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Jaipur District Court : डीजीपी जांच करें कि पेपर लीक के आरोपियों को अवैध हिरासत में क्यों रखा ? - Rajasthan Paper Leak

Paper Leak, राजस्थान पेपर लीक मामले में कहा है कि डीजीपी जांच करें कि पेपर लीक के आरोपियों को अवैध हिरासत में क्यों रखा ? यहां जानिए पूरा मामला...

जिला न्यायालय जयपुर
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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Mar 19, 2024, 9:50 PM IST

जयपुर. मुख्य महानगर मजिस्ट्रेट, महानगर द्वितीय ने एसआई भर्ती पेपर लीक मामले में आरोपियों को गिरफ्तार के 24 घंटे के भीतर अदालत में पेश नहीं करने को लेकर डीजीपी को जांच के आदेश दिया है. अदालत में यह आदेश आरोपियों से पेश प्रार्थना पत्र पर मंगलवार को सुनवाई करते हुए दिए. इसके साथ ही अदालत में सभी 14 ट्रेनी सब इंस्पेक्टर की पुलिस डिमांड एक दिन के लिए बढ़ा दिया.

आरोपियों की ओर से अधिवक्ता विपुल शर्मा ने कहा कि आरोपियों को तीन और चार मार्च को पकडा, लेकिन 24 घंटे के भीतर अदालत में पेश नहीं किया. इसके अलावा प्रकरण सात साल से कम सजा से जुड़े हुए हैं. सुप्रीम कोर्ट ने कई मामलों में तय कर रखा है कि ऐसे मामलों में सीआरपीसी की धारा 41ए के तहत पुलिस गिरफ्तारी से पूर्व नोटिस देगी या उसे तत्काल गिरफ्तारी का कारण बताना होगा.

पढ़ें : कोर्ट का आदेशः पेड़ की टहनी टूटकर गिरने से युवक की मौत, राज्य सरकार दे 5.10 लाख का मुआवजा

इसके साथ ही गिरफ्तारी के चौबीस घंटे के भीतर कोर्ट में पेश करना होगा, लेकिन एसओजी ने 24 घंटे बीतने के बाद अदालत में पेश किया. जिस पर सुनवाई करते हुए अदालत ने डीजीपी को जांच करने को कहा है. सुनवाई के दौरान अदालत में अन्य आरोपी जगदीश बिश्नोई और इंदुबाला को चार दिन के पुलिस डिमांड और शिवरतन, हर्षवर्धन, राजेंद्र यादव और राजू को 2 दिन के पुलिस रिमांड पर भेजा है.

जयपुर. मुख्य महानगर मजिस्ट्रेट, महानगर द्वितीय ने एसआई भर्ती पेपर लीक मामले में आरोपियों को गिरफ्तार के 24 घंटे के भीतर अदालत में पेश नहीं करने को लेकर डीजीपी को जांच के आदेश दिया है. अदालत में यह आदेश आरोपियों से पेश प्रार्थना पत्र पर मंगलवार को सुनवाई करते हुए दिए. इसके साथ ही अदालत में सभी 14 ट्रेनी सब इंस्पेक्टर की पुलिस डिमांड एक दिन के लिए बढ़ा दिया.

आरोपियों की ओर से अधिवक्ता विपुल शर्मा ने कहा कि आरोपियों को तीन और चार मार्च को पकडा, लेकिन 24 घंटे के भीतर अदालत में पेश नहीं किया. इसके अलावा प्रकरण सात साल से कम सजा से जुड़े हुए हैं. सुप्रीम कोर्ट ने कई मामलों में तय कर रखा है कि ऐसे मामलों में सीआरपीसी की धारा 41ए के तहत पुलिस गिरफ्तारी से पूर्व नोटिस देगी या उसे तत्काल गिरफ्तारी का कारण बताना होगा.

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इसके साथ ही गिरफ्तारी के चौबीस घंटे के भीतर कोर्ट में पेश करना होगा, लेकिन एसओजी ने 24 घंटे बीतने के बाद अदालत में पेश किया. जिस पर सुनवाई करते हुए अदालत ने डीजीपी को जांच करने को कहा है. सुनवाई के दौरान अदालत में अन्य आरोपी जगदीश बिश्नोई और इंदुबाला को चार दिन के पुलिस डिमांड और शिवरतन, हर्षवर्धन, राजेंद्र यादव और राजू को 2 दिन के पुलिस रिमांड पर भेजा है.

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