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मंदिरों में दिखने लगे फाग के रंग, गोविंद देव जी मंदिर में सजने लगी रचना झांकी - GOVIND DEV JI

गोविंद देव जी मंदिर में रचना झांकी के साथ होली उत्सव का भव्य शुभारंभ हो गया है.

फागोत्सव के रंग
फागोत्सव के रंग (फोटो ईटीवी भारत जयपुर)
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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Feb 25, 2025, 7:13 AM IST

जयपुर . आराध्य देव गोविंद देव जी मंदिर में रचना झांकी के साथ होली उत्सव का भव्य शुभारंभ हो गया है. इस उत्सव के पहले और दूसरे दिन विशेष रचना झांकी में 25 प्रकार की प्राकृतिक गुलाल से ठाकुरजी की विभिन्न लीलाओं के दर्शन कराए गए. भक्तों ने उल्लासपूर्वक ठाकुरजी के दरबार में होली महोत्सव का आनंद लिया. मंदिर में महंत अंजन कुमार गोस्वामी के सानिध्य में दोपहर में विशेष रचना झांकी के दर्शन हो रहे हैं. इस झांकी में पहले दिन प्रथम पूज्य भगवान गणेश , रिद्धि-सिद्धि और अन्य मांगलिक चिह्नों का निर्माण किया गया. इसके बाद दूसरे दिन भगवान और भक्त के मेल को भजनों के माध्यम से दिखाया गया है.

6 मार्च तक होगी विशेष रचना झांकी और सांस्कृतिक आयोजन : गोविंद देवजी मंदिर में होली तक रोजाना रंग-बिरंगी गुलाल से ठाकुरजी की विभिन्न लीलाओं के दर्शन होंगे. मंदिर प्रबंधन के अनुसार, छह दिनों तक लगातार भव्य सांस्कृतिक आयोजन होंगे, जिसमें 150 से अधिक कलाकार फाल्गुनी प्रस्तुति देंगे. वहीं, 7 से 9 मार्च तक विशेष होलिकोत्सव का आयोजन किया जाएगा. इस दौरान सौ से अधिक कलाकार भजन और नृत्य के माध्यम से ठाकुरजी की सेवा करेंगे. सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रतिदिन दोपहर 12:30 से शाम 4:30 बजे तक होंगे, जबकि रचना झांकी के दर्शन अपराह्न 12.30 बजे से 12.45 बजे तक कराए जाएंगे. इसके बाद 7 से 9 मार्च तक दोपहर 12.30 बजे से शाम 4.30 बजे तक ठाकुर जी के समक्ष विभिन्न कलाकारों की ओर से सेवा अर्पित की जाएगी.

10-11 मार्च को पुष्प फागोत्सव
10-11 मार्च को पुष्प फागोत्सव (फोटो ईटीवी भारत जयपुर)

पढ़ें: ठाकुर जी के साथ ब्रज से आई फागोत्सव की परंपरा, जयपुर राजपरिवार रहता था उपस्थित, अब कलाकार लगाते हैं हाजिरी

10-11 मार्च को पुष्प फागोत्सव : होली के उत्सव को और भव्य बनाने के लिए 10 और 11 मार्च को पुष्प फागोत्सव का आयोजन किया जाएगा. इस दौरान भजन सम्राट बाल व्यास श्रीकांत शर्मा के भजनों पर राधा-कृष्ण, गोपी-ग्वाल के स्वरूप पुष्पों की होली खेलेंगे. कार्यक्रम दोपहर 1:00 से शाम 4:30 बजे तक होगा, जबकि रचना झांकी के दर्शन 3:00 से 4:30 बजे तक कराए जाएंगे. 12 मार्च को होली पद के तहत भजनामृत वर्षा अनुष्ठान का आयोजन किया जाएगा. जहां भजन सम्राट मालीराम शास्त्री की तरफ से प्रस्तुतियां होंगी. 13 मार्च को मंदिर प्रांगण में राजभोग की आरती के बाद गुलाल होली मनाई जाएगी और 14 मार्च को सांध्य झांकी से पूर्व पंच द्रव्य से ठाकुर जी का अभिषेक किया जाएगा.

फाल्गुन मेले की तैयारियां परवान पर
फाल्गुन मेले की तैयारियां परवान पर (फोटो ईटीवी भारत)
खाटू मंदिर में फाल्गुन मेले की तैयारी
खाटू मंदिर में फाल्गुन मेले की तैयारी (फोटो ईटीवी भारत)

खाटू मंदिर में फाल्गुन मेले की तैयारी : सीकर जिले के खाटू श्याम जी मंदिर में भी फाल्गुन मेले की तैयारियां परवान पर है. मंदिर की सजावट को खास बनाने के लिए भारत के विभिन्न हिस्सों के साथ-साथ हॉलैंड, साउथ अफ्रीका, कोलंबिया, न्यूजीलैंड, चीन, इटली और बैंकॉक के फूलों का उपयोग किया जा रहा है. मंदिर की सजावट का काम फिलहाल जोर-शोर से जारी है, जिसमें 150 से ज्यादा कारीगर दिन-रात जुटे हुए हैं. मंदिर प्रबंधन कमेटी के अध्यक्ष पृथ्वी सिंह चौहान ने बताया कि इस बार सिंहद्वार को महलनुमा मंदिर की तर्ज पर सजाया जाएगा, जबकि प्रवेश द्वार पर गाय और गोपियों के साथ राधा-कृष्ण की भव्य झांकी बनाई जाएगी. मंत्री मानवेन्द्र सिंह चौहान के मुताबिक सजावट में बंगाल, मथुरा और दिल्ली के कारीगर विशेष कलाकृतियां तैयार कर रहे हैं.

150 से ज्यादा कारीगर दिन-रात जुटे
150 से ज्यादा कारीगर दिन-रात जुटे (फोटो ईटीवी भारत)

जयपुर . आराध्य देव गोविंद देव जी मंदिर में रचना झांकी के साथ होली उत्सव का भव्य शुभारंभ हो गया है. इस उत्सव के पहले और दूसरे दिन विशेष रचना झांकी में 25 प्रकार की प्राकृतिक गुलाल से ठाकुरजी की विभिन्न लीलाओं के दर्शन कराए गए. भक्तों ने उल्लासपूर्वक ठाकुरजी के दरबार में होली महोत्सव का आनंद लिया. मंदिर में महंत अंजन कुमार गोस्वामी के सानिध्य में दोपहर में विशेष रचना झांकी के दर्शन हो रहे हैं. इस झांकी में पहले दिन प्रथम पूज्य भगवान गणेश , रिद्धि-सिद्धि और अन्य मांगलिक चिह्नों का निर्माण किया गया. इसके बाद दूसरे दिन भगवान और भक्त के मेल को भजनों के माध्यम से दिखाया गया है.

6 मार्च तक होगी विशेष रचना झांकी और सांस्कृतिक आयोजन : गोविंद देवजी मंदिर में होली तक रोजाना रंग-बिरंगी गुलाल से ठाकुरजी की विभिन्न लीलाओं के दर्शन होंगे. मंदिर प्रबंधन के अनुसार, छह दिनों तक लगातार भव्य सांस्कृतिक आयोजन होंगे, जिसमें 150 से अधिक कलाकार फाल्गुनी प्रस्तुति देंगे. वहीं, 7 से 9 मार्च तक विशेष होलिकोत्सव का आयोजन किया जाएगा. इस दौरान सौ से अधिक कलाकार भजन और नृत्य के माध्यम से ठाकुरजी की सेवा करेंगे. सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रतिदिन दोपहर 12:30 से शाम 4:30 बजे तक होंगे, जबकि रचना झांकी के दर्शन अपराह्न 12.30 बजे से 12.45 बजे तक कराए जाएंगे. इसके बाद 7 से 9 मार्च तक दोपहर 12.30 बजे से शाम 4.30 बजे तक ठाकुर जी के समक्ष विभिन्न कलाकारों की ओर से सेवा अर्पित की जाएगी.

10-11 मार्च को पुष्प फागोत्सव
10-11 मार्च को पुष्प फागोत्सव (फोटो ईटीवी भारत जयपुर)

पढ़ें: ठाकुर जी के साथ ब्रज से आई फागोत्सव की परंपरा, जयपुर राजपरिवार रहता था उपस्थित, अब कलाकार लगाते हैं हाजिरी

10-11 मार्च को पुष्प फागोत्सव : होली के उत्सव को और भव्य बनाने के लिए 10 और 11 मार्च को पुष्प फागोत्सव का आयोजन किया जाएगा. इस दौरान भजन सम्राट बाल व्यास श्रीकांत शर्मा के भजनों पर राधा-कृष्ण, गोपी-ग्वाल के स्वरूप पुष्पों की होली खेलेंगे. कार्यक्रम दोपहर 1:00 से शाम 4:30 बजे तक होगा, जबकि रचना झांकी के दर्शन 3:00 से 4:30 बजे तक कराए जाएंगे. 12 मार्च को होली पद के तहत भजनामृत वर्षा अनुष्ठान का आयोजन किया जाएगा. जहां भजन सम्राट मालीराम शास्त्री की तरफ से प्रस्तुतियां होंगी. 13 मार्च को मंदिर प्रांगण में राजभोग की आरती के बाद गुलाल होली मनाई जाएगी और 14 मार्च को सांध्य झांकी से पूर्व पंच द्रव्य से ठाकुर जी का अभिषेक किया जाएगा.

फाल्गुन मेले की तैयारियां परवान पर
फाल्गुन मेले की तैयारियां परवान पर (फोटो ईटीवी भारत)
खाटू मंदिर में फाल्गुन मेले की तैयारी
खाटू मंदिर में फाल्गुन मेले की तैयारी (फोटो ईटीवी भारत)

खाटू मंदिर में फाल्गुन मेले की तैयारी : सीकर जिले के खाटू श्याम जी मंदिर में भी फाल्गुन मेले की तैयारियां परवान पर है. मंदिर की सजावट को खास बनाने के लिए भारत के विभिन्न हिस्सों के साथ-साथ हॉलैंड, साउथ अफ्रीका, कोलंबिया, न्यूजीलैंड, चीन, इटली और बैंकॉक के फूलों का उपयोग किया जा रहा है. मंदिर की सजावट का काम फिलहाल जोर-शोर से जारी है, जिसमें 150 से ज्यादा कारीगर दिन-रात जुटे हुए हैं. मंदिर प्रबंधन कमेटी के अध्यक्ष पृथ्वी सिंह चौहान ने बताया कि इस बार सिंहद्वार को महलनुमा मंदिर की तर्ज पर सजाया जाएगा, जबकि प्रवेश द्वार पर गाय और गोपियों के साथ राधा-कृष्ण की भव्य झांकी बनाई जाएगी. मंत्री मानवेन्द्र सिंह चौहान के मुताबिक सजावट में बंगाल, मथुरा और दिल्ली के कारीगर विशेष कलाकृतियां तैयार कर रहे हैं.

150 से ज्यादा कारीगर दिन-रात जुटे
150 से ज्यादा कारीगर दिन-रात जुटे (फोटो ईटीवी भारत)
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