जोधपुर. राजस्थान हाईकोर्ट ने टीएसपी क्षेत्र में राज्य सरकार द्वारा अधिसूचना जारी करते हुए तीन ग्राम पंचायतों को नगर पालिका बनाए जाने पर चुनौती देने वाली याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए अंतरिम रोक लगा दी. वरिष्ठ न्यायाधीश डॉ. पुष्पेन्द्रसिंह भाटी व न्यायाधीश मुन्नुरी लक्ष्मण की खंडपीठ में पेश अलग-अलग याचिकाओं पर सुनवाई के बाद अंतरिम आदेश से अधिसूचना पर रोक लगा दी गई. याचिकाकर्ताओं की ओर से अधिवक्ता मोतीसिंह राजपुरोहित ने बताया कि राज्य सरकार ने 6 अक्टूबर, 2023 को एक अधिसूचना जारी की थी, जिसमें डुंगरपुर जिले की ग्राम पंचायत सीमलवाड़ा, बांसवाड़ा जिले की ग्राम पंचायत घाटोल और उदयपुर जिले की दो ग्राम पंचायत महाराणा प्रताप सराडा व चावंड को नगर पालिका बनाने की अधिसूचना जारी की.
राज्य सरकार ने नगर पालिका सीमलवाड़ा जिला डुंगरपुर, नगर पालिका घाटोल जिला बांसवाड़ा और नगर पालिका महाराणा प्रताप नगर सराडा चावंड जिला उदयपुर को नगर पालिका बनाने की अधिसूचना जारी कर दी. ये सभी ग्राम पंचायत टीएसपी क्षेत्र में थी, जिनको राज्य सरकार ने अपनी अधिसूचना से तीनों को नगर पालिका बना दिया. अधिवक्ता राजपुरोहित ने कोर्ट के सामने पक्ष रखते हुए कहा कि राज्य सरकार को संविधान की पांचवी अनुसूची के तहत टीएसपी क्षेत्रों में नगर पालिका गठन का अधिकार नही है.
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टीएसपी क्षेत्र में भारत की संसद अनुच्छेद 243 जेडसी के तहत कानून बनाकर ही नगर पालिका गठित कर सकती है. केंद्र सरकार का मामला होने के बावजूद राज्य सरकार ने बिना संवैधानिक तरीके से नगर पालिका का गठन किया है, वो अवैध व अनुचित है. कोर्ट ने पूरे मामले पर सुनवाई के बाद तीन नगर पालिकाओं के गठन के लिए 6 अक्टूबर, 2023 को जारी आदेश पर रोक लगा दी है. कोर्ट ने अतिरिक्त महाधिवक्ता प्रवीण खंडेलवाल को नोटिस देते हुए अगली सुनवाई पर 11 मार्च को जवाब तलब किया है.