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Rajasthan: सिनेमैटिक ओलंपिक थीम पर 'जिफ' 17 जनवरी से, पहली सूची में 41 देशों की 170 फिल्मों का चयन

जयपुर इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल के लिए आयोजन समिति ने जारी की नॉमिनेटेड फिल्मों की पहली सूची.

JIFF 2025
जयपुर इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल (ETV BHARAT Jaipur)
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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Nov 6, 2024, 9:00 AM IST

जयपुर : जिफ के फाउंडर डायरेक्टर हनु रोज ने बताया कि इस बार का जिफ भारत ही नहीं, विश्व सिनेमा समुदाय के लिए एक खास आकर्षण का केंद्र बनकर उभरेगा. मंगलवार को जिफ की एक सूची जारी होने के बाद नॉमिनेटेड फिल्मों की दो और सूचियां जारी की जाएंगी. हनु रोज ने दावा किया कि जिफ फिक्शन फिल्मों में विश्व का सबसे बड़ा कॉम्पिटिटिव फिल्म फेस्टिवल है, जिसमें जयपुर में इस बार भारत और विश्व की सबसे बेहतरीन फिल्मों को देखने का अवसर मिलेगा.

पहली सूची में 41 देशों की 170 फिल्में : जयपुर इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल में इस बार 12 देशों के 30 ज्यूरी सदस्यों ने फिल्मों का नॉमिनेशन फाइनल किया है. इस दौरान 77 देशों की 1651 फिल्मों में से 3 महीने तक लगातार फिल्में देखकर प्रथम सूची के लिए 9 श्रेणियों में 41 देशों की 170 फिल्मों को चुना गया है. पिछले साल जिफ में 29 देशों की 157 फिल्मों को स्थान मिला था. जिफ प्रवक्ता राजेंद्र बोड़ा ने बताया कि प्रतियोगिता के लिए 9 श्रेणियों में चयनित फिल्मों में 36 फीचर फिक्शन फिल्म, 12 डॉक्यूमेंट्री फीचर फिल्म, 87 शॉर्ट फिक्शन फिल्म, 13 शॉर्ट डॉक्यूमेंट्री फिल्म, 16 शॉर्ट एनिमेशन फिल्म, 1 मोबाइल फिल्म, 1 वेब सीरीज़, 1 डायलाग, 3 सॉन्ग और इनमें 22 स्टूडेंट्स फिल्मस शामिल है.

जिफ के फाउंडर डायरेक्टर हनु रोज (ETV BHARAT Jaipur)

इसे भी पढ़ें - 5 देश...32 Films...11 राजस्थानी फिल्मों को भी मिली जगह

कुछ खास फिल्मों को मिली जगह : जिफ में नॉमिनेटेड फिल्मों में 14 देशों की 36 फीचर फिल्में दर्शकों को बड़े पर्दे पर देखने को मिलेगी. कुछ अहम फिल्मों में से सिस्टर मिड नाइट, निर्देशक करण कंधारी की एक मनोरंजक फीचर फिक्शन फिल्म है, जो कॉमेडी और ड्रामा का अद्भुत संयोजन प्रस्तुत करती है. भारत और यूनाइटेड किंगडम के इस अंतरराष्ट्रीय सहयोग से बनी इस फिल्म में हिंदी और अंग्रेजी दोनों भाषाओं का उपयोग किया गया है, जो इसकी सांस्कृतिक विविधता को प्रभावशाली ढंग से दर्शाती है.

कहानी में हास्य और गहन भावनाओं के संगम को दर्शाया गया है, जो दर्शकों को एक अनूठे दृष्टिकोण के साथ सामान्य जीवन के विभिन्न पहलुओं का अनुभव कराता है. इस फिल्म में प्रमुख भूमिका में प्रसिद्ध अभिनेत्री राधिका आप्टे के साथ मसाशी फुजिमोटो और डेमियन ग्रीव्स भी शामिल हैं. इनकी बेहतरीन अदाकारी और रोचक कहानी के माध्यम से सिस्टर मिड नाइट दर्शकों को एक ऐसा अनुभव देने का वादा करती है, जो समकालीन अंतरराष्ट्रीय सिनेमा में एक महत्वपूर्ण योगदान के रूप में उभरती है. यह फिल्म अभी रिलीज नहीं हुई है.

