धनबादः कोयला नगरी धनबाद के एक निजी अस्पताल में शर्मसार करने वाली घटना हुई है. दरअसल, अस्पताल में एक महिला का प्रसव हुआ था. महिला ने एक बच्ची को जन्म दिया था. बच्ची को दुनिया में लाने के बाद मां चल बसी. उसके बाद नवजात बच्ची के पिता और परिवार के अन्य सदस्य शव अपने साथ लेकर चलते बने, लेकिन नवजात बच्ची को अस्पताल में ही छोड़ दिया. इधर, प्रसूता की मौत के बाद नवजात बच्ची का लगातार स्वास्थ्य बिगड़ रहा था. वहीं मामले की जानकारी मिलने के बाद डालसा सचिव और सीडब्लूसी अध्यक्ष अस्पताल पहुंचे और आवश्यक कार्रवाई में जुट गए हैं.
वहीं अस्पताल प्रबंधन से मिली जानकारी के अनुसार नवजात बच्ची के जन्म के बाद ओवर ब्लीडिंग के कारण प्रसूता की मौत हुई है. प्रसूता की मौत के नवजात बच्ची के पिता ने बच्ची की जिम्मेदारी लेने से मना कर दिया. पूरे मामले में संज्ञान लेते हुए धनबाद सीडब्ल्यूसी और डालसा सचिव नवजात की मदद के लिए सामने आये हैं. उनकी देखरेख में अब नवजात बच्ची का इलाज अस्पताल में चल रहा है.
डालसा सचिव और सीडब्ल्यूसी अध्यक्ष ने बताया कि परिवार गिरिडीह जिले से महिला का प्रसव कराने के लिए धनबाद आया था. जहां प्रसव के बाद महिला की मौत हो गई. उसके बाद परिवारवाले नवजात बच्ची को अस्पताल में ही छोड़कर चले गए हैं. जब अस्पताल प्रबंधन ने परिजनों से संपर्क किया तो उन लोगों ने नवजात बच्ची को अपनाने से इनकार कर दिया. यहां तक कि नवजात बच्ची के पिता ने भी अपनी जिम्मेवारी लेने से मना कर दिया.
जिसके बाद सीडब्ल्यूसी चेयरपर्सन उत्तम मुखर्जी और डालसा सचिव राकेश रौशन ने अस्पताल जाकर नवजात बच्ची के बेहतर इलाज के लिए अस्पताल प्रबंधन को निर्देश दिया है. इलाज में आने वाला खर्च डिस्ट्रिक्ट चाइल्ड वेलफेयर कमेटी वहन करेगी. सीडब्ल्यूसी अध्यक्ष और डालसा सचिव ने कहा कि नवजात बच्ची के इलाज के पश्चात भी अगर परिवार वाले उसे नहीं अपनाते हैं तो एडॉप्शन सेंटर भेजने की पहल की जाएगी.
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