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करोड़ों खर्च करके ऐसा हुआ स्कूलों का जतन, अब बारिश में भीग रहा तन बदन - School Jatan Yojana flopped

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By ETV Bharat Chhattisgarh Team

Published : Jul 24, 2024, 7:48 PM IST

Mukhyamantri School Jatan Yojana बेमेतरा जिला में मुख्यमंत्री स्कूल जतन योजना के तहत स्कूल की मरम्मत की गई थी.लेकिन बारिश ने इस मरम्मत की पोल खोल दी है. शासन की करोड़ों की राशि से सिर्फ खानापूर्ति वाला काम हुआ है.School Jatan Yojana flopped

Mukhyamantri School Jatan Yojana
मुख्यमंत्री जी स्कूलों का नहीं हुआ जतन (ETV Bharat Chhattisgarh)

बेमेतरा: मुख्यमंत्री स्कूल जतन योजना के तहत स्कूलों को किस तरह से संवारा गया है इसकी बानगी बेमेतरा में देखने को मिली.जहां करोड़ों रुपए खर्च करके स्कूलों की मरम्मत की गई.लेकिन बारिश ने स्कूलों में किए गए काम की पोल खोल दी है. आलम ये है कि 4 महीने पहले मरम्मत किए गए कमरों की छतों से पानी टपक रहा है.



मुख्यमंत्री जतन योजना में भ्रष्टाचार की बू : बेमेतरा जिला के नवागढ़ ब्लॉक के अंतर्गत आने वाले बहरबोड़ में 04 महीने पहले स्कूल की मरम्मत की गई थी.लेकिन बारिश के मौसम में स्कूल की छत से पानी टपक रहा है. इससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि स्कूल की मरम्मत किस तरह से की गई होगी. बहरबोड़ के आश्रित नवागांव में 7 लाख रुपए से जिस स्कूल की मरम्मत की गई.उससे दो नए कमरे बन सकते थे.मरम्मत के बाद जिस तरह से छतों से पानी गिर रहा है,उसे देखकर यही लग रहा है कि असली मरम्मत स्कूल की नहीं बल्कि ठेकेदार के अकाउंट की हुई है.


हैंडपंप आधा पानी में डूबा : वहीं बहरबोड़ और नवागांव के स्कूल में बारिश का पानी भरा है. स्कूल में पानी निकासी की व्यवस्था नहीं होने के कारण बारिश का पानी स्कूल परिसर में भर गया है. जिसके कारण स्कूली बच्चों को आने-जाने में काफी परेशानी हो रही है. जलभराव के कारण स्कूल का हैंडपंप आधा पानी में डूबा है.जिसके कारण बारिश का पानी अब पीने वाले पानी में मिलकर आ रहा है.बच्चे प्यास बुझाने के लिए इसी पानी को पी रहे हैं.जिससे बच्चे बीमार पड़ सकते हैं.

करोड़ों खर्च करके स्कूलों का नहीं हुआ जतन (ETV Bharat Chhattisgarh)

नहीं गिराए गए जर्जर भवन : बहरबोड स्कूल परिसर में एक जर्जर भवन अब तक नहीं गिराया गया हैं .इसकी छत की प्लास्टर गिर रही है जो हादसे को आमंत्रण दे रही है. गौरतलब है कि शासन की ओर से जर्जर भवन को डिस्मेंटल करने के लिए हर साल राशि दी जाती है.लेकिन जर्जर भवन को अब तक नहीं गिराया गया.इस भवन के पास बच्चे खेलते हैं,जिसके कारण कभी भी गंभीर हादसा हो सकता है.

मंत्री ने दिए थे जांच के निर्देश : बेमेतरा स्कूल मरम्मत के के नाम पर हुए भ्रष्टाचार को लेकर प्रदेश के खाद्य मंत्री दयाल दास बघेल ने जनवरी माह में जांच के निर्देश दिए थे. जिसकी जांच रिपोर्ट अब तक नही पहुंची है. वहीं जांच रिपोर्ट के अभाव में राशि डकारने वालों के खिलाफ कार्रवाई नहीं हो पा रही है.वहीं कलेक्टर ने स्कूल में पानी टपकने के मामले में अपनी प्रतिक्रिया दी है.

''कई स्कूलों में मरम्मत कार्य जारी है.वहीं जिन स्कूलों में पानी टपक रहा है, वहां सकारात्मक पहल करेंगे. नया स्टीमेट तैयार करेंगे.ताकि पढ़ाई में किसी तरह की कोई दिक्कत ना हो.''- रणबीर शर्मा, कलेक्टर

आपको बता दें कि बेमेतरा जिला में स्कूल को संवारने सर्वाधिक राशि नवागढ़ ब्लॉक को मिली थी.लेकिन अब स्कूलों की हालत देखकर यही लग रहा है कि ग्रामीण यांत्रिकी विभाग के अफसरों ने घर बैठकर ही काम किया है.यदि मौके पर जाकर काम का मुआयना किया गया होता तो शायद बारिश में स्कूलों की ये दुर्दशा नहीं होती.

