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बीजेपी कांग्रेस के लिए निर्दलीय बने सिरदर्द, त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में बिगड़ सकते हैं समीकरण - INDEPENDENTS BECOME HEADACHES

नगरीय निकाय चुनाव के बाद अब त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव की तैयारी जोरों पर हैं.इस बार निर्दलीय उम्मीदवार समीकरण बिगाड़ सकते हैं.

Independents become headaches
बीजेपी कांग्रेस के लिए निर्दलीय बने सिरदर्द (ETV BHARAT CHATTISGARH)
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By ETV Bharat Chhattisgarh Team

Published : Feb 14, 2025, 4:54 PM IST

मनेन्द्रगढ़ चिरमिरी भरतपुर : निकाय के बाद त्रि-स्तरीय पंचायत चुनाव को लेकर राजनीतिक सरगर्मी तेज हो गई है. जिले में पहली बार जिला पंचायत के चुनाव हो रहे हैं. जिसमें कांग्रेस और बीजेपी दोनों पार्टियों के अधिकृत प्रत्याशियों के खिलाफ बगावत के स्वर उठने लगे हैं. कई सीटों पर असंतुष्ट नेताओं ने निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में ताल ठोक दी है, जिससे दोनों ही प्रमुख पार्टियों का खेल बिगड़ सकता है.


10 क्षेत्रों में सियासी जंग :कोरिया जिले से अलग होकर बने मनेन्द्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर जिले में पहली बार जिला पंचायत का गठन किया जा रहा है.इसके लिए जिले को 10 क्षेत्रीय खंडों में बांटा गया है. वर्तमान में जिले में कुल 199 ग्राम पंचायतें हैं, जहां तीन चरणों में चुनाव होंगे.इस बार जिला पंचायत के 10 क्षेत्रों के लिए 65 अभ्यर्थी चुनावी मैदान में हैं.

  • खड़गवां ब्लॉक में 17 फरवरी
  • मनेन्द्रगढ़ ब्लॉक में 20 फरवरी
  • भरतपुर ब्लॉक में 23 फरवरी

बीजेपी कांग्रेस के लिए निर्दलीय बने सिरदर्द (ETV BHARAT CHATTISGARH)

निर्दलीय बने सिरदर्द - बीजेपी और कांग्रेस दोनों ने अपने-अपने प्रत्याशियों को समर्थन देने के लिए सूची जारी कर दी है. लेकिन इस सूची से कई पुराने और दावेदार नेता नाराज हो गए हैं. विशेष रूप से जिला पंचायत क्षेत्र क्रमांक 5 (केल्हारी) में बड़ा असंतोष देखने को मिला है. कांग्रेस ने हाल ही में जनपद अध्यक्ष रहे डॉ. विनय शंकर सिंह को समर्थन नहीं दिया, बल्कि उनकी जगह लक्ष्मी सिंह को प्रत्याशी बना दिया. वहीं बीजेपी ने क्षेत्र से वर्तमान जिला पंचायत सदस्य रहे दृगपाल सिंह की जगह अनीता सिंह को समर्थन दे दिया.



बगावत पर उतरे वरिष्ठ नेता : कांग्रेस और बीजेपी के टिकट वितरण से नाराज होकर पुराने प्रत्याशियों ने निर्दलीय मैदान में चुनौती दी है. डॉ. विनय शंकर सिंह और दृगपाल सिंह दोनों ने ही पार्टी से नाराज होकर निर्दलीय चुनावी मैदान में ताल ठोकी हैं.

मैं स्वाभाविक उम्मीदवार था, लेकिन पार्टी ने उपेक्षा की. क्षेत्र के कार्यकर्ता और जनता मेरे साथ हैं. पार्टी को नतीजों के बाद अपनी गलती का अहसास होगा- डॉ विनय शंकर सिंह, निर्दलीय प्रत्याशी

वहीं दृगपाल सिंह ने बीजेपी पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि जब बीजेपी की सरकार रहती है, तो हमें समर्थन नहीं मिलता.

कांग्रेस की सरकार में बीजेपी हमें आगे बढ़ाने लगती है. मैंने जनता के लिए लगातार संघर्ष किया है और जनता मुझे जिताएगी- दृगपाल सिंह, निर्दलीय प्रत्याशी

राजनीतिक समीकरणों में बदलाव के संकेत : दोनों बड़े नेताओं के निर्दलीय मैदान में आने से बीजेपी और कांग्रेस दोनों की रणनीति प्रभावित हो सकती है. अब देखना होगा कि चुनावी नतीजे किस ओर जाते हैं.

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मनेन्द्रगढ़ चिरमिरी भरतपुर : निकाय के बाद त्रि-स्तरीय पंचायत चुनाव को लेकर राजनीतिक सरगर्मी तेज हो गई है. जिले में पहली बार जिला पंचायत के चुनाव हो रहे हैं. जिसमें कांग्रेस और बीजेपी दोनों पार्टियों के अधिकृत प्रत्याशियों के खिलाफ बगावत के स्वर उठने लगे हैं. कई सीटों पर असंतुष्ट नेताओं ने निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में ताल ठोक दी है, जिससे दोनों ही प्रमुख पार्टियों का खेल बिगड़ सकता है.


10 क्षेत्रों में सियासी जंग :कोरिया जिले से अलग होकर बने मनेन्द्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर जिले में पहली बार जिला पंचायत का गठन किया जा रहा है.इसके लिए जिले को 10 क्षेत्रीय खंडों में बांटा गया है. वर्तमान में जिले में कुल 199 ग्राम पंचायतें हैं, जहां तीन चरणों में चुनाव होंगे.इस बार जिला पंचायत के 10 क्षेत्रों के लिए 65 अभ्यर्थी चुनावी मैदान में हैं.

  • खड़गवां ब्लॉक में 17 फरवरी
  • मनेन्द्रगढ़ ब्लॉक में 20 फरवरी
  • भरतपुर ब्लॉक में 23 फरवरी

बीजेपी कांग्रेस के लिए निर्दलीय बने सिरदर्द (ETV BHARAT CHATTISGARH)

निर्दलीय बने सिरदर्द - बीजेपी और कांग्रेस दोनों ने अपने-अपने प्रत्याशियों को समर्थन देने के लिए सूची जारी कर दी है. लेकिन इस सूची से कई पुराने और दावेदार नेता नाराज हो गए हैं. विशेष रूप से जिला पंचायत क्षेत्र क्रमांक 5 (केल्हारी) में बड़ा असंतोष देखने को मिला है. कांग्रेस ने हाल ही में जनपद अध्यक्ष रहे डॉ. विनय शंकर सिंह को समर्थन नहीं दिया, बल्कि उनकी जगह लक्ष्मी सिंह को प्रत्याशी बना दिया. वहीं बीजेपी ने क्षेत्र से वर्तमान जिला पंचायत सदस्य रहे दृगपाल सिंह की जगह अनीता सिंह को समर्थन दे दिया.



बगावत पर उतरे वरिष्ठ नेता : कांग्रेस और बीजेपी के टिकट वितरण से नाराज होकर पुराने प्रत्याशियों ने निर्दलीय मैदान में चुनौती दी है. डॉ. विनय शंकर सिंह और दृगपाल सिंह दोनों ने ही पार्टी से नाराज होकर निर्दलीय चुनावी मैदान में ताल ठोकी हैं.

मैं स्वाभाविक उम्मीदवार था, लेकिन पार्टी ने उपेक्षा की. क्षेत्र के कार्यकर्ता और जनता मेरे साथ हैं. पार्टी को नतीजों के बाद अपनी गलती का अहसास होगा- डॉ विनय शंकर सिंह, निर्दलीय प्रत्याशी

वहीं दृगपाल सिंह ने बीजेपी पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि जब बीजेपी की सरकार रहती है, तो हमें समर्थन नहीं मिलता.

कांग्रेस की सरकार में बीजेपी हमें आगे बढ़ाने लगती है. मैंने जनता के लिए लगातार संघर्ष किया है और जनता मुझे जिताएगी- दृगपाल सिंह, निर्दलीय प्रत्याशी

राजनीतिक समीकरणों में बदलाव के संकेत : दोनों बड़े नेताओं के निर्दलीय मैदान में आने से बीजेपी और कांग्रेस दोनों की रणनीति प्रभावित हो सकती है. अब देखना होगा कि चुनावी नतीजे किस ओर जाते हैं.

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