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CSIR भर्ती परीक्षा धांधली, नकल करने वाले 4 छात्रों को MST ने किया निष्कासित, आरोपियों की तलाश तेज - नकलची छात्र निष्कासित

CSIR recruitment exam rigged विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी मंत्रालय ने सीएसआईआर भर्ती परीक्षा में नकल करने वाले 4 छात्रों को निष्कासित कर दिया है. नकल गिरोह के 2 मुख्य आरोपी अभी भी पुलिस की गिरफ्त से दूर हैं. पुलिस लगातार तलाश कर रही है.

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By ETV Bharat Uttarakhand Team

Published : Feb 14, 2024, 5:21 PM IST

देहरादूनः काउंसिल ऑफ साइंटिफिक एंड इंडस्ट्रियल रिसर्च (सीएसआईआर) भर्ती के लिए ऑनलाइन परीक्षा के दौरान दो सेंटरों पर नकल कराने में शामिल दो मुख्य आरोपी अब तक फरार चल रहे हैं. वहीं परीक्षा में नकल करने के लिए गिरोह से सौदा करने वाले चार छात्रों को भी विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी मंत्रालय ने परीक्षा से निष्कासित कर दिया गया है. 8 फरवरी को दून पुलिस ने राजपुर और डोईवाला स्थित परीक्षा केंद्रों में छापेमारी कर नकल करा रहे गिरोह के 4 सदस्यों को गिरफ्तार किया था. जबकि 2 आरोपी फरार होने में कामयाब रहे थे.

दरअसल, विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी मंत्रालय भारत सरकार के अधीन सीएसआईआर की ओर से सेक्शन ऑफिसर (एसओ) और असिस्टेंट सेक्शन ऑफिसर (एएसओ) पद की परीक्षाएं आयोजित कराई जा रही हैं. दून के दो सेंटरों में नकल कराए जाने की सूचना दिल्ली स्पेशल सेल को मिली. वहां से मिले इनपुट पर दून पुलिस ने बीते गुरुवार को राजपुर के आईटी पार्क और डोईवाला के प्रेमनगर में अलग-अलग सेंटर पर छापा मारा था. जांच में पता चला था कि परीक्षा की मुख्य नेटवर्क लाइन के अलावा चोरी से एक लीज लाइन जोड़कर उसके जरिए ऑनलाइन पेपर में नकल कराई जा रही थी.

मामले में एक मुकदमा राजपुर और दूसरा डोईवाला थाने में दर्ज किया गया. राजपुर थाना पुलिस ने संदीप निवासी सोहजनी, जानसठ, मुजफ्फरनगर और अंकित धीमान निवासी मंसूरपुर, मुजफ्फरनगर को गिरफ्तार किया था. गिरफ्तार आरोपी अंकित के खिलाफ दिल्ली क्राइम ब्रांच में भी मुकदमा पंजीकृत है, जिसमें दिल्ली पुलिस आरोपी की तलाश कर रही थी. वहीं डोईवाला पुलिस ने आशीष बहुगुणा निवासी पाम सिटी पटेल नगर और अर्जुन उर्फ मोनू निवासी भवार, सोनीपत, हरियाणा को गिरफ्तार किया था. दोनों सेंटरों पर नकल कराने में इनके संचालक मोहित और दीपक फरार हैं.

ऐसे कराई जाती है नकल: पूछताछ में गिरफ्तार आरोपी अंकित धीमान द्वारा बताया गया कि मोहित और दीपक सेंटर को चलाते हैं, जिनके द्वारा परीक्षार्थियों से पैसा लेकर सिस्टम को हैक कर किसी अन्य व्यक्ति से पेपर को सॉल्व कराया जाता है. इसके लिए उनके द्वारा कंप्यूटर को हैक करने के लिए एनी डेस्क एप और अन्य एप का प्रयोग किया जाता है. जिसके लिए उनके द्वारा परीक्षा केंद्र के सर्वर रूम से एक लेन केबल के माध्यम से लैपटॉप अथवा सिस्टम को जोड़ा जाता है. लैपटॉप या सिस्टम के माध्यम से अलग-अलग व्यक्तियों (सॉल्वर) को बुलाकर पेपर रिमोट एक्सेस के माध्यम से सॉल्व कराए जाते हैं.

वहीं मामले में एसएसपी अजय सिंह का कहना है कि फरार आरोपियों की तलाश जारी है. क्योंकि इन दोनों सेंटर पर इससे पहले भी कई ऑनलाइन परीक्षाओं का आयोजन किया गया है. इसमें धांधली कराए जाने की आशंका हो सकती है. आरोपी अंकित धीमान के खिलाफ दिल्ली के क्राइम ब्रांच थाने में इसी प्रकार परीक्षाओं में नकल कराने के संबंध में मुकदमा पंजीकृत है, जिसमें दिल्ली पुलिस आरोपी की तलाश कर रही है.

ये भी पढ़ेंः CSIR के एग्जाम के दौरान चल रही थी नकल, पुलिस ने सर्वर मशीन के साथ गिरोह को हिरासत में लिया, पूछताछ जारी

देहरादूनः काउंसिल ऑफ साइंटिफिक एंड इंडस्ट्रियल रिसर्च (सीएसआईआर) भर्ती के लिए ऑनलाइन परीक्षा के दौरान दो सेंटरों पर नकल कराने में शामिल दो मुख्य आरोपी अब तक फरार चल रहे हैं. वहीं परीक्षा में नकल करने के लिए गिरोह से सौदा करने वाले चार छात्रों को भी विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी मंत्रालय ने परीक्षा से निष्कासित कर दिया गया है. 8 फरवरी को दून पुलिस ने राजपुर और डोईवाला स्थित परीक्षा केंद्रों में छापेमारी कर नकल करा रहे गिरोह के 4 सदस्यों को गिरफ्तार किया था. जबकि 2 आरोपी फरार होने में कामयाब रहे थे.

दरअसल, विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी मंत्रालय भारत सरकार के अधीन सीएसआईआर की ओर से सेक्शन ऑफिसर (एसओ) और असिस्टेंट सेक्शन ऑफिसर (एएसओ) पद की परीक्षाएं आयोजित कराई जा रही हैं. दून के दो सेंटरों में नकल कराए जाने की सूचना दिल्ली स्पेशल सेल को मिली. वहां से मिले इनपुट पर दून पुलिस ने बीते गुरुवार को राजपुर के आईटी पार्क और डोईवाला के प्रेमनगर में अलग-अलग सेंटर पर छापा मारा था. जांच में पता चला था कि परीक्षा की मुख्य नेटवर्क लाइन के अलावा चोरी से एक लीज लाइन जोड़कर उसके जरिए ऑनलाइन पेपर में नकल कराई जा रही थी.

मामले में एक मुकदमा राजपुर और दूसरा डोईवाला थाने में दर्ज किया गया. राजपुर थाना पुलिस ने संदीप निवासी सोहजनी, जानसठ, मुजफ्फरनगर और अंकित धीमान निवासी मंसूरपुर, मुजफ्फरनगर को गिरफ्तार किया था. गिरफ्तार आरोपी अंकित के खिलाफ दिल्ली क्राइम ब्रांच में भी मुकदमा पंजीकृत है, जिसमें दिल्ली पुलिस आरोपी की तलाश कर रही थी. वहीं डोईवाला पुलिस ने आशीष बहुगुणा निवासी पाम सिटी पटेल नगर और अर्जुन उर्फ मोनू निवासी भवार, सोनीपत, हरियाणा को गिरफ्तार किया था. दोनों सेंटरों पर नकल कराने में इनके संचालक मोहित और दीपक फरार हैं.

ऐसे कराई जाती है नकल: पूछताछ में गिरफ्तार आरोपी अंकित धीमान द्वारा बताया गया कि मोहित और दीपक सेंटर को चलाते हैं, जिनके द्वारा परीक्षार्थियों से पैसा लेकर सिस्टम को हैक कर किसी अन्य व्यक्ति से पेपर को सॉल्व कराया जाता है. इसके लिए उनके द्वारा कंप्यूटर को हैक करने के लिए एनी डेस्क एप और अन्य एप का प्रयोग किया जाता है. जिसके लिए उनके द्वारा परीक्षा केंद्र के सर्वर रूम से एक लेन केबल के माध्यम से लैपटॉप अथवा सिस्टम को जोड़ा जाता है. लैपटॉप या सिस्टम के माध्यम से अलग-अलग व्यक्तियों (सॉल्वर) को बुलाकर पेपर रिमोट एक्सेस के माध्यम से सॉल्व कराए जाते हैं.

वहीं मामले में एसएसपी अजय सिंह का कहना है कि फरार आरोपियों की तलाश जारी है. क्योंकि इन दोनों सेंटर पर इससे पहले भी कई ऑनलाइन परीक्षाओं का आयोजन किया गया है. इसमें धांधली कराए जाने की आशंका हो सकती है. आरोपी अंकित धीमान के खिलाफ दिल्ली के क्राइम ब्रांच थाने में इसी प्रकार परीक्षाओं में नकल कराने के संबंध में मुकदमा पंजीकृत है, जिसमें दिल्ली पुलिस आरोपी की तलाश कर रही है.

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