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बेमेतरा: मुख्यमंत्री स्कूल जतन योजना के तहत स्कूलों को किस तरह से संवारा गया है इसकी बानगी बेमेतरा में देखने को मिली.जहां करोड़ों रुपए खर्च करके स्कूलों की मरम्मत की गई.लेकिन बारिश ने स्कूलों में किए गए काम की पोल खोल दी है. आलम ये है कि 4 महीने पहले मरम्मत किए गए कमरों की छतों से पानी टपक रहा है.



मुख्यमंत्री जतन योजना में भ्रष्टाचार की बू : बेमेतरा जिला के नवागढ़ ब्लॉक के अंतर्गत आने वाले बहरबोड़ में 04 महीने पहले स्कूल की मरम्मत की गई थी.लेकिन बारिश के मौसम में स्कूल की छत से पानी टपक रहा है. इससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि स्कूल की मरम्मत किस तरह से की गई होगी. बहरबोड़ के आश्रित नवागांव में 7 लाख रुपए से जिस स्कूल की मरम्मत की गई.उससे दो नए कमरे बन सकते थे.मरम्मत के बाद जिस तरह से छतों से पानी गिर रहा है,उसे देखकर यही लग रहा है कि असली मरम्मत स्कूल की नहीं बल्कि ठेकेदार के अकाउंट की हुई है.


हैंडपंप आधा पानी में डूबा : वहीं बहरबोड़ और नवागांव के स्कूल में बारिश का पानी भरा है. स्कूल में पानी निकासी की व्यवस्था नहीं होने के कारण बारिश का पानी स्कूल परिसर में भर गया है. जिसके कारण स्कूली बच्चों को आने-जाने में काफी परेशानी हो रही है. जलभराव के कारण स्कूल का हैंडपंप आधा पानी में डूबा है.जिसके कारण बारिश का पानी अब पीने वाले पानी में मिलकर आ रहा है.बच्चे प्यास बुझाने के लिए इसी पानी को पी रहे हैं.जिससे बच्चे बीमार पड़ सकते हैं.

करोड़ों खर्च करके स्कूलों का नहीं हुआ जतन (ETV Bharat Chhattisgarh)

नहीं गिराए गए जर्जर भवन : बहरबोड स्कूल परिसर में एक जर्जर भवन अब तक नहीं गिराया गया हैं .इसकी छत की प्लास्टर गिर रही है जो हादसे को आमंत्रण दे रही है. गौरतलब है कि शासन की ओर से जर्जर भवन को डिस्मेंटल करने के लिए हर साल राशि दी जाती है.लेकिन जर्जर भवन को अब तक नहीं गिराया गया.इस भवन के पास बच्चे खेलते हैं,जिसके कारण कभी भी गंभीर हादसा हो सकता है.

मंत्री ने दिए थे जांच के निर्देश : बेमेतरा स्कूल मरम्मत के के नाम पर हुए भ्रष्टाचार को लेकर प्रदेश के खाद्य मंत्री दयाल दास बघेल ने जनवरी माह में जांच के निर्देश दिए थे. जिसकी जांच रिपोर्ट अब तक नही पहुंची है. वहीं जांच रिपोर्ट के अभाव में राशि डकारने वालों के खिलाफ कार्रवाई नहीं हो पा रही है.वहीं कलेक्टर ने स्कूल में पानी टपकने के मामले में अपनी प्रतिक्रिया दी है.

''कई स्कूलों में मरम्मत कार्य जारी है.वहीं जिन स्कूलों में पानी टपक रहा है, वहां सकारात्मक पहल करेंगे. नया स्टीमेट तैयार करेंगे.ताकि पढ़ाई में किसी तरह की कोई दिक्कत ना हो.''- रणबीर शर्मा, कलेक्टर

आपको बता दें कि बेमेतरा जिला में स्कूल को संवारने सर्वाधिक राशि नवागढ़ ब्लॉक को मिली थी.लेकिन अब स्कूलों की हालत देखकर यही लग रहा है कि ग्रामीण यांत्रिकी विभाग के अफसरों ने घर बैठकर ही काम किया है.यदि मौके पर जाकर काम का मुआयना किया गया होता तो शायद बारिश में स्कूलों की ये दुर्दशा नहीं होती.

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