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जींद यौन शोषण मामला: विभागीय जांच में IPS सुमित कुमार पाए गए निर्दोष, मिली क्लीन चिट - IPS SUMIT KUMAR GETS CLEAN CHIT

जींद में महिला पुलिसकर्मी यौन शोषण मामले की जांच में IPS सुमित कुमार निर्दोष पाए गए हैं. आईपीएस को क्लीन चिट मिल गई है.

Clean chit to IPS Sumit Kumar
आईपीएस सुमित कुमार को क्लीन चिट (ETV Bharat)
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By ETV Bharat Haryana Team

Published : Jan 30, 2025, 8:30 AM IST

जींद: जींद के पूर्व एसपी और आईपीएस अधिकारी सुमित कुमार को यौन शोषण मामले में बड़ी राहत मिली है. महिला पुलिसकर्मियों से यौन शोषण के आरोपों पर चल रही जांच में आईपीएस को क्लीन चिट मिल गई है.

सुमित कुमार को मिली क्लीन चिट: मामले में कुल 168 महिला पुलिस कर्मियों के बयान लिए गए. जांच कमिटी ने बुधवार की शाम पुलिस महानिदेशक शत्रुजीत कपूर को अपनी रिपोर्ट सौंपी थी. रिपोर्ट में सुमित कुमार के खिलाफ कोई सबूत नहीं मिला. सुमित कुमार पर लगे सभी आरोप निराधार पाए गए. हालांकि पूर्व एसपी के खिलाफ कोई सबूत नहीं मिला. इस कारण सुमित कुमार को क्लीन चिट दे दी गई है.

एक लेटर हुआ था वायरल:दरअसल 26 अक्टूबर 2024 को हरियाणा में जींद एसपी सुमित कुमार पर महिला पुलिसकर्मियों ने यौन शोषण के आरोप लगाए थे. महिला पुलिसकर्मियों ने इसको लेकर हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सैनी को चिट्‌ठी लिखी थी. यह चिट्ठी सोशल मीडिया पर वायरल हो गई थी. इस पर 7 महिला पुलिसकर्मियों के हस्ताक्षर भी थे.

आईपीएस अफसर पर लगे थे गंभीर आरोप: चिट्‌ठी में IPS ऑफिसर पर बड़ा आरोप लगा था. आरोप था कि आईपीएस अफसर एक महिला पुलिस अधिकारी से मिलकर शारीरिक संबंध बनाने के लिए दबाब बनाने की कोशिश कर रहे है. साथ ही ऐसा नहीं करने पर वार्षिक गोपनीय रिपोर्ट खराब करने की धमकी अफसर की ओर से दी गई है. वायरल चिट्टी के मुताबिक महिला पुलिसकर्मियों ने घटना के बारे में महिला डीएसपी को भी बताया था. सीएम को भी पत्र के जरिए शिकायत की थी. वायरल लेटर में महिला पुलिसकर्मियों ने कार्रवाई न होने पर खुदकुशी करने की बात कही थी.

की गई तीन स्तरीय जांच: इस लेटर के वायरल होने पर तत्काल प्रभाव से जांच शुरू की गई. जांच टीम में सिरसा एसपी आस्था मोदी को भी शामिल किया गया था. महिला आयोग की तरफ से भी जांच शुरू की गई थी. इस दौरान आईपीएस को जींद से अंबाला ट्रांसफर कर दिया गया था. महिला पुलिसकर्मियों के यौन शोषण के आरोपों की 3 स्तर पर जांच की थी. महिला आयोग की टीम के साथ-साथ दो आईपीएस अधिकारी इस मामले की जांच कर रहे थे. फतेहाबाद की महिला आईपीएस अधिकारी आस्था मोदी और एडीजीपी ममता सिंह भी जांच कर रही थीं.

आईपीएस ने खुद ही लिखा था जांच के लिए पत्र: इसके अलावा एसआईटी जांच भी की गई. हिसार एसपी के नेतृत्व में एसआईटी जांच के लिए टीम बनाई गई थी.अब कमेटी की फाइनल रिपोर्ट में आईपीएस अधिकारी को क्लीन चिट दे दिया गया है. इस मामले में आईपीएस सुमित कुमार से बात की गई, तो उन्होंने कहा कि उन्हें पहले ही पता था कि जांच में वह निर्दोष साबित होंगे. कुछ बुरे दिन थे, जो अब टल गए हैं. उन्होंने बताया कि खुद ही जांच के लिए पत्र लिखा था.

ये भी पढ़ें:जींद यौन शोषण मामला: दोनों पक्षों से महिला आयोग की पूछताछ, हो सकता है बड़ा खुलासा

जींद: जींद के पूर्व एसपी और आईपीएस अधिकारी सुमित कुमार को यौन शोषण मामले में बड़ी राहत मिली है. महिला पुलिसकर्मियों से यौन शोषण के आरोपों पर चल रही जांच में आईपीएस को क्लीन चिट मिल गई है.

सुमित कुमार को मिली क्लीन चिट: मामले में कुल 168 महिला पुलिस कर्मियों के बयान लिए गए. जांच कमिटी ने बुधवार की शाम पुलिस महानिदेशक शत्रुजीत कपूर को अपनी रिपोर्ट सौंपी थी. रिपोर्ट में सुमित कुमार के खिलाफ कोई सबूत नहीं मिला. सुमित कुमार पर लगे सभी आरोप निराधार पाए गए. हालांकि पूर्व एसपी के खिलाफ कोई सबूत नहीं मिला. इस कारण सुमित कुमार को क्लीन चिट दे दी गई है.

एक लेटर हुआ था वायरल:दरअसल 26 अक्टूबर 2024 को हरियाणा में जींद एसपी सुमित कुमार पर महिला पुलिसकर्मियों ने यौन शोषण के आरोप लगाए थे. महिला पुलिसकर्मियों ने इसको लेकर हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सैनी को चिट्‌ठी लिखी थी. यह चिट्ठी सोशल मीडिया पर वायरल हो गई थी. इस पर 7 महिला पुलिसकर्मियों के हस्ताक्षर भी थे.

आईपीएस अफसर पर लगे थे गंभीर आरोप: चिट्‌ठी में IPS ऑफिसर पर बड़ा आरोप लगा था. आरोप था कि आईपीएस अफसर एक महिला पुलिस अधिकारी से मिलकर शारीरिक संबंध बनाने के लिए दबाब बनाने की कोशिश कर रहे है. साथ ही ऐसा नहीं करने पर वार्षिक गोपनीय रिपोर्ट खराब करने की धमकी अफसर की ओर से दी गई है. वायरल चिट्टी के मुताबिक महिला पुलिसकर्मियों ने घटना के बारे में महिला डीएसपी को भी बताया था. सीएम को भी पत्र के जरिए शिकायत की थी. वायरल लेटर में महिला पुलिसकर्मियों ने कार्रवाई न होने पर खुदकुशी करने की बात कही थी.

की गई तीन स्तरीय जांच: इस लेटर के वायरल होने पर तत्काल प्रभाव से जांच शुरू की गई. जांच टीम में सिरसा एसपी आस्था मोदी को भी शामिल किया गया था. महिला आयोग की तरफ से भी जांच शुरू की गई थी. इस दौरान आईपीएस को जींद से अंबाला ट्रांसफर कर दिया गया था. महिला पुलिसकर्मियों के यौन शोषण के आरोपों की 3 स्तर पर जांच की थी. महिला आयोग की टीम के साथ-साथ दो आईपीएस अधिकारी इस मामले की जांच कर रहे थे. फतेहाबाद की महिला आईपीएस अधिकारी आस्था मोदी और एडीजीपी ममता सिंह भी जांच कर रही थीं.

आईपीएस ने खुद ही लिखा था जांच के लिए पत्र: इसके अलावा एसआईटी जांच भी की गई. हिसार एसपी के नेतृत्व में एसआईटी जांच के लिए टीम बनाई गई थी.अब कमेटी की फाइनल रिपोर्ट में आईपीएस अधिकारी को क्लीन चिट दे दिया गया है. इस मामले में आईपीएस सुमित कुमार से बात की गई, तो उन्होंने कहा कि उन्हें पहले ही पता था कि जांच में वह निर्दोष साबित होंगे. कुछ बुरे दिन थे, जो अब टल गए हैं. उन्होंने बताया कि खुद ही जांच के लिए पत्र लिखा था.

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