मुरैना: बागचीनी चौखट्टा के पास शुक्रवार की दोपहर प्रशासन द्वारा मंदिर की जमीन पर किए गए पक्के निर्माणों को जेसीबी मशीन से हटवा दिया गया है. इस दौरान लोगों ने प्रशासन का जमकर विरोध भी किया. ये कार्रवाई जौरा एसडीएम, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक डॉ. अरविंद ठाकुर के नेतृत्व में की गई. हाईकोर्ट के आदेश से मंदिर की जमीन से कब्जा हटवाने पहुंची. पुलिस व राजस्व विभाग की टीम पर ग्रामीणों ने पथराव कर दिया. पुलिस ने भीड़ को कंट्रोल करने के लिए आंसू गैस के गोले छोड़े. इस पथराव में एक पुलिस आरक्षक के घायल होने की खबर है. विरोध के दौरान 3 महिलाओं के बेहोश होने से गुस्साए ग्रामीणों ने स्टेट हाईवे पर जाम लगा दिया. घटना के बाद करीब आधा दर्जन पुलिस थानों की टीम मौके पर पहुंच गई. अधिकारियों ने भारी पुलिस बल के सहयोग से 10 दुकान व 4 मकानों को जेसीबी से ध्वस्त कर दिया.
मंदिर की जमीन पर कर लिया था कब्जा
मुरैना जिले के बागचीनी थाना क्षेत्र के बागचीनी चौखट्टा के पास भगवान नरसिंह का एक मंदिर स्थित है. इस मंदिर की जमीन पर करीब 3 दशक से एक परिवार का कब्जा है. अतिक्रमणकारियों ने इस जमीन का कामर्सियल उपयोग करने के उद्देश्य से 10 दुकान व 4 मकान बना लिया था. वर्तमान पुजारी ने मंदिर की जमीन से अवैध कब्जा हटवाने के लिए हाइकोर्ट में याचिका दायर की थी. हाई कोर्ट ने इस याचिका पर सुनवाई करते हुए जौरा एसडीएम को तत्काल अतिक्रमण हटवाने के निर्देश दिए थे.
जेसीबी लेकर पुलिस पहुंची कब्जा हटवाने
हाईकोर्ट के निर्देश से जौरा एसडीएम प्रदीप तोमर शुक्रवार की दोपहर पुलिस फोर्स लेकर अतिक्रमण हटवाने पहुंच गए. अधिकारियों ने मौके पर पहुंचकर बागचीनी व देवगढ़ थाने से भी पुलिस बल बुला लिया था. इसके बाद एसडीएम ने पुलिस की मौजूदगी में जेसीबी से अतिक्रमण हटवाने का काम शुरू किया. एसडीएम ने जेसीबी से 10 दुकानों को ध्वस्त करने के बाद जैसे ही मकानों की तरफ बढ़ें तो ग्रामीण हाथों में लाठियां लेकर आ गए. पुलिस ने जैसे ही अपने तेवर सख्त किये, ग्रामीण पीछे हट गए. ग्रामीणों के हटते ही महिलाओं ने मोर्चा संभाल लिया. महिलाएं घरों के अंदर से नहीं निकल रही थी.
ग्रामीणों ने पुलिस पर किया पथराव
अधिकारियों ने महिला कांस्टेबलों को मदद से बलपूर्वक उनको बाहर निकालने का प्रयास किया तो सीमा शर्मा, मीरा शर्मा और यशोदा शर्मा नामक 3 महिलाएं बेहोश हो गई. महिलाओं की हालत देख ग्रामीण गुस्से से आग बबूला हो गए. इसके बाद ग्रामीणों ने पुलिस पर पथराव शुरू कर दिया. ग्रामीणों की ओर से पथराव होते ही पुलिस पीछे हट गई. पुलिस ने भीड़ को कंट्रोल करने के लिए आंसू गैस के गोले छोड़ दिये. इसके बाद पुलिस ने बल पूर्वक ग्रामीणों को मौके से खदेड़ दिया. महिलाओं को बाहर निकालने के बाद राजस्व विभाग की टीम ने एक-एककर चारों मकान ध्वस्त कर अतिक्रमण हटवा दिया.
पथराव करने वालों को किया जाएगा चिन्हित
एएसपी अरविंद सिंह ठाकुर का कहना है कि "हाईकोर्ट के आदेश से जौरा एसडीएम पुलिसबल लेकर बागचीनी चौखट्टा पर अतिक्रमण हटवाने पहुंचे थे. यहां पर ग्रामीणों ने कार्रवाई का विरोध करते हुए पथराव कर दिया. भीड़ को कंट्रोल करने के लिए पुलिस लाइन सहित आधा दर्जन से अधिक पुलिस थानों से पुलिसबल मौके पर भेजा गया है. स्थिति पूरी तरह से कंट्रोल में है. पथराव करने वालों को चिन्हित किया जा रहा है."
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हाईकोर्ट ने दिए थे निर्देश
जौरा एसडीएम प्रदीप तोमर ने जानकारी देते हुए बताया कि ''बागचीनी चौखट्टा स्थित नेशनल हाईवे 552 के पास मंदिर की 10 हजार वर्ग फुट जमीन पर कुछ लोगों द्वारा काफी लंबे समय से स्थाई पक्के निर्माण कर मकान व दुकानें बना ली गई थी. यह मामला माननीय हाईकोर्ट में चल रहा था. हाल ही में माननीय न्यायालय ने उक्त जमीन को खाली करने के निर्देश पारित किए थे. निर्देश मिलने के बाद 10 से 15 दिन से लगातार जमीन पर कब्जा करने वालों को खाली करने को कहा जा रहा था. लेकिन उन्होंने इस पर अमल नहीं किया. इसलिए ये कार्रवाई की जा रही है.''