बुरखा-द वेल, निर्देशक हीरेन बोरा की एक संवेदनशील और गहन फीचर फिक्शन फिल्म है, जो असम के ग्रामीण परिवेश की सच्चाई को दर्शाती है. असमिया भाषा में बनी यह फिल्म एक युवा लड़की, रेशमा की प्रेरणादायक कहानी है, जो ब्रह्मपुत्र नदी के एक छोटे से द्वीप गांव में रहती है. रेशमा के पिता अमीनुल उसकी जल्दी शादी करवाने और बच्चों को जन्म देने के लिए जोर देते हैं, बजाय इसके की वह स्कूल जाए. वहीं, बुरखा-द वेल सामाजिक मुद्दों और परंपराओं की जटिलताओं को उजागर करते हुए, संघर्ष और साहस की एक प्रेरक यात्रा प्रस्तुत करती है.

इसे भी पढ़ें - JIFF में 'पंछी' की हुई स्क्रीनिंग, बाल श्रम को खत्म करने का देती है संदेश

मेटा-द डैजलिंग गर्ल, निर्देशक प्रसंत मम्बुली की एक अनोखी फीचर थ्रिलर फिल्म है, जिसमें प्रमुख भूमिका में प्रणीता वाघचौरे हैं. यह फिल्म विश्व की पहली ऐसी कहानी है, जो बिना चेहरे, भाषा और शब्दों के एकल चरित्र की सर्वाइवल कथा को प्रस्तुत करती है, और इसे वैश्विक दर्शकों के लिए विशेष रूप से तैयार किया गया है. संवादहीन इस फिल्म में मेटा एक अनोखा सिनेमा अनुभव प्रस्तुत करती है, जो भाषा और सांस्कृतिक सीमाओं से परे जाकर एक वैश्विक कहानी दर्शाती है. यह साहसी प्रयोग बिना शब्दों के माध्यम से अपनी कहानी कहता है, जहां मौन ही इसके रोमांच और संघर्ष की कहानी को बयां करता है.

क्वायट लाइफ, निर्देशक एलेक्जेंड्रस अव्रानास की एक सशक्त फिल्म है, जो दुर्लभ और गहन विषय, रेजिग्नेशन सिंड्रोम पर आधारित है. अव्रानास, जो अपनी पुरस्कार-विजेता फिल्म मिस वायलेंस के लिए प्रसिद्ध हैं और जिन्हें वेनिस फिल्म फेस्टिवल में चार पुरस्कारों से नवाजा गया, जिसमें सर्वश्रेष्ठ निर्देशक के लिए सिल्वर लायन भी शामिल है. इस फिल्म के माध्यम से अपनी पहली फिक्शन फिल्म प्रस्तुत कर रहे हैं. यह फिल्म एक राजनीतिक और भावनात्मक कहानी को ईमानदारी और प्रभावशाली तरीके से दर्शाती है.

इस साल वेनिस ओरिज़ोंटी में वर्ल्ड प्रीमियर के साथ, क्वायट लाइफ दर्शकों को सोचने पर मजबूर कर देने वाला और गहरी छाप छोड़ने वाला अनुभव प्रदान करती है. इसके गहन कथानक और उत्कृष्ट निर्देशन के साथ, यह फिल्म अंतर्राष्ट्रीय पुरस्कारों की दौड़ में एक मजबूत दावेदार साबित होगी, और दर्शकों पर अपनी अमिट छाप छोड़ेगी.

जयपुर इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल्स में नामित हॉलीवुड फिल्म रीगन अमेरिका के 40वें राष्ट्रपति रोनाल्ड रीगन के जीवन पर आधारित है. यह बायोपिक रीगन की यात्रा की एक व्यापक खोज पेश करती है, जिसमें उनके हॉलीवुड अभिनेता से एक महत्वपूर्ण राजनीतिक नेता बनने के असाधारण परिवर्तन को उजागर किया गया है. बता दें कि फेस्टिवल का आयोजन 17 से 21 जनवरी 2025 तक जयपुर के राजस्थान इंटरेशनल सेंटर और आईनॉक्स जी टी सेंट्रल पर होगा.

