लखनऊ : लोकसभा चुनाव के लिए बहुजन समाज पार्टी की सूची भले ही एक साथ जारी न हुई हो, लेकिन अब तक स्थानीय स्तर से ही अलग-अलग 20 उम्मीदवारों के नाम का एलान हो चुका है. बीएसपी ने इन सीटों पर प्रत्याशी उतारकर चुनावी तैयारी भी शुरू कर दी है. स्थानीय स्तर पर घोषित हुए प्रत्याशियों को लेकर बीएसपी में असमंजस की स्थिति भी बनी हुई है. आलाकमान का कहना है कि अधिकृत सूची पार्टी की तरफ से जारी की जाएगी, लेकिन स्थानीय स्तर से जिन लोगों को टिकट दिया जा रहा है, वह पार्टी की मुखिया के निर्देश पर ही मैदान में उतरे हैं. इससे यह भी साफ हो जाता है कि बहुजन समाज पार्टी की जब अधिकृत सूची जारी होगी तो इन सभी प्रत्याशियों के नाम उस सूची में जरूर शामिल होंगे.
60 सीटों पर बाकी : बहुजन समाज पार्टी की तरफ से चुनावी मैदान में उतरे अभी तक के घोषित ये उम्मीदवार हैं और अभी उम्मीदवार घोषित होने का सिलसिला जारी है. बता दें, बहुजन समाज पार्टी की राष्ट्रीय अध्यक्ष मायावती ने लोकसभा चुनाव अकेले दम लड़ने का फैसला लिया है. उत्तर प्रदेश में लोकसभा की कुल 80 सीटें हैं. 20 सीटों पर पार्टी ने उम्मीदवार उतार दिए हैं, लेकिन अभी 60 सीटों पर उम्मीदवार उतारने बाकी हैं. लखनऊ की बात की जाए तो पार्टी सूत्रों के मानें तो विधानसभा चुनाव लड़ चुके पार्टी नेता सरवर मलिक को ही लोकसभा का टिकट मिलना तय है.
अब तक घोषित प्रत्याशी
1. कानपुर कुलदीप भदौरिया
2. अकबरपुर राजेश द्विवेदी
3. बागपत प्रवीण बैंसला
4. मेरठ देवव्रत त्यागी प्रत्याशी
5. पीलीभीत अनीश अहमद ख़ान
6. मुरादाबाद इरफान सैफी
7. कन्नौज अकील अहमद पट्टा
8. अमरोहा मुजाहिद हुसैन
9. आगरा पूजा अमरोही
10. सहारनपुर माजिद अली
11. बिजनौर चौधरी विजेंद्र सिंह
12. अयोध्या सच्चिदानंद पांडेय
13. उन्नाव अशोक पांडेय
14. मुजफ्फरनगर दारासिंह प्रजापति
15. नगीना सुरेंद्र पाल सिंह
16. चंदौली सत्येंद्र कुमार मौर्य
17. आंवला सैय्यद आबिद
18. शाहजहांपुर डॉ. दोदराम वर्मा
19. बुलन्दशहर गिरीश चंद्र जाटव
20. जालौन सुरेश चन्द्र गौतम
इसलिए भी हो रही देरी : पार्टी के सूत्र बताते हैं कि बहुजन समाज पार्टी की तरफ से अभी प्रत्याशियों की लिस्ट जारी करने में इसलिए भी जल्दबाजी नहीं दिखाई जा रही है. क्योंकि पार्टी को उम्मीद है कि विभिन्न राजनीतिक दलों के नेताओं को जब उनकी पार्टी टिकट नहीं देगी तो वह बहुजन समाज पार्टी में आते हैं तो उन्हें टिकट दे सकती है. यही वजह है कि पार्टी प्रत्याशियों की सूची जारी करने में देर कर रही है.