भोपाल। मध्यप्रदेश में फर्जी नर्सिंग कॉलेजों के मामले में तत्कालीन रजिस्ट्रार सुनीता शिजू पर कड़ी कार्रवाई के बाद अब इन कॉलेजों का निरीक्षण करने वाले अन्य अधिकारियों पर कार्रवाई होने जा रही है. फिलहाल 6 अधिकारियों के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई की जाएगी.
नियम कायदों को ताक पर रखकर दे दी मान्यता
आयुक्त लोक स्वास्थ्य और चिकित्सा शिक्षा के सूत्रों के अनुसार सत्र 2021-22 में कुल 10 नर्सिंग कॉलेजों को नियम विरुद्ध मान्यता प्रदान की गई. इसके बाद जब मामला गर्माया तो जांच के बाद इन कॉलेजों की मान्यता निरस्त की गई. इन 10 नर्सिंग संस्थाओं में से 8 नर्सिंग संस्थाओं को निरीक्षणकर्ताओं की प्रतिकूल निरीक्षण रिपोर्ट के बावजूद तात्कालिक रजिस्ट्रार द्वारा मान्यता मान्यता प्रदान की गई. इस संबंध में तात्कालिक रजिस्ट्रार को सेवा से बर्खास्त किया गया है. इसके साथ ही अन्य 2 नर्सिंग संस्थाओं वैष्णवी कॉलेज इंदौर एवं आरडीएम नर्सिंग कॉलेज, उमरिया के निरीक्षणकर्ताओं की अनुकूल रिपोर्ट के आधार पर मान्यता प्रदान की गई, जोकि बाद में निरस्त की गई.
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अनुशासनात्मक कार्रवाई प्रस्वातित है
अब इन नर्सिंग संस्थाओं के 6 निरीक्षणकर्ताओं को संबंधित शासकीय चिकित्सा महाविद्यालय के अधिष्ठाता द्वारा अनुशासनात्मक कार्रवाई प्रस्तावित की गई है. उल्लेखनीय है कि लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा विभाग के अधीन मध्यप्रदेश नर्सिंग शिक्षण संस्था मान्यता नियम, 2018 व संशोधित नियम 2019, 2020, 2021 के अधीन मध्यप्रदेश नर्सेस रजिस्ट्रेशन काउंसिल द्वारा प्रदेश में स्थित नर्सिंग स्कूल/महाविद्यालय को मान्यता जारी करने की कार्रवाई की जाती है. गौरतलब है कि वर्ष 2018 के बाद मध्यप्रदेश नर्सेस काउंसिल भोपाल द्वारा मान्यता एवं मेडिकल साइंस विश्वविद्यालय, जबलपुर द्वारा संबद्धता दिए जाने के नियम प्रभावी हुए.