वाराणसी : नटखट बाल गोपाल कान्हा का जन्मदिन बेहद नजदीक है. इसे लेकर हर कोई तैयारियों में जुटा है. काशी में भी बाबा विश्वनाथ के दरबार में भगवान श्रीकृष्ण का जन्म उत्सव धूमधाम से मनाया जाएगा. इसे लेकर श्री काशी विश्वनाथ मंदिर प्रशासन विशेष तैयारी कर रहा है. मथुरा-वृंदावन के साथ ही शिव की नगरी काशी में भी श्रीकृष्ण के जन्म उत्सव की धूम देखने को मिलेगी. रात्रि 11:00 से शुरू होने वाला उत्सव श्री कृष्ण के जन्म के साथ ही आगे बढ़ेगा. भगवान शिव के धाम में प्रभु श्री कृष्ण का जन्म होगा. खास बात यह है कि पहली बार भक्त बाबा विश्वनाथ के साथ कान्हा के भी दर्शन एक साथ कर सकेंगे.
श्री काशी विश्वनाथ मंदिर के मुख्य कार्यपालक अधिकारी विश्व भूषण मिश्रा ने बताया कि हर साल की तरह इस वर्ष श्री कृष्ण जन्माष्टमी का उत्सव श्री काशी विश्वनाथ धाम में 26 अगस्त को मनाया जाएगा. इस पावन पर्व पर धाम स्थित मंदिर चौक में श्री लड्डू गोपाल के अभिषेक एवं जन्म अनुष्ठान का समारोह आयोजित होगा. उन्होंने बताया कि जन्मोत्सव का आयोजन 26 अगस्त की रात्रि 11:00 बजे से प्रारंभ होकर मध्यरात्रि पश्चात दिनांक 27 अगस्त को प्रातः 12:05 तक विधि-विधान पूर्वक से होगा.
जन्मोत्सव के बाद श्रद्धालुओं को चरणामृत एवं प्रसाद वितरण किया जाएगा. 27 अगस्त को लड्डू गोपाल भगवान श्री काशी विश्वनाथ महादेव की मंगला आरती में भी सम्मिलित होंगे. मंगला आरती में आने वाले श्रद्धालु श्री विश्वेश्वर के साथ ही लड्डू गोपाल के भी दर्शनों का लाभ देंगे. भक्तों को पहली बार दोनों के एक साथ दर्शन की सुविधा मिलेगी.
मंदिर के मुख्य कार्यपालिका अधिकारी ने बताया कि विश्वनाथ मंदिर में आने वाले भक्तों को हर दिन नई सुविधाओं को प्रदान करने के साथ ही उन तक हर उत्सव का लाभ पहुंचाना का पूरा प्रयास किया जा रहा है. काफी भक्त मथुरा न जाकर काशी पहुंचेंगे. ऐसे में धाम में उनके लिए खास इंतजाम किए गए हैं. अपने आराध्य भगवान शिव के धाम में भी वह कान्हा का जन्मदिन उल्लास के साथ मना सकेंगे. नाचने-गाने का भी भव्य आयोजन होगा. यह पहला मौका होगा जब इस तरह के भव्य आयोजन को काशी में रहते हुए वृंदावन मथुरा की तर्ज पर भक्त पूरे उल्लास के साथ मना सकेंगे.
यह भी पढ़ें : जन्माष्टमी को लेकर कंफ्यूजन खत्म, जानिए घरों और मंदिरों में कब जन्म लेंगे कान्हा, कैसे करें उपवास-पूजन