जयपुर : जिफ के फाउंडर डायरेक्टर हनु रोज ने बताया कि इस बार का जिफ भारत ही नहीं, विश्व सिनेमा समुदाय के लिए एक खास आकर्षण का केंद्र बनकर उभरेगा. मंगलवार को जिफ की एक सूची जारी होने के बाद नॉमिनेटेड फिल्मों की दो और सूचियां जारी की जाएंगी. हनु रोज ने दावा किया कि जिफ फिक्शन फिल्मों में विश्व का सबसे बड़ा कॉम्पिटिटिव फिल्म फेस्टिवल है, जिसमें जयपुर में इस बार भारत और विश्व की सबसे बेहतरीन फिल्मों को देखने का अवसर मिलेगा.

पहली सूची में 41 देशों की 170 फिल्में : जयपुर इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल में इस बार 12 देशों के 30 ज्यूरी सदस्यों ने फिल्मों का नॉमिनेशन फाइनल किया है. इस दौरान 77 देशों की 1651 फिल्मों में से 3 महीने तक लगातार फिल्में देखकर प्रथम सूची के लिए 9 श्रेणियों में 41 देशों की 170 फिल्मों को चुना गया है. पिछले साल जिफ में 29 देशों की 157 फिल्मों को स्थान मिला था. जिफ प्रवक्ता राजेंद्र बोड़ा ने बताया कि प्रतियोगिता के लिए 9 श्रेणियों में चयनित फिल्मों में 36 फीचर फिक्शन फिल्म, 12 डॉक्यूमेंट्री फीचर फिल्म, 87 शॉर्ट फिक्शन फिल्म, 13 शॉर्ट डॉक्यूमेंट्री फिल्म, 16 शॉर्ट एनिमेशन फिल्म, 1 मोबाइल फिल्म, 1 वेब सीरीज़, 1 डायलाग, 3 सॉन्ग और इनमें 22 स्टूडेंट्स फिल्मस शामिल है.

जिफ के फाउंडर डायरेक्टर हनु रोज (ETV BHARAT Jaipur)

इसे भी पढ़ें - 5 देश...32 Films...11 राजस्थानी फिल्मों को भी मिली जगह

कुछ खास फिल्मों को मिली जगह : जिफ में नॉमिनेटेड फिल्मों में 14 देशों की 36 फीचर फिल्में दर्शकों को बड़े पर्दे पर देखने को मिलेगी. कुछ अहम फिल्मों में से सिस्टर मिड नाइट, निर्देशक करण कंधारी की एक मनोरंजक फीचर फिक्शन फिल्म है, जो कॉमेडी और ड्रामा का अद्भुत संयोजन प्रस्तुत करती है. भारत और यूनाइटेड किंगडम के इस अंतरराष्ट्रीय सहयोग से बनी इस फिल्म में हिंदी और अंग्रेजी दोनों भाषाओं का उपयोग किया गया है, जो इसकी सांस्कृतिक विविधता को प्रभावशाली ढंग से दर्शाती है.

कहानी में हास्य और गहन भावनाओं के संगम को दर्शाया गया है, जो दर्शकों को एक अनूठे दृष्टिकोण के साथ सामान्य जीवन के विभिन्न पहलुओं का अनुभव कराता है. इस फिल्म में प्रमुख भूमिका में प्रसिद्ध अभिनेत्री राधिका आप्टे के साथ मसाशी फुजिमोटो और डेमियन ग्रीव्स भी शामिल हैं. इनकी बेहतरीन अदाकारी और रोचक कहानी के माध्यम से सिस्टर मिड नाइट दर्शकों को एक ऐसा अनुभव देने का वादा करती है, जो समकालीन अंतरराष्ट्रीय सिनेमा में एक महत्वपूर्ण योगदान के रूप में उभरती है. यह फिल्म अभी रिलीज नहीं हुई है.

बुरखा-द वेल, निर्देशक हीरेन बोरा की एक संवेदनशील और गहन फीचर फिक्शन फिल्म है, जो असम के ग्रामीण परिवेश की सच्चाई को दर्शाती है. असमिया भाषा में बनी यह फिल्म एक युवा लड़की, रेशमा की प्रेरणादायक कहानी है, जो ब्रह्मपुत्र नदी के एक छोटे से द्वीप गांव में रहती है. रेशमा के पिता अमीनुल उसकी जल्दी शादी करवाने और बच्चों को जन्म देने के लिए जोर देते हैं, बजाय इसके की वह स्कूल जाए. वहीं, बुरखा-द वेल सामाजिक मुद्दों और परंपराओं की जटिलताओं को उजागर करते हुए, संघर्ष और साहस की एक प्रेरक यात्रा प्रस्तुत करती है.

इसे भी पढ़ें - JIFF में 'पंछी' की हुई स्क्रीनिंग, बाल श्रम को खत्म करने का देती है संदेश

मेटा-द डैजलिंग गर्ल, निर्देशक प्रसंत मम्बुली की एक अनोखी फीचर थ्रिलर फिल्म है, जिसमें प्रमुख भूमिका में प्रणीता वाघचौरे हैं. यह फिल्म विश्व की पहली ऐसी कहानी है, जो बिना चेहरे, भाषा और शब्दों के एकल चरित्र की सर्वाइवल कथा को प्रस्तुत करती है, और इसे वैश्विक दर्शकों के लिए विशेष रूप से तैयार किया गया है. संवादहीन इस फिल्म में मेटा एक अनोखा सिनेमा अनुभव प्रस्तुत करती है, जो भाषा और सांस्कृतिक सीमाओं से परे जाकर एक वैश्विक कहानी दर्शाती है. यह साहसी प्रयोग बिना शब्दों के माध्यम से अपनी कहानी कहता है, जहां मौन ही इसके रोमांच और संघर्ष की कहानी को बयां करता है.

क्वायट लाइफ, निर्देशक एलेक्जेंड्रस अव्रानास की एक सशक्त फिल्म है, जो दुर्लभ और गहन विषय, रेजिग्नेशन सिंड्रोम पर आधारित है. अव्रानास, जो अपनी पुरस्कार-विजेता फिल्म मिस वायलेंस के लिए प्रसिद्ध हैं और जिन्हें वेनिस फिल्म फेस्टिवल में चार पुरस्कारों से नवाजा गया, जिसमें सर्वश्रेष्ठ निर्देशक के लिए सिल्वर लायन भी शामिल है. इस फिल्म के माध्यम से अपनी पहली फिक्शन फिल्म प्रस्तुत कर रहे हैं. यह फिल्म एक राजनीतिक और भावनात्मक कहानी को ईमानदारी और प्रभावशाली तरीके से दर्शाती है.

इस साल वेनिस ओरिज़ोंटी में वर्ल्ड प्रीमियर के साथ, क्वायट लाइफ दर्शकों को सोचने पर मजबूर कर देने वाला और गहरी छाप छोड़ने वाला अनुभव प्रदान करती है. इसके गहन कथानक और उत्कृष्ट निर्देशन के साथ, यह फिल्म अंतर्राष्ट्रीय पुरस्कारों की दौड़ में एक मजबूत दावेदार साबित होगी, और दर्शकों पर अपनी अमिट छाप छोड़ेगी.

जयपुर इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल्स में नामित हॉलीवुड फिल्म रीगन अमेरिका के 40वें राष्ट्रपति रोनाल्ड रीगन के जीवन पर आधारित है. यह बायोपिक रीगन की यात्रा की एक व्यापक खोज पेश करती है, जिसमें उनके हॉलीवुड अभिनेता से एक महत्वपूर्ण राजनीतिक नेता बनने के असाधारण परिवर्तन को उजागर किया गया है. बता दें कि फेस्टिवल का आयोजन 17 से 21 जनवरी 2025 तक जयपुर के राजस्थान इंटरेशनल सेंटर और आईनॉक्स जी टी सेंट्रल पर होगा.

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