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OBC आरक्षण का पेच: मध्य प्रदेश हाईकोर्ट ने MPPSC में पास और फिर होल्ड अभ्यर्थियों की लिस्ट मांगी - MP High Court notice MPPSC - MP HIGH COURT NOTICE MPPSC

मध्यप्रदेश में ओबीसी आरक्षण का पेच भर्ती परीक्षाओं में लगातार फंस रहा है. मध्य प्रदेश लोक सेवा आयोग (MPPSC) ने ओबीसी आरक्षण के मामले में कई अभ्यर्थियों के रिजल्ट होल्ड कर दिए हैं. अब हाईकोर्ट ने एमपीपीएससी को 2019 व 2020 परीक्षा के होल्ड किए गए अभ्यर्थियों की लिस्ट मांगी है.

madhya pradesh OBC reservation
हाईकोर्ट एमपीपीएससी को नोटिस
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By ETV Bharat Madhya Pradesh Team

Published : Apr 5, 2024, 9:32 AM IST

Updated : Apr 5, 2024, 1:16 PM IST

जबलपुर। मध्य प्रदेश लोक सेवा आयोग द्वारा अपनाये जा रहे 87:13 फार्मूले को हाईकोर्ट में चुनौती दी गयी है. हाईकोर्ट जस्टिस शील नागू वथा जस्टिस अमरनाथ केसरवानी की युगलपीठ ने याचिका की सुनवाई करते हुए राज्य सरकार व एमपीपीएससी को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है. युगलपीठ ने एमपीपीएससी को निर्देशित किया है कि साल 2019 तथा 2020 की परीक्षाओं के लिए होल्ड किये गये 13 प्रतिशत चयनित दोनों वर्गों के अभ्यर्थियों की सूची प्रस्तुत करें.

सरकार ने ओबीसी आरक्षण बढ़ाया, हाईकोर्ट ने रोक लगाई

याचिकाकर्ता प्रज्ञा शर्मा, मोना मिश्रा, प्रियंका तिवारी सहित अन्य 5 अभ्यर्थियों की तरफ से दायर की गयी याचिका में कहा गया है कि प्रदेश सरकार द्वारा ओबीसी वर्ग के लिए आरक्षण 14 प्रतिशत से बढ़ाकर 27 प्रतिशत कर दिया गया था. जिसके खिलाफ हाईकोर्ट में याचिका दायर की गयी थी. याचिका की सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने ओबीसी वर्ग के लिए बनाये गये आरक्षण पर रोक लगा दी थी. जिसके बाद मध्य प्रदेश लोक सेवा आयोग ने 87:13 प्रतिशत का नया फार्मूला तैयार कर नियुक्ति प्रदान कर दी.

होल्ड किए गए अभ्यर्थियों को कोई जानकारी नहीं दी

इस फार्मूले के तहत नियुक्ति के लिए 13 प्रतिशत सामान्य तथा 13 प्रतिशत ओबीसी वर्ग के चयनित अभ्यार्थियों के रिजल्ट होल्ड कर लिये गए. हाईकोर्ट ने आदेश में स्पष्ट कहा है कि ऐसा फार्मूला उनकी तरफ से नहीं दिया गया है. याचिकाकर्ता की तरफ से कहा गया है कि वह साल 2019 तथा 2020 की परीक्षा के इंटरव्यू में शामिल हुए. होल्ड किये गये 13 प्रतिशत में उनका नाम है. इसके संबंध में भी उन्हें कोई जानकारी नहीं दी गयी है.

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होल्ड कैंडिडेट की लिस्ट गोपनीय रखी

होल्ड की गयी दोनों वर्ग की 13 प्रतिशत सूची को गोपनीय रखा गया है. एमपीपीएससी ने मनमाने तरीके से उक्त फार्मूला लागू किया है. याचिका की सुनवाई के बाद युगलपीठ ने राज्य सरकार तथा एमपीपीएससी को नोटिस जारी करते हुए होल्ड की गयी 13 प्रतिशत अभ्यर्थियों की सूची पेश करने के आदेश जारी किये हैं. याचिकाकर्ता की तरफ से अधिवक्ता अंशुमान सिंह ने पैरवी की.

जबलपुर। मध्य प्रदेश लोक सेवा आयोग द्वारा अपनाये जा रहे 87:13 फार्मूले को हाईकोर्ट में चुनौती दी गयी है. हाईकोर्ट जस्टिस शील नागू वथा जस्टिस अमरनाथ केसरवानी की युगलपीठ ने याचिका की सुनवाई करते हुए राज्य सरकार व एमपीपीएससी को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है. युगलपीठ ने एमपीपीएससी को निर्देशित किया है कि साल 2019 तथा 2020 की परीक्षाओं के लिए होल्ड किये गये 13 प्रतिशत चयनित दोनों वर्गों के अभ्यर्थियों की सूची प्रस्तुत करें.

सरकार ने ओबीसी आरक्षण बढ़ाया, हाईकोर्ट ने रोक लगाई

याचिकाकर्ता प्रज्ञा शर्मा, मोना मिश्रा, प्रियंका तिवारी सहित अन्य 5 अभ्यर्थियों की तरफ से दायर की गयी याचिका में कहा गया है कि प्रदेश सरकार द्वारा ओबीसी वर्ग के लिए आरक्षण 14 प्रतिशत से बढ़ाकर 27 प्रतिशत कर दिया गया था. जिसके खिलाफ हाईकोर्ट में याचिका दायर की गयी थी. याचिका की सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने ओबीसी वर्ग के लिए बनाये गये आरक्षण पर रोक लगा दी थी. जिसके बाद मध्य प्रदेश लोक सेवा आयोग ने 87:13 प्रतिशत का नया फार्मूला तैयार कर नियुक्ति प्रदान कर दी.

होल्ड किए गए अभ्यर्थियों को कोई जानकारी नहीं दी

इस फार्मूले के तहत नियुक्ति के लिए 13 प्रतिशत सामान्य तथा 13 प्रतिशत ओबीसी वर्ग के चयनित अभ्यार्थियों के रिजल्ट होल्ड कर लिये गए. हाईकोर्ट ने आदेश में स्पष्ट कहा है कि ऐसा फार्मूला उनकी तरफ से नहीं दिया गया है. याचिकाकर्ता की तरफ से कहा गया है कि वह साल 2019 तथा 2020 की परीक्षा के इंटरव्यू में शामिल हुए. होल्ड किये गये 13 प्रतिशत में उनका नाम है. इसके संबंध में भी उन्हें कोई जानकारी नहीं दी गयी है.

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होल्ड कैंडिडेट की लिस्ट गोपनीय रखी

होल्ड की गयी दोनों वर्ग की 13 प्रतिशत सूची को गोपनीय रखा गया है. एमपीपीएससी ने मनमाने तरीके से उक्त फार्मूला लागू किया है. याचिका की सुनवाई के बाद युगलपीठ ने राज्य सरकार तथा एमपीपीएससी को नोटिस जारी करते हुए होल्ड की गयी 13 प्रतिशत अभ्यर्थियों की सूची पेश करने के आदेश जारी किये हैं. याचिकाकर्ता की तरफ से अधिवक्ता अंशुमान सिंह ने पैरवी की.

Last Updated : Apr 5, 2024, 1:16 PM IST
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