं बढ़ाया जा सकता है.

उन्होंने कहा कि हेमवती नंदन बहुगुणा गढ़वाल यूनिवर्सिटी द्वारा अवकाश से संबधित नोटिस उनको 12 फरवरी को दोपहर के 12 बजे प्राप्त हुआ. जिसके बाद उनके द्वारा हेमवती नंदन बहुगुणा गढ़वाल यूनिवर्सिटी के पेपर को नहीं कराया गया. हालांकि ओएनजीसी से उनको 20 कंप्यूटर उपलब्ध कराये गए थे, जिनको उनके द्वारा कंप्यूटर लैब में स्थापित किया गया.

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मसूरी: मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के निर्देश पर शासन ने संत रविदास जयंती के अवसर पर सार्वजनिक अवकाश घोषित किया था. जिसके तहत सचिवालय एवं कोषागार को छोड़ राज्य सरकार के सभी कार्यालयों, संस्थानों व शैक्षणिक संस्थानों में अवकाश रहा, लेकिन मसूरी एमपीजी कॉलेज में मुख्यमंत्री के निर्देशों का पालन नहीं किया गया.

दरअसल कॉलेज प्रशासन ने कॉलेज को आज खोला था और पूरे स्टाफ को कार्य के लिए बुलाया गया था. पहले से निर्धारित ओपन यूनिवर्सिटी के तीन पेपरों को आयोजित करवाया गया. साथ ही हिस्ट्री विषय का वायवा भी कराया गया. साथ ही ओएनजीसी द्वारा दिए गए 20 कंप्यूटर को कॉलेज के कंप्यूटर लैब में स्थापित कराया गया. इस पर दलित समुदाय के लोगों ने विरोध जताया है.

सार्वजनिक अवकाश के बाद भी खुला रहा एमपीजी कॉलेज (VIDEO-ETV Bharat)

मसूरी में रविदास जयंती के अवसर सरकार द्वारा सार्वजनिक अवकाश घोषित होने के बावजूद कॉलेज को खोले जाने पर दलित समाज के लोगों ने एतराज जताया है. उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री धामी दलितों को सम्मान देने का कार्य कर रहे हैं. वहीं, छोटी मानसिकता के कुछ लोग दलितों का अपमान कर रहे हैं, जिनको किसी भी हाल में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा. उनके खिलाफ शासन के निर्देशों का ना मानने पर कठोर कार्रवाई की जाएगी.

मसूरी एमपीजी कॉलेज के शिक्षक प्रमोद भारती में कहा कि कॉलेज प्रशासन द्वारा नियमों को ताक पर रखकर संत रविदास की जयंती पर सरकार द्वारा अवकाश घोषित होने के बावजूद भी कॉलेज को खुलवाया गया है, जो खुलेआम मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के निर्देशों की अवहेलना है. उन्होंने कहा कि कॉलेज प्रशासन दलित विरोधी नीतियों के साथ काम कर रहा है,जो बर्दाश्त नहीं किया जाएगा. ओपन यूनिवर्सिटी के पेपर के साथ अन्य कार्य करना दुर्भाग्यपूर्ण है.

मसूरी एमपीजी कॉलेज के प्रिंसिपल डॉक्टर अनिल सिंह चौहान ने कहा कि संत रविदास की जयंती पर अवकाश कल घोषित हुआ है. ऐसे में उससे पूर्व ओपन यूनिवर्सिटी के पेपर निर्धारित थे. अवकाश को लेकर पेपर रीशेड्यूल नहीं किए जाने को लेकर कोई नोटिस नहीं मिला है. जिससे परीक्षा को आगे नहीं बढ़ाया जा सकता है.

उन्होंने कहा कि हेमवती नंदन बहुगुणा गढ़वाल यूनिवर्सिटी द्वारा अवकाश से संबधित नोटिस उनको 12 फरवरी को दोपहर के 12 बजे प्राप्त हुआ. जिसके बाद उनके द्वारा हेमवती नंदन बहुगुणा गढ़वाल यूनिवर्सिटी के पेपर को नहीं कराया गया. हालांकि ओएनजीसी से उनको 20 कंप्यूटर उपलब्ध कराये गए थे, जिनको उनके द्वारा कंप्यूटर लैब में स्थापित किया गया